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दसवीं फेल बना IAS, नौकरी दिलवाने के नाम सैकड़ों लोगों को ठगा, भेजता था फर्जी नियुक्ति पत्र - Fake IAS officer arrested

यूपी के जिला हापुड़ में पुलिस ने फर्जी आईएएस को गिरफ्तार (Fake IAS officer arrested) किया है. पुलिस ने आरोपी के कब्जे से इनकम टैक्स विभाग की फर्जी रसीदें, आईएएस अधिकारी का फर्जी आईकार्ड और नगदी बरामद की है.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Apr 2, 2024, 8:56 PM IST

जानकारी देते एसपी हापुड़ अभिषेक वर्मा

हापुड़ : जिला पुलिस ने एक दसवीं फेल फर्जी आईएएस को गिरफ्तार किया है. भोले लोगों को कॉल करके खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी करता था. पुलिस ने आरोपी के कब्जे से एक आईफोन, दो मोबाइल, इनकम टैक्स विभाग की फर्जी रसीदें, आईएएस अधिकारी का फर्जी आईकार्ड और नगदी बरामद की है.

एसपी अभिषेक वर्मा के मुताबिक, मेरठ निवासी प्रियांस कुमार ने पुलिस की पूछताछ में बताया कि वह आईपीएस बनकर सत्संग में जाता रहता है. सत्संग में आने-जाने वाले लोगों से उनका मोबाइल नंबर लेकर कुछ दिन बाद उनको फोन करके खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी से पैसे अपने खाते में ट्रांसफर कर लेता है. उन्हें फर्जी नियुक्ति पत्र व ऑनलाइन ली गई धनराशि की फर्जी बांड की रसीद भेजकर ठगी करता है. गजालपुर बाबूगढ़ के रहने वाले अनिल व दीपक से खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी से पैसे ट्रांसफर कर लिए थे. दोनों को फर्जी नियुक्ति पत्र व ऑनलाइन ली गई धनराशि की फर्जी बांड की रसीद व नियुक्ति पत्र भेजा था.

एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया ने बताया कि आरोपी शातिर किस्म का साइबर अपराधी है, जिसके द्वारा सरकारी विभागों में नौकरी लगवाने के नाम पर अब तक सैंकड़ों लोगों के साथ ठगीकर लाखों रुपए का ट्रांजेक्शन अपने खाते में कर चुका है. साइबर सेल में एक शिकायत प्राप्त हुई थी, जिसमें बाबूगढ़ के रहने वाले अनिल ने बताया था कि इनकम टैक्स में चतुर्थ श्रेणी में सरकारी नौकरी लगवाने के नाम पर अपने आप को फर्जी आईएएस बताने वाले एक व्यक्ति ने उनसे लगभग एक लाख 45 हजार रुपए ठग लिए. पुलिस को जब इस पूरे मामले की सूचना प्राप्त हुई तो पुलिस की जांच में एक व्यक्ति का नाम सामने आया. जिसका नाम प्रियांश है. इसकी उम्र लगभग 25 साल है. यह मेरठ का रहने वाला है और यह दसवीं फेल है.

आरोपी ने पूछताछ में बताया कि आरोपी जगह-जगह जाकर कीर्तन अटेंड करता है. जहां पर उसकी मुलाकात पीड़ित से हुई और वहां पर इनका मोबाइल नंबर लेकर अपने आप को आईएएस अधिकारी बताकर उनको झांसे में ले लेता था. आरोपी सोशल मीडिया के माध्यम से कुछ आईएएस अधिकारियों की फोटो और वीडियो अपने स्टे्टस पर लगाता रहता था. जिससे लोगों को यह लगे कि यह सच में आईएएस अधिकारी हैं. आरोपी ने जब पीड़ित से 145000 ले लिए और पैसे वापस नहीं किए तो शिकायत की. इसके बाद पुलिस ने जांच कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि आरोपी के पास से आईएएस अधिकारी का फर्जी आईकार्ड, नकदी, फर्जी रसीदें बरामद हुई हैं. पुलिस जांच कर रही है. आरोपी ने इस तरीके की ठगी की घटना को अंजाम दिया है. वहां पर भी जांचकर मुकदमा दर्ज कराया जाएगा और आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.

