कुल्लू: ढालपुर में 1.10 लाख रुपये की रिश्वत के मामले में न्यायिक हिरासत में चल रही खाद्य सुरक्षा विभाग की असिस्टेंट कमिश्नर भविता टंडन, खाद्य सुरक्षा अधिकारी पंकज और चपरासी केशव राम अभी जेल में ही रहेंगे. कोर्ट ने उनकी जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है. ये सभी आरोपी अब ऊपरी अदालत में जमानत के लिए अर्जी दाखिल करेंगे.
स्टेट विजिलेंस एंड एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने इन्हें मनाली के होटल कारोबारी पदम चंद से 1.10 लाख रुपए की रिश्वत के मामले में गिरफ्तार किया था. रिश्वत की कुल राशि 2 लाख रुपये तय हुई थी और 1.10 लाख रुपये उसकी पहली किस्त थी. अधिकारी के द्वारा मिस ब्रांडेड पापड़ और बिना पका हुआ तेल इस्तेमाल करने के मामले को रफा-दफा करने के लिए यह रिश्वत मांगी थी.
विजिलेंस विभाग ने इन आरोपियों की संपत्ति का ब्यौरा जुटाना शुरू कर दिया है. इसके अलावा पुराना रिकॉर्ड भी खंगाला जा रहा है. पूर्व में भी कुछ लोगों ने अधिकारी की शिकायत की थी कि कई सैंपलों की डबल रिपोर्ट आई है. पहले रिपोर्ट में सैंपल फेल दर्शाए गए और बाद में आई रिपोर्ट में सब ठीक दर्शाया गया.
इन सभी गड़बड़ियों के लिए भी विजिलेंस पूरा रिकॉर्ड खंगाल रही है. वहीं, लोगों में आम चर्चा है कि भविता टंडन पहले भी रिश्वत लेते हुए पकड़ी गई थी इसलिए जमानत अर्जी खारिज हुई है. विजिलेंस के डीएसपी अशोक कुमार ने कहा "तीनों आरोपियों को जमानत नहीं मिली है. अब संपत्ति को लेकर विजिलेंस के द्वारा जांच की जा रही है."
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