शिमला: कोलकाता में ट्रेनी डॉक्टर से हुई दरिंदगी और हत्या के खिलाफ देशभर के साथ-साथ हिमाचल प्रदेश में डॉक्टर्स हड़ताल पर हैं. इसी कड़ी में आज आईजीएमसी शिमला में भी आज डॉक्टर्स एक दिन की हड़ताल पर है. इस दौरान सभी अस्पताल में ओपीडी बंद रही, सिर्फ आपातकाल विभाग में चिकित्सकों ने अपनी ड्यूटी दी. सुबह से ही चिकित्सको ने आईजीएमसी गेट पर खड़े होकर कोलकाता में ट्रेनी डॉक्टर साथ हुए जघन्य अपराध का विरोध किया और सरकार से न्याय की मांग की. इस दौरान अस्पताल में कोई भी ओपीडी नहीं हुई और कोई ऑपरेशन नहीं हुए, जिसके कारण मरीजों को काफी परेशानी उठानी पड़ी.
आईजीएमसी वरिष्ठ डॉक्टर एसोशिएशन के सदस्य डॉ. राहुल गुप्ता ने कहा, "17 अगस्त को हिमाचल प्रदेश के सभी चिकित्सक एक दिन का टोकन प्रोटेस्ट कर रहे हैं. जिसके लिए आईएमए, फोरडा, फाईमा ने आह्वान किया है. संघ काफी दुखी मन से कोलकाता में महिला डॉक्टर के साथ हुए घिनौने अपराध का विरोध करता है. हिमाचल प्रदेश मेडिकल ऑफिसर संगठन कंधे से कंधा मिलाकर इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, फेडरेशन ऑफ रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन और फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन के साथ खड़ी रहेगी".
डॉ. राहुल गुप्ता ने कहा, "17 अगस्त को सिर्फ इमरजेंसी एंड क्रिटिकल केयर सुविधाएं ही प्रदान की जाएंगी. संघ ने पत्र लिखकर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से यह मांग की है कि हिमाचल प्रदेश के सभी उन अस्पतालों में जिन में दिन-रात चिकित्सा की सुविधा दी जाती हैं, उनमें पुलिस सिक्योरिटी प्रदान की जाए. जिससे भविष्य में इस तरह के हादसे को टाला जा सके".
हमीरपुर में भी डॉक्टरों का प्रदर्शन, पेन डाउन स्ट्राइक की शुरू
वहीं, कोलकाता में महिला डॉक्टर से रेप और निर्मम हत्या के विरोध में मेडिकल कॉलेज हमीरपुर में भी चिकित्सकों ने प्रदर्शन किया और पेन डाउन स्ट्राइक की शुरू की. शनिवार को चिकित्सकों ने दिवंगत महिला डॉक्टर को श्रद्धांजलि अर्पित की. इस दौरान प्रशिक्षु चिकित्सकों ने हाथों में न्याय दिलाने की तख्तियां लेकर प्रदर्शन किया. डॉक्टरों ने कहा कि ड्यूटी के दौरान महिला चिकित्सक की हत्या कर देना चिंता का विषय है. हत्या के मामले में संलिप्त पाए जाने वालों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए.
रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. रजित और फैकल्टी एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. सुभाष ने कहा,"डॉक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम होने चाहिए. कोलकाता में हुई चिकित्सा की हत्या चिंताजनक है. इस तरह से सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल खड़े हुए हैं. महिला चिकित्सक को न्याय मिलना चाहिए और आरोपियों को कड़ी सजा दी जाए".
एसोसिएशन का कहना है कि महिला डॉक्टरों के साथ इस तरह की घटनाएं निंदनीय हैं. विशेषकर महिला डॉक्टरों की उनके कार्यस्थल पर सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए. एसोसिएशन ने दोनों मामलों में प्रशासन से शीघ्र उचित कार्रवाई करने की मांग की है.
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