रामपुर के समेज में आई आपदा में लापता हुए तीन लोगों के सुन्नी डैम में शव मिले हैं. इन लोगों की पहचान डीएनए टेस्ट रिपोर्ट आने के बाद हुई है. मृतकों की पहचान ग्रीनको परियोजना कर्मी सिद्धार्थ खेड़ा, कंदराहड़ सुघा निवासी रचना और प्रीतिका उर्फ मुस्कान (निवासी झारखंड) के रूप में हुई है. सुन्नी डैम में तीनों का शव मिलने के बाद डीएनए टेस्ट के लिए शिमला भेजा गया था. शिमला से डीएनए रिपोर्ट आने के बाद इनकी पहचान हो गई है.
समेज से लापता 3 लोगों के सुन्नी डैम में मिले शव, DNA रिपोर्ट से हुई पहचान - HIMACHAL DISASTER LIVE UPDATE - HIMACHAL DISASTER LIVE UPDATE
By ETV Bharat Himachal Pradesh Team
Published : Aug 6, 2024, 11:41 AM IST
|Updated : Aug 6, 2024, 10:12 PM IST
शिमला: हिमाचल प्रदेश में 31 जुलाई को आधी रात में आई त्रासदी को 5 दिन बीत गए हैं. मगर इस तबाही में लापता हुई जिंदगियों की तलाश अभी भी जारी है. मंडी के तेरंग से लेकर रामपुर के समेज तक, आज 6ठे दिन भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. समेज गांव में 5 दिन बीत जाने के बाद भी लापता लोगों का कोई सुराग नहीं मिला है. समेज में लापता लोगों के परिजनों के डीएनए सैंपल लिए गए हैं, ताकि शव मिलने पर उसकी पहचान की जा सके. वहीं, मंडी के तेरंग में भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. यहां लापता 10 लोगों में से 8 के शव बरामद कर लिए गए हैं. जबकि बाकि 2 की तलाश जारी है.
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समेज से लापता 3 लोगों के सुन्नी डैम में मिले शव
अभिषेक मनु सिंघवी की याचिका पर 21 अगस्त को होगी अगली सुनवाई
भाजपा से राज्यसभा सांसद हर्ष महाजन के चुनाव को चुनौती देने वाली याचिका पर अगली सुनवाई 21 अगस्त को होगी. न्यायाधीश ज्योत्सना रिवाल दुआ के समक्ष इस मामले पर सुनवाई हुई. सिंघवी ने राज्यसभा चुनाव में वोटिंग की बराबरी के बाद पर्ची सिस्टम से निकाले गए परिणामों को चुनौती दी है. सांसद हर्ष महाजन ने इस चुनाव याचिका में जरूरी पक्षकारों को प्रतिवादी न बनाए जाने को गंभीर त्रुटि बताते हुए खारिज करने की मांग की है. सांसद के अनुसार चुनाव आयोग को प्रतिवादी बनाए बगैर यह याचिका मान्य नहीं है. प्रार्थी सिंघवी के अनुसार इस चुनाव के दौरान कानूनी प्रक्रिया की अनुपालना नहीं की गई और भाजपा प्रत्याशी हर्ष महाजन को विजयी घोषित कर दिया.
याचिका में दिए तथ्यों के अनुसार राज्यसभा वोटिंग में दोनों ही उम्मीदवारों को 34-34 वोट प्राप्त हुए थे. इसके बाद पर्ची से नाम निकाले गए, लेकिन इस पर्ची सिस्टम में जिस तरह से बीजेपी प्रत्याशी को विजेता घोषित किया गया, वह गलत है. पर्ची निकलने के हिसाब से जिस उम्मीदवार की जीत होनी चाहिए थी, उससे उल्टा दूसरे उम्मीदवार को जितवाया गया. जो कानूनी रूप से गलत है. इन आरोपों को आधार बनाते हुए प्रार्थी ने हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट में याचिका दायर की है.
समेज में आई बाढ़ में लापता हुए युवक का कोल डैम मिला शव
बादल फटने से समेज में आई बाढ़ में लापता हुए एक युवक का शव कोल डैम में बरामद हुआ है. मृतक की पहचान सिद्धार्थ (24 वर्ष) के रूप में हुई है. जो गांव नंदरूल, जिला कांगड़ा का रहने वाला था. बताया जा रहा है कि सिद्धार्थ ग्रीनको पावर प्रोजेक्ट में सेवाएं दे रहा था. शव की पहचान मृतक के भाई ने की है. अभी तक सर्च ऑपरेशन के दौरान 7 शव बरामद किए जा चुके है. गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात रामपुर के समेज में बादल फटने से आई बाढ़ में 36 लोग लापता हो गए थे. वहीं, लापता लोगों की तलाश अभी भी जारी है.
