हिसार: शुक्रवार देर रात सीआरपीएफ के पूर्व जवान और डीसी ऑफिस में ग्रुप डी के कर्मचारी राजकुमार ने आत्महत्या कर ली. बताया जा रहा है कि पुलिस प्रताड़ना से तंग आकर राजकुमार ने जहर निगला है. राजकुमार ने डीसी कार्यालय की एक बुक में आठ पेज का सुसाइड नोट लिखा है. मरने से पहले राजकुमार ने सुसाइड नोट की पीडीएफ फाइल बनाई और कई सोशल मीडिया ग्रुप्स में शेयर कर दी. फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज जांच शुरू कर दी है.
सीआरपीएफ के पूर्व जवान ने की आत्महत्या: सुसाइड नोट में राजकुमार ने डीएसपी समेत एचएचओ और अन्य पुलिस कर्मियों को अपनी मौत का जिम्मेदार ठहराया है. अब परिजन आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग पर अड़े हैं. इससे पहले परिजनों ने अग्रोहा मेडिकल परिसर में धरना दिया. आज परिजन हिसार लघु सचिवालय में धरने देंगे. परिजनों का आरोप है कि सिविल लाइन थाना से सेवानिवृत डीएसपी ने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए राजकुमार को प्रताड़ित किया.
डीएसपी समेत पुलिस कर्मियों पर आरोप: परिजनों का अरोप है कि राजकुमार को झूठे केस में फंसाया गया है. आरोपियों में कई लोग शामिल हैं. परिजनों की मांग है कि आरोपियों पर सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए. जब तक आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो जाती. तब तक उनका प्रदर्शन जारी रहेगा. इसकी कड़ी में परिजन आज हिसार लघु सचिवालय के सामने प्रदर्शन करेंगे और आरोपियों की गिरफ्तार की मांग को लेकर जरूरत पड़ने पर रोड जाम भी करेंगे.
झूठे केस में फंसाने का आरोप: राजकुमार के परिजनों ने बताया कि चार साल पहले दो महिलाओं ने थाने में छेड़छाड़ का मुकदमा दर्ज करवाया था. इस केस की जांच डीएसपी और अन्य पुलिस कर्मचारियों ने की थी. बाद में उन पर पुलिस से मारपीट का केस भी दर्ज करवाया था. डीएसपी अशोक कुमार का कहना है कि राजकुमार के खिलाफ केस दर्ज हुआ था. इसकी जांच दो एएसआई ने थी. उन पर लगाए आरोप निराधार हैं.
परिजनों ने आरोपियों के खिलाफ की कार्रवाई की मांग: मृतक के बेटे पंकज ने कहा उसके पिता कई तरह तरह के आर्थिक मामलों से परेशान थे. जिसमें एक फ्लैट का विवाद था. आर्थिक तंगी के कारण वो परेशान थे. सिविल लाइन पुलिस ने पंकज की शिकायत के आधार दस लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है थाना प्रभारी ने कहा जांच की जा रही है.
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