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इन 2 फार्मा उद्योगों पर चला प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड का डंडा, एक का काटा बिजली कनेक्शन, दूसरे पर ठोका 42 लाख का जुर्माना - Action on Pharma Industries

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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Jul 20, 2024, 7:28 AM IST

Action on Sirmaur Pharma Industry: हिमाचल प्रदेश के सिरमौर जिले में प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने दो फार्मा उद्योगों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए, एक उद्योग पर 42 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है. जबकि दूसरे उद्योग के बिजली कनेक्शन को काट दिया गया है.

HIMACHAL POLLUTION CONTROL BOARD ACTION ON SIRMAUR PHARMA INDUSTRies
कालाअंब के 2 बड़े फार्मा उद्योगों पर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की बड़ी कार्रवाई (File Photo)

सिरमौर: सिरमौर जिले के काला अंब में हिमाचल प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने औद्योगिक क्षेत्र कालाअंब में 2 फार्मा उद्योगों पर ईटीपी प्लांट के सैंपल फेल होने पर ये एक्शन लिया है. इसके तहत एक फार्मा उद्योग पर 42 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है. जबकि, दूसरे फार्मा उद्योग का बिजली का कनेक्शन काट दिया गया है. वहीं, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की इस बड़ी कार्रवाई से हड़कंप मच गया है. बता दें कि ये दोनों फार्मा उद्योग एक ही व्यक्ति के हैं.

नोटिस के बाद भी नहीं आया जवाब

मिली जानकारी के मुताबिक प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने काला अंब की साई टेक फार्मा कंपनी के ट्रीटमेंट प्लांट से सैंपल उठाए थे. बोर्ड के मुताबिक जांच में पाया गया कि इसके तीन सैंपल फेल हो गए हैं. इसके बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा उद्योग को नोटिस भी जारी किया गया था, लेकिन फार्मा उद्योग प्रबंधन की ओर से नोटिस का कोई जवाब नहीं आया. जिसके चलते प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने बिजली बोर्ड को कनेक्शन काटने की रिकमेंडेशन दी. जिसके बाद बिजली बोर्ड काला अंब ने साई टैक फार्मा उद्योग का बिजली कनेक्शन काट दिया.

"प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की संस्तुति पर एक फार्मा उद्योग का बिजली कनेक्शन काटा गया है." - वीरेंद्र भारद्वाज, एसडीओ, बिजली बोर्ड कालाअंब

वहीं, सुकेती रोड पर स्थित सिंबोसिस फार्मा कंपनी के ट्रीटमेंट प्लांट से भी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने सैंपल उठाए थे, जो कि जांच में फेल पाए गए. इसके साथ-साथ एक्सपायरी दवाइयां भी मारकंडा नदी में मिली थी. इसके बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने नोटिस जारी किया, लेकिन कंपनी की ओर से कोई जवाब न आने पर बोर्ड ने ट्रीटमेंट प्लांट पर कार्रवाई करते हुए 42 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है.

मुख्यालय के निर्देशों पर हुई कार्रवाई

प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के एक्सईएन अतुल परमार ने मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि बीते दिनों उन्हें फार्मा उद्योग को लेकर शिकायतें मिल रही थी. इन्हीं शिकायतों के आधार पर उद्योगों से सैंपल कलेक्ट किए गए. सैंपल फेल होने पर बोर्ड ने संबंधित उद्योगों को नोटिस जारी किया, लेकिन कंपनी ने नोटिस पर कोई जवाब नहीं दिया. लिहाजा मामले की पूरी जानकारी मुख्यालय पर भेजी गई. मुख्यालय से मिले निर्देशों पर ये कार्रवाई अमल में लाई जा रही है. उन्होंने बताया कि एक उद्योग पर 42 हजार रुपए का जुर्माना लगाया गया है, जबकि दूसरे उद्योग का बिजली कनेक्शन काटा गया है.

ये भी पढ़ें: हिमाचल में अडानी को 280 करोड़ का झटका, 19 साल में विदेशी कंपनी ब्रेकल, रिलायंस व देश की मिनी नवरत्न कंपनी के बीच झूलता 960 मेगावाट का प्रोजेक्ट

सिरमौर: सिरमौर जिले के काला अंब में हिमाचल प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया है. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने औद्योगिक क्षेत्र कालाअंब में 2 फार्मा उद्योगों पर ईटीपी प्लांट के सैंपल फेल होने पर ये एक्शन लिया है. इसके तहत एक फार्मा उद्योग पर 42 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है. जबकि, दूसरे फार्मा उद्योग का बिजली का कनेक्शन काट दिया गया है. वहीं, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की इस बड़ी कार्रवाई से हड़कंप मच गया है. बता दें कि ये दोनों फार्मा उद्योग एक ही व्यक्ति के हैं.

नोटिस के बाद भी नहीं आया जवाब

मिली जानकारी के मुताबिक प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने काला अंब की साई टेक फार्मा कंपनी के ट्रीटमेंट प्लांट से सैंपल उठाए थे. बोर्ड के मुताबिक जांच में पाया गया कि इसके तीन सैंपल फेल हो गए हैं. इसके बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा उद्योग को नोटिस भी जारी किया गया था, लेकिन फार्मा उद्योग प्रबंधन की ओर से नोटिस का कोई जवाब नहीं आया. जिसके चलते प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने बिजली बोर्ड को कनेक्शन काटने की रिकमेंडेशन दी. जिसके बाद बिजली बोर्ड काला अंब ने साई टैक फार्मा उद्योग का बिजली कनेक्शन काट दिया.

"प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की संस्तुति पर एक फार्मा उद्योग का बिजली कनेक्शन काटा गया है." - वीरेंद्र भारद्वाज, एसडीओ, बिजली बोर्ड कालाअंब

वहीं, सुकेती रोड पर स्थित सिंबोसिस फार्मा कंपनी के ट्रीटमेंट प्लांट से भी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने सैंपल उठाए थे, जो कि जांच में फेल पाए गए. इसके साथ-साथ एक्सपायरी दवाइयां भी मारकंडा नदी में मिली थी. इसके बाद प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने नोटिस जारी किया, लेकिन कंपनी की ओर से कोई जवाब न आने पर बोर्ड ने ट्रीटमेंट प्लांट पर कार्रवाई करते हुए 42 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है.

मुख्यालय के निर्देशों पर हुई कार्रवाई

प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के एक्सईएन अतुल परमार ने मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि बीते दिनों उन्हें फार्मा उद्योग को लेकर शिकायतें मिल रही थी. इन्हीं शिकायतों के आधार पर उद्योगों से सैंपल कलेक्ट किए गए. सैंपल फेल होने पर बोर्ड ने संबंधित उद्योगों को नोटिस जारी किया, लेकिन कंपनी ने नोटिस पर कोई जवाब नहीं दिया. लिहाजा मामले की पूरी जानकारी मुख्यालय पर भेजी गई. मुख्यालय से मिले निर्देशों पर ये कार्रवाई अमल में लाई जा रही है. उन्होंने बताया कि एक उद्योग पर 42 हजार रुपए का जुर्माना लगाया गया है, जबकि दूसरे उद्योग का बिजली कनेक्शन काटा गया है.

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