यह भी पढ़ें : दिल्ली शराब घोटाला: 'AAP' सांसद संजय सिंह को बड़ी राहत, SC से छह महीने बाद मिली जमानत - SC Grants Bail To Sanjay Singh

यह भी पढ़ें : नौकर ने ही की थी रिटायर्ड जल निगम कर्मी की हत्या, जेवरात और एक लाख रुपये बरामद - Accountant Jal Nigam Murdered

जानकारी देते एसपी हापुड़ अभिषेक वर्मा

हापुड़ : जिला पुलिस ने एक दसवीं फेल फर्जी आईएएस को गिरफ्तार किया है. भोले लोगों को कॉल करके खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी करता था. पुलिस ने आरोपी के कब्जे से एक आईफोन, दो मोबाइल, इनकम टैक्स विभाग की फर्जी रसीदें, आईएएस अधिकारी का फर्जी आईकार्ड और नगदी बरामद की है.

एसपी अभिषेक वर्मा के मुताबिक, मेरठ निवासी प्रियांस कुमार ने पुलिस की पूछताछ में बताया कि वह आईपीएस बनकर सत्संग में जाता रहता है. सत्संग में आने-जाने वाले लोगों से उनका मोबाइल नंबर लेकर कुछ दिन बाद उनको फोन करके खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी से पैसे अपने खाते में ट्रांसफर कर लेता है. उन्हें फर्जी नियुक्ति पत्र व ऑनलाइन ली गई धनराशि की फर्जी बांड की रसीद भेजकर ठगी करता है. गजालपुर बाबूगढ़ के रहने वाले अनिल व दीपक से खुद को आईएएस अधिकारी बताकर सरकारी नौकरी दिलवाने के नाम पर धोखाधड़ी से पैसे ट्रांसफर कर लिए थे. दोनों को फर्जी नियुक्ति पत्र व ऑनलाइन ली गई धनराशि की फर्जी बांड की रसीद व नियुक्ति पत्र भेजा था.

एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया ने बताया कि आरोपी शातिर किस्म का साइबर अपराधी है, जिसके द्वारा सरकारी विभागों में नौकरी लगवाने के नाम पर अब तक सैंकड़ों लोगों के साथ ठगीकर लाखों रुपए का ट्रांजेक्शन अपने खाते में कर चुका है. साइबर सेल में एक शिकायत प्राप्त हुई थी, जिसमें बाबूगढ़ के रहने वाले अनिल ने बताया था कि इनकम टैक्स में चतुर्थ श्रेणी में सरकारी नौकरी लगवाने के नाम पर अपने आप को फर्जी आईएएस बताने वाले एक व्यक्ति ने उनसे लगभग एक लाख 45 हजार रुपए ठग लिए. पुलिस को जब इस पूरे मामले की सूचना प्राप्त हुई तो पुलिस की जांच में एक व्यक्ति का नाम सामने आया. जिसका नाम प्रियांश है. इसकी उम्र लगभग 25 साल है. यह मेरठ का रहने वाला है और यह दसवीं फेल है.

आरोपी ने पूछताछ में बताया कि आरोपी जगह-जगह जाकर कीर्तन अटेंड करता है. जहां पर उसकी मुलाकात पीड़ित से हुई और वहां पर इनका मोबाइल नंबर लेकर अपने आप को आईएएस अधिकारी बताकर उनको झांसे में ले लेता था. आरोपी सोशल मीडिया के माध्यम से कुछ आईएएस अधिकारियों की फोटो और वीडियो अपने स्टे्टस पर लगाता रहता था. जिससे लोगों को यह लगे कि यह सच में आईएएस अधिकारी हैं. आरोपी ने जब पीड़ित से 145000 ले लिए और पैसे वापस नहीं किए तो शिकायत की. इसके बाद पुलिस ने जांच कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि आरोपी के पास से आईएएस अधिकारी का फर्जी आईकार्ड, नकदी, फर्जी रसीदें बरामद हुई हैं. पुलिस जांच कर रही है. आरोपी ने इस तरीके की ठगी की घटना को अंजाम दिया है. वहां पर भी जांचकर मुकदमा दर्ज कराया जाएगा और आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.

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