रांची: झारखंड में लोकसभा चुनाव के चौथे चरण में चार संसदीय सीटों पर 13 मई को वोट डाले जाएंगे. खूंटी, लोहरदगा, पलामू और सिंहभूम संसदीय क्षेत्र में मतदान सुबह सात बजे से शाम पांच बजे तक निर्धारित है.
जानिए खूंटी, लोहरदगा, सिंहभूम और पलामू में हैं कितने वोटर्स
चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक खूंटी में 13 लाख 20 हजार 808, लोहरदगा में 14 लाख 36 हजार 351, सिंहभूम में 14 लाख 41 हजार 841 और पलामू में 22 लाख 38 हजार 460 मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे. इस तरह से इस चरण में 64 लाख 37 हजार 460 मतदाता भागीदारी निभाएंगे. जिसमें 32 लाख 29 हजार 480 पुरुष और 32 लाख 07 हजार 938 महिला मतदाता हैं.
दुर्गम इलाकों में निर्वाचन कर्मियों को एक-दो दिन पहले भेजा जाएगा
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के रवि कुमार के अनुसार चौथे चरण में मतदान के लिए तैयारी अंतिम चरण में है. दुर्गम इलाके में मतदान के लिए निर्वाचन कर्मियों को मतदान से एक या दो दिन पहले भेजने की तैयारी की गई है.
शहरी क्षेत्र की तुलना में ग्रामीण क्षेत्र में सर्वाधिक मतदान केंद्र
देश में चौथे और झारखंड में पहले चरण के चुनाव में शहरी क्षेत्र की तुलना में ग्रामीण क्षेत्र में सर्वाधिक मतदान केंद्र हैं. चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक चारों संसदीय क्षेत्र में कुल 7595 मतदान केंद्र हैं. जिसमें से 639 शहरी क्षेत्र में हैं, जबकि 6956 ग्रामीण क्षेत्र में मतदान केंद्र हैं. इन मतदान केद्रों से वेब कास्टिंग के जरिए चुनाव आयोग के द्वारा मतदान पर नजर रखी जाएगी. ग्रामीण क्षेत्र में सर्वाधिक मतदान केंद्र होने की वजह से कई ऐसे जगह हैं जो काफी दुर्गम इलाके में पड़ते हैं. ऐसे इलाके में चुनाव संपन्न कराना आयोग के लिए चुनौती है.
यहां बनाए गए इतने मतदान केंद्र
नक्सल प्रभावित सिंहभूम क्षेत्र में 1716 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जो अधिकांशत: भलनरेबल हैं. इस लोकसभा क्षेत्र के मझगांव, जगरनाथपुर और मनोहरपुर में एक भी शहरी क्षेत्र में मतदान केंद्र नहीं हैं, सभी के सभी ग्रामीण क्षेत्र में हैं. वहीं बात यदि खूंटी की करें तो खूंटी लोकसभा क्षेत्र में 1705 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें मात्र 83 शहरी क्षेत्र में हैं, जबकि ग्रामीण क्षेत्र में 1622 मतदान केंद्र हैं. इसी तरह लोहरदगा में 1748 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें शहरी क्षेत्र में मात्र 76 मतदान केंद्र हैं. बात यदि पलामू की करें तो यहां 2427 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें 230 शहरी क्षेत्र में है.
राजनीतिक दृष्टि से अहम हैं चारों सीट
राजनीतिक दृष्टि से झारखंड की यह चारों लोकसभा सीटें काफी महत्वपूर्ण हैं. यही वजह है कि सब की नजर इन सीटों पर होने वाले चुनाव पर बनी हुई है. इन चार में से तीन सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित सीट हैं, जबकि पलामू सीट एससी के लिए रिजर्व है.
चार सीटों पर कुल 45 प्रत्याशी चुनाव मैदान में
झारखंड में प्रथम चरण के चुनाव में कुल 45 प्रत्याशियों के किस्मत का फैसला होगा. जिसमें पलामू में 09, लोहरदगा में 15, खूंटी में 7 और सिंहभूम में 14 प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं. इसके अलावे जिन दिग्गजों की किस्मत का फैसला होनेवाला है उसमें केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, काली चरण मुंडा, सुखदेव भगत, समीर उरांव, चमरा लिंडा, गीता कोड़ा, जोबा मांझी, बीडी राम आदि शामिल हैं. इन सीटों पर भाजपा ने 2019 के चुनाव में सिंहभूम को छोड़कर तीन सीट जीतने का काम किया था. बहरहाल, एक बार फिर चुनावी जंग में उतरे प्रत्याशी चुनाव प्रचार के अंतिम समय तक जनता को रिझाने में जुटे हैं. वहीं जनता चुपचाप इनके आश्वासन को समझने में लगी है.
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