मंडी में मिला 9वां शव, यहां बादल फटने के बाद मची तबाही में 10 लोग हुए थे लापता
मंडी के चौहार घाटी राजबन गांव में सर्च ऑपरेशन के छठे दिन 9वां शव बरामद हुआ है. गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात को पद्धर उपमंडल के इस इलाके में बादल फटने के बाद तबाही मच गई थी. जिसमें 10 लोग लापता हो गए थे. मंगलवार को 46 साल की खुडी देवी का शव बरामद हुआ है जबकि 30 वर्षीय हरदेव की तलाश जारी है. सर्च ऑपरेशन में एनडीआरएफ से लेकर एसडीआरएफ, पुलिस और होमगार्ड के 100 जवान लगे हुए हैं. सर्च ऑपरेशन के लिए मशीन भी पहुंच गई है.
हिमाचल में मानसून और तबाही
कुल्लू, रामपुर और मंडी में बादल फटने और फ्लैश फ्लड के बाद मची तबाही के बाद ऑपरेशन लगातार जारी है. छठे दिन भी राहत और बचाव टीमें तीनों स्थानों पर लापता लोगों की तलाश कर रही हैं. मानसून के सीजन में हिमाचल में बारिश हर साल तबाही मचाती है जिसमें जान और माल का काफी नुकसान होता है.
हिमाचल प्रदेश में 27 जून से शुरू हुए मानसून में अब तक 37 बादल फटने या फिर फ्लैश फ्लड की घटनाएं हुई हैं. जिसमें 11 लोगों की मौत हुई हैं जबकि 46 लोग लापता हैं. ये सभी लोग 31 जुलाई की रात और एक अगस्त की सुबह कुल्लू, मंडी और शिमला के रामपुर में बादल फटने के बाद से लापता हैं. अब तक के मानसून सीजन में 83 मकान, 14 दुकान और 23 गौशालाएं तबाह हो गई हैं. वहीं 38 घरों को नुकसान पहुंचा है और 56 मवेशियों की भी मौत हुई है.
हिमाचल प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के मुताबिक इस बार के मानसून सीजन में 18 लैंडस्लाइड की घटनाएं हुई हैं. जिसमें 1 शख्स की मौत हुई और 4 घायल हुए थे.
ये भी पढ़ें: समेज त्रासदी: "DNA टेस्ट से होगी शवों की शिनाख्त, 37 लोगों के लिए गए सैंपल"
प्रदेश में 82 सड़कें बंद, 116 ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त
शिमला: हिमाचल में भारी बरसात के चलते प्रदेश भर में 82 सड़कें बंद हैं. जिसमें दो नेशनल हाईवे भी शामिल हैं. प्रदेश में सबसे ज्यादा मंडी जिले में 35 सड़कें बंद हैं. वहीं, कुल्लू जिले में 20 सड़कें, शिमला में 8, लाहौल-स्पीति में 6, सिरमौर और कांगड़ा में 5, किन्नौर में 4 और चंबा में 2 सड़कें यातायात के लिए बंद हैं.
वहीं, प्रदेशभर में भारी बारिश के कारण कुल 116 ट्रांसफार्मर में बिजली आपूर्ति बाधित हुई है. सबसे ज्यादा मंडी जिले में 103 ट्रांसफार्मर, कुल्लू जिले में 7 और चंबा जिले में 6 ट्रांसफार्मर बाधित हुए हैं. इसके अलावा प्रदेश में 65 पेयजल परियोजनाएं भी प्रभावित हुई हैं. इसमें कुल्लू जिले में 53, लाहौल-स्पीति में 7, शिमला में 3 और बिलासपुर में 2 पेयजल परियोजनाएं प्रभावित हुई हैं.
समेज गांव पहुंची सांसद कंगना रनौत, बाढ़ प्रभावितों से की मुलाकात
रामपुर: मंडी की सांसद कंगना रनौत ने आज समेज में आपदा प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया. इस दौरान कंगना ने राहत-बचाव कार्य का जायजा लिया और बाढ़ प्रभावितों से मुलाकात की. पीड़ितों ने भी कंगना के साथ अपने दुख को साझा करते हुए बाढ़ के दौरान हुई तबाही की जानकारी दी. कंगना ने प्रभावित लोगों को आश्वासन दिया की केंद्र की सरकार पीड़ितों की हर संभव सहायता करेगी. आपदा के बाद आज पहली बार सांसद कंगना रनौत समेज गांव में पहुंची.
गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात को बादल फटने से आई बाढ़ की चपेट में पूरा समेज गांव आ गया था. जहां कभी एक गांव था, वहां आज सिर्फ मलबा है. बाढ़ में 36 लोग लापता हो गए थे, जिनका अभी तक कुछ पता नहीं चल पाया है. आज 6ठे दिन भी समेज गांव में रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है.
शिमला: हिमाचल प्रदेश में 31 जुलाई को आधी रात में आई त्रासदी को 5 दिन बीत गए हैं. मगर इस तबाही में लापता हुई जिंदगियों की तलाश अभी भी जारी है. मंडी के तेरंग से लेकर रामपुर के समेज तक, आज 6ठे दिन भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. समेज गांव में 5 दिन बीत जाने के बाद भी लापता लोगों का कोई सुराग नहीं मिला है. समेज में लापता लोगों के परिजनों के डीएनए सैंपल लिए गए हैं, ताकि शव मिलने पर उसकी पहचान की जा सके. वहीं, मंडी के तेरंग में भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. यहां लापता 10 लोगों में से 8 के शव बरामद कर लिए गए हैं. जबकि बाकि 2 की तलाश जारी है.
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समेज से लापता 3 लोगों के सुन्नी डैम में मिले शव
रामपुर के समेज में आई आपदा में लापता हुए तीन लोगों के सुन्नी डैम में शव मिले हैं. इन लोगों की पहचान डीएनए टेस्ट रिपोर्ट आने के बाद हुई है. मृतकों की पहचान ग्रीनको परियोजना कर्मी सिद्धार्थ खेड़ा, कंदराहड़ सुघा निवासी रचना और प्रीतिका उर्फ मुस्कान (निवासी झारखंड) के रूप में हुई है. सुन्नी डैम में तीनों का शव मिलने के बाद डीएनए टेस्ट के लिए शिमला भेजा गया था. शिमला से डीएनए रिपोर्ट आने के बाद इनकी पहचान हो गई है.
अभिषेक मनु सिंघवी की याचिका पर 21 अगस्त को होगी अगली सुनवाई
भाजपा से राज्यसभा सांसद हर्ष महाजन के चुनाव को चुनौती देने वाली याचिका पर अगली सुनवाई 21 अगस्त को होगी. न्यायाधीश ज्योत्सना रिवाल दुआ के समक्ष इस मामले पर सुनवाई हुई. सिंघवी ने राज्यसभा चुनाव में वोटिंग की बराबरी के बाद पर्ची सिस्टम से निकाले गए परिणामों को चुनौती दी है. सांसद हर्ष महाजन ने इस चुनाव याचिका में जरूरी पक्षकारों को प्रतिवादी न बनाए जाने को गंभीर त्रुटि बताते हुए खारिज करने की मांग की है. सांसद के अनुसार चुनाव आयोग को प्रतिवादी बनाए बगैर यह याचिका मान्य नहीं है. प्रार्थी सिंघवी के अनुसार इस चुनाव के दौरान कानूनी प्रक्रिया की अनुपालना नहीं की गई और भाजपा प्रत्याशी हर्ष महाजन को विजयी घोषित कर दिया.
याचिका में दिए तथ्यों के अनुसार राज्यसभा वोटिंग में दोनों ही उम्मीदवारों को 34-34 वोट प्राप्त हुए थे. इसके बाद पर्ची से नाम निकाले गए, लेकिन इस पर्ची सिस्टम में जिस तरह से बीजेपी प्रत्याशी को विजेता घोषित किया गया, वह गलत है. पर्ची निकलने के हिसाब से जिस उम्मीदवार की जीत होनी चाहिए थी, उससे उल्टा दूसरे उम्मीदवार को जितवाया गया. जो कानूनी रूप से गलत है. इन आरोपों को आधार बनाते हुए प्रार्थी ने हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट में याचिका दायर की है.
समेज में आई बाढ़ में लापता हुए युवक का कोल डैम मिला शव
बादल फटने से समेज में आई बाढ़ में लापता हुए एक युवक का शव कोल डैम में बरामद हुआ है. मृतक की पहचान सिद्धार्थ (24 वर्ष) के रूप में हुई है. जो गांव नंदरूल, जिला कांगड़ा का रहने वाला था. बताया जा रहा है कि सिद्धार्थ ग्रीनको पावर प्रोजेक्ट में सेवाएं दे रहा था. शव की पहचान मृतक के भाई ने की है. अभी तक सर्च ऑपरेशन के दौरान 7 शव बरामद किए जा चुके है. गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात रामपुर के समेज में बादल फटने से आई बाढ़ में 36 लोग लापता हो गए थे. वहीं, लापता लोगों की तलाश अभी भी जारी है.
