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दिल्ली की अदालतों में जजों की सुरक्षा के लिए हाईकोर्ट ने पुलिस कमिश्नर को लिखा पत्र - HC letter to Police Commissioner

HC wrote letter FOR JUDGE SAFETY: दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली की अदालतों में कार्यरत तीन सौ जजों को लेकर पुलिस कमिश्नर को पत्र लिखा है. हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार कंवलजीत अरोड़ा ने पुलिस कमिश्नर संजय अरोड़ा को पत्र लिखकर इन सभी जजों को सुरक्षा देने की मांग की है.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Oct 2, 2024, 5:12 PM IST

जजों की सुरक्षा के लिए हाईकोर्ट ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर को लिखा पत्र
जजों की सुरक्षा के लिए हाईकोर्ट ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर को लिखा पत्र (ETV BHARAT)

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली की अदालतों में कार्यरत तीन सौ जजों की सुरक्षा की मांग की है. हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार कंवलजीत अरोड़ा ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर संजय अरोड़ा को पत्र लिखकर इन जजों को सुरक्षा देने की मांग की है.

दरअसल, सिख फॉर जस्टिस संगठन पर लगे प्रतिबंध की अवधि बढ़ाये जाने के बाद विदेश में छिपे गुरपतवंत सिंह पन्नू ने दिल्ली हाईकोर्ट के एक जज को धमकी दी थी. इसी धमकी के मद्देनजर सुरक्षा की ये मांग उठी है. हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार कंवलजीत अरोड़ा की ओर से दिल्ली पुलिस को लिखे गए पत्र में हाईकोर्ट की ओर से स्वत: संज्ञान लेकर सुनवाई कर रहे मामले में हुए आदेश का जिक्र किया गया है.

पर्सनल सिक्योरिटी अफसर के नियुक्ति की मांग: हाईकोर्ट ने उस मामले में न्यायिक अधिकारियों की सुरक्षा की व्यवस्था करने का निर्देश दिया था. न्यायिक अधिकारियों की सुरक्षा में पीएसओ (पर्सनल सिक्योरिटी अफसर) की नियुक्ति या अतिरिक्त सुरक्षा के लिए वित्तीय प्रावधान करना शामिल है. कंवलजीत अरोड़ा की ओर से लिखे गए पत्र में कहा गया है कि दिल्ली में डिस्ट्रिक्ट जज (सुपर टाइम स्केल) के 149 और डिस्ट्रिक्ट जज (सेलेक्शन ग्रेड) के 165 पद हैं. अरोड़ा ने इन सभी जजों को सुरक्षा मुहैया कराने का आदेश दिया है.

हाईकोर्ट के जजों को दिए गए दो पीएसओ: फिलहाल हाईकोर्ट के जजों को दो पीएसओ दिया गया है. हाईकोर्ट के जजों की तरह की इन न्यायिक अधिकारियों के लिए भी दो पीएसओ देने की मांग की गई है. पत्र में कहा गया है कि पीएसओ की नियुक्ति होने तक कोर्ट परिसर और जजों के घर पर उन्हें सुरक्षा सुनिश्चित की जाए. बता दें, पिछले दिनों दिल्ली की निचली अदालतों में कई ऐसी घटनाएं घटी. इसके बाद जजों की सुरक्षा का मुद्दा अहम हो गया है.

2015 को कड़कड़डूमा कोर्ट में चली थी गोली: 23 दिसंबर 2015 को कड़कड़डूमा कोर्ट में पेशी के दौरान बदमाश छेनू पहलवान पर गोलियां चली थी, जिसमें पुलिसकर्मी की मौत हो गई थी. 24 सितंबर 2021 को रोहिणी कोर्ट में पेशी के दौरान बदमाश जितेन्द्र गोगी की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस घटना में हमलावर भी मारे गए थे.

