बीकानेर. अक्सर देखने में आता है कि कोई व्यक्ति व्यवसाय में कई बार अपेक्षित परिणाम नहीं होने से कारोबार बंद कर देता है या यूं कहें कि कुछ महीनों में या वर्ष में उस व्यवसाय में सकारात्मक ऊर्जा की कमी, व्यवसाय में नुकसान और कर्मचारियों में नौकरी से संतुष्टि की कमी के कारण बंद हो जाते हैं. दरअसल इन सबका एक बड़ा कारण वास्तु अनुसार कार्यालय की स्थापना का नहीं होना होता है. वास्तुविद राजेश व्यास बताते हैं कि यदि कोई कार्यालय वास्तु के अनुसार बनाया गया है तो निश्चित रूप से सफल की संभावना बढ़ जाती है.
कार्यालय व्यापार में इन बातों का रखें ध्यान :
- कोई भी ऑफिस दक्षिण-पश्चिम कोने में बनवाना चाहिए।
- मैनेजर का केबिन हमेशा चौकोर या आयताकार होना चाहिए।
- ऑफिस का दरवाजा उत्तर या पूर्व की ओर रखें।
- दरवाजा खोलते समय आवाज नहीं करना चाहिए।
- दरवाजे को हमेशा दक्षिणावर्त दिशा में खुला रखें।
- दरवाजा अंदर की तरफ खुलना चाहिए।
- बेहतर परिणाम पाने के लिए ऑफिस में पूर्व या उत्तर दिशा की ओर मुंह करके बैठना चाहिए।
- मालिक की कुर्सी पीछे की तरफ ऊंची होनी चाहिए।
- कुर्सी को मालिक के सामने सम संख्या में रखें।
- मालिक को कभी भी सामने वाली व्यक्ति से नीचे नहीं बैठना चाहिए।
- कंप्यूटर को दक्षिण-पूर्व कोने में टेबल पर रखें।
- टेलीफोन, मोबाइल फोन को बायीं ओर रखें।