मंडी में मिला 9वां शव, यहां बादल फटने के बाद मची तबाही में 10 लोग हुए थे लापता
मंडी के चौहार घाटी राजबन गांव में सर्च ऑपरेशन के छठे दिन 9वां शव बरामद हुआ है. गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात को पद्धर उपमंडल के इस इलाके में बादल फटने के बाद तबाही मच गई थी. जिसमें 10 लोग लापता हो गए थे. मंगलवार को 46 साल की खुडी देवी का शव बरामद हुआ है जबकि 30 वर्षीय हरदेव की तलाश जारी है. सर्च ऑपरेशन में एनडीआरएफ से लेकर एसडीआरएफ, पुलिस और होमगार्ड के 100 जवान लगे हुए हैं. सर्च ऑपरेशन के लिए मशीन भी पहुंच गई है.
हिमाचल में मानसून और तबाही
कुल्लू, रामपुर और मंडी में बादल फटने और फ्लैश फ्लड के बाद मची तबाही के बाद ऑपरेशन लगातार जारी है. छठे दिन भी राहत और बचाव टीमें तीनों स्थानों पर लापता लोगों की तलाश कर रही हैं. मानसून के सीजन में हिमाचल में बारिश हर साल तबाही मचाती है जिसमें जान और माल का काफी नुकसान होता है.
हिमाचल प्रदेश में 27 जून से शुरू हुए मानसून में अब तक 37 बादल फटने या फिर फ्लैश फ्लड की घटनाएं हुई हैं. जिसमें 11 लोगों की मौत हुई हैं जबकि 46 लोग लापता हैं. ये सभी लोग 31 जुलाई की रात और एक अगस्त की सुबह कुल्लू, मंडी और शिमला के रामपुर में बादल फटने के बाद से लापता हैं. अब तक के मानसून सीजन में 83 मकान, 14 दुकान और 23 गौशालाएं तबाह हो गई हैं. वहीं 38 घरों को नुकसान पहुंचा है और 56 मवेशियों की भी मौत हुई है.
हिमाचल प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के मुताबिक इस बार के मानसून सीजन में 18 लैंडस्लाइड की घटनाएं हुई हैं. जिसमें 1 शख्स की मौत हुई और 4 घायल हुए थे.
ये भी पढ़ें: समेज त्रासदी: "DNA टेस्ट से होगी शवों की शिनाख्त, 37 लोगों के लिए गए सैंपल"
प्रदेश में 82 सड़कें बंद, 116 ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त
शिमला: हिमाचल में भारी बरसात के चलते प्रदेश भर में 82 सड़कें बंद हैं. जिसमें दो नेशनल हाईवे भी शामिल हैं. प्रदेश में सबसे ज्यादा मंडी जिले में 35 सड़कें बंद हैं. वहीं, कुल्लू जिले में 20 सड़कें, शिमला में 8, लाहौल-स्पीति में 6, सिरमौर और कांगड़ा में 5, किन्नौर में 4 और चंबा में 2 सड़कें यातायात के लिए बंद हैं.
वहीं, प्रदेशभर में भारी बारिश के कारण कुल 116 ट्रांसफार्मर में बिजली आपूर्ति बाधित हुई है. सबसे ज्यादा मंडी जिले में 103 ट्रांसफार्मर, कुल्लू जिले में 7 और चंबा जिले में 6 ट्रांसफार्मर बाधित हुए हैं. इसके अलावा प्रदेश में 65 पेयजल परियोजनाएं भी प्रभावित हुई हैं. इसमें कुल्लू जिले में 53, लाहौल-स्पीति में 7, शिमला में 3 और बिलासपुर में 2 पेयजल परियोजनाएं प्रभावित हुई हैं.
समेज गांव पहुंची सांसद कंगना रनौत, बाढ़ प्रभावितों से की मुलाकात
रामपुर: मंडी की सांसद कंगना रनौत ने आज समेज में आपदा प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया. इस दौरान कंगना ने राहत-बचाव कार्य का जायजा लिया और बाढ़ प्रभावितों से मुलाकात की. पीड़ितों ने भी कंगना के साथ अपने दुख को साझा करते हुए बाढ़ के दौरान हुई तबाही की जानकारी दी. कंगना ने प्रभावित लोगों को आश्वासन दिया की केंद्र की सरकार पीड़ितों की हर संभव सहायता करेगी. आपदा के बाद आज पहली बार सांसद कंगना रनौत समेज गांव में पहुंची.
गौरतलब है कि 31 जुलाई की रात को बादल फटने से आई बाढ़ की चपेट में पूरा समेज गांव आ गया था. जहां कभी एक गांव था, वहां आज सिर्फ मलबा है. बाढ़ में 36 लोग लापता हो गए थे, जिनका अभी तक कुछ पता नहीं चल पाया है. आज 6ठे दिन भी समेज गांव में रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है.