ऋषिकेश: विश्व प्रसिद्ध भगवान बदरी विशाल का जिस तिल के तेल से श्रृंगार किया जाता है, आज उस तिल के तेल का गाडू घड़ा नरेंद्रनगर राजमहल से अपने प्रथम पड़ाव ऋषिकेश पहुंचा. श्रद्धालुओं के दर्शनों को गाडू घड़ा रेलवे स्टेशन के निकट चेला चेतराम धर्मशाला में रखा गया है.
गाडू घड़ा के दर्शन के लिए हजारों श्रद्धालुओं की भीड़ धर्मशाला में पहुंची. लगातार श्रद्धालु गाडू घड़ा के आगे शीश झुका कर भगवान बदरी नारायण का आशीर्वाद लिया. श्रद्धालुओं ने गाडू घड़ा के आगे भगवान बदरी नारायण का भजन कीर्तन भी किया. भगवान बदरी विशाल के जयकारे से पूरा वातावरण भक्तिमय हो गया. गाडू घड़ा दर्शन के लिए कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल और मेयर अनीता ममगाईं सहित तमाम राजनीतिक धार्मिक और सामाजिक संस्थाओं से जुड़े लोग भी पहुंचे. डिमरी पंचायत के अध्यक्ष आशुतोष डिमरी ने बताया कि प्राचीन काल से ही परंपरा चली आ रही है.
भगवान बदरी विशाल के श्रृंगार करने के लिए नरेंद्र नगर राजघराने की रानी और सुहागिन महिलाएं अपने हाथों से तिल का तेल निकालती हैं. जिसे पारंपरिक रिवाज के अनुसार चांदी के कलश में भरा जाता है. इस तेल कलश को गाडू घड़ा का नाम दिया गया है, जो आज ऋषिकेश पहुंचा है. 11 मई तक गाडू घड़ा विभिन्न पड़ावों से होते हुए बदरीनाथ धाम पहुंचेगा और कपाट खुलने के बाद भगवान बदरी विशाल का इस तेल से श्रृंगार किया जाएगा. डिमरी पंचायत अध्यक्ष आशुतोष डिमरी की अगुवाई में डिम्मर पंचायत के सदस्य दो चरणों में पवित्र गाडू घड़ा कलश को बदरीनाथ धाम पहुंचाएंगे, जहां पर कपाट खुलने के बाद भगवान बदरीनाथ श्रृंगार किया जाएगा. बताते चलें कि इस साल बदरीनाथ धाम के कपाट 12 मई को सुबह 6 बजे श्रद्धालुओं के लिए खोले जाएंगे.