बाड़मेर: आज से गणेश उत्सव की शुरुआत हो रही है. 10 दिन तक चलने वाले इस गणेश उत्सव का समापन अनंत चतुर्दशी के दिन होगा. इस पर्व की धूम बाड़मेर सहित देशभर में देखने को मिलेगी. गणेश चतुर्थी के पावन अवसर पर आइए जानते हैं बाड़मेर के पंडित ओमप्रकाश जोशी से क्या है इस पर्व को लेकर मान्यता, कैसे करें मूर्ति स्थापना.
पंडित ओमप्रकाश जोशी ने बताया कि पौराणिक कथाओं के मुताबिक सावन मास लगते ही भगवान गजानन जी उत्तर भारत से अपने भाई कार्तिकेय से मिलने के लिए दक्षिण भारत में चले गए थे. भादवा सुदी चौथ के दिन वो वहां पहुंचे थे, जहां गणेश जी का भव्य स्वागत किया गया था. फिर अनंत चतुर्दशी को वापस उत्तर भारत की ओर आ गए थे. उन्होंने बताया कि तब से यह पर्व मनाया जाता है. भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी को गणेश जी की मूर्ति की स्थापना की जाती है और अनंत चतुर्दशी के दिन उस मूर्ति को विसर्जित किया जाता है. इस बीच 10 दिनों तक गणेश उत्सव को धूमधाम के साथ मनाया जाता है.
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क्या है स्थापना का मुहूर्त : पंडित ओमप्रकाश जोशी के अनुसार गणेश चतुर्थी की मूर्ति स्थापना और पूजा का सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त शनिवार सुबह 11:39 बजे से लेकर दोपहर के 1:55 बजे तक है. हालांकि इसके बाद भी मुहूर्त है, जिसमें आप पूजा कर सकते हैं.
कैसे करें स्थापना : जोशी के अनुसार सबसे पहले स्वास्तिक बनाकर और फिर आसान लगाकर गणेशजी की मूर्ति पाटे पर रखें और विधिवत पूजन करें. वरुण और नवग्रह का पूजन करें, फिर अखंड ज्योत की स्थापना करके सबके लिए मंगल कामना करें.