ये भी पढ़ें : पिटाई के विरोध में कड़कड़डूमा कोर्ट में वकीलों की हड़ताल, जानें पूरा मामला

2021 को रोहिणी कोर्ट रुम में धमाका: 9 दिसंबर 2021 को रोहिणी कोर्ट रूम में धमाका हुआ था, जिसमें दो लोग घायल हो गए थे. 21 अप्रैल 2023 को साकेत कोर्ट में एक वकील ने महिला को गोली मारी थी. 5 जुलाई 2023 को तीस हजारी कोर्ट परिसर में वकीलों के दो गुटों के बीच विवाद में गोली चली थी.

ये भी पढ़ें : रोहिणी कोर्ट में फायरिंग का मामला अब हाई कोर्ट में पहुंचा, दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी करने की मांग

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली की अदालतों में कार्यरत तीन सौ जजों की सुरक्षा की मांग की है. हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार कंवलजीत अरोड़ा ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर संजय अरोड़ा को पत्र लिखकर इन जजों को सुरक्षा देने की मांग की है.

दरअसल, सिख फॉर जस्टिस संगठन पर लगे प्रतिबंध की अवधि बढ़ाये जाने के बाद विदेश में छिपे गुरपतवंत सिंह पन्नू ने दिल्ली हाईकोर्ट के एक जज को धमकी दी थी. इसी धमकी के मद्देनजर सुरक्षा की ये मांग उठी है. हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार कंवलजीत अरोड़ा की ओर से दिल्ली पुलिस को लिखे गए पत्र में हाईकोर्ट की ओर से स्वत: संज्ञान लेकर सुनवाई कर रहे मामले में हुए आदेश का जिक्र किया गया है.

पर्सनल सिक्योरिटी अफसर के नियुक्ति की मांग: हाईकोर्ट ने उस मामले में न्यायिक अधिकारियों की सुरक्षा की व्यवस्था करने का निर्देश दिया था. न्यायिक अधिकारियों की सुरक्षा में पीएसओ (पर्सनल सिक्योरिटी अफसर) की नियुक्ति या अतिरिक्त सुरक्षा के लिए वित्तीय प्रावधान करना शामिल है. कंवलजीत अरोड़ा की ओर से लिखे गए पत्र में कहा गया है कि दिल्ली में डिस्ट्रिक्ट जज (सुपर टाइम स्केल) के 149 और डिस्ट्रिक्ट जज (सेलेक्शन ग्रेड) के 165 पद हैं. अरोड़ा ने इन सभी जजों को सुरक्षा मुहैया कराने का आदेश दिया है.

हाईकोर्ट के जजों को दिए गए दो पीएसओ: फिलहाल हाईकोर्ट के जजों को दो पीएसओ दिया गया है. हाईकोर्ट के जजों की तरह की इन न्यायिक अधिकारियों के लिए भी दो पीएसओ देने की मांग की गई है. पत्र में कहा गया है कि पीएसओ की नियुक्ति होने तक कोर्ट परिसर और जजों के घर पर उन्हें सुरक्षा सुनिश्चित की जाए. बता दें, पिछले दिनों दिल्ली की निचली अदालतों में कई ऐसी घटनाएं घटी. इसके बाद जजों की सुरक्षा का मुद्दा अहम हो गया है.

2015 को कड़कड़डूमा कोर्ट में चली थी गोली: 23 दिसंबर 2015 को कड़कड़डूमा कोर्ट में पेशी के दौरान बदमाश छेनू पहलवान पर गोलियां चली थी, जिसमें पुलिसकर्मी की मौत हो गई थी. 24 सितंबर 2021 को रोहिणी कोर्ट में पेशी के दौरान बदमाश जितेन्द्र गोगी की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस घटना में हमलावर भी मारे गए थे.

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2021 को रोहिणी कोर्ट रुम में धमाका: 9 दिसंबर 2021 को रोहिणी कोर्ट रूम में धमाका हुआ था, जिसमें दो लोग घायल हो गए थे. 21 अप्रैल 2023 को साकेत कोर्ट में एक वकील ने महिला को गोली मारी थी. 5 जुलाई 2023 को तीस हजारी कोर्ट परिसर में वकीलों के दो गुटों के बीच विवाद में गोली चली थी.

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