फिरोजाबाद : जिले में मरीजों की जिंदगी के साथ खिलवाड़ करने वाले झोलाछाप पर शिकंजा कसने के लिए व्यापक स्तर पर अभियान चलेगा. मुख्य चिकित्साधिकारी ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों और स्वास्थ्य केंद्रों के प्रभारियों को यह जिम्मेदारी सौंपी है.सीएमओ ने निर्देश दिए हैं कि किसी इलाके में फर्जी क्लिनिक में अगर कोई घटना होती है तो संबंधित केंद्र के डॉक्टर को जिम्मेदार माना जाएगा.
बीते कुछ दिनों में सामने आया कि जिले में झोलाछाप बगैर डिग्री और डिप्लोमा के गंभीर बीमारियों का इलाज कर रहे हैं. ऐसे लोग 10 मरीजों की जान ले चुके हैं. हालांकि मामला प्रकाश में आने के बाद इनके खिलाफ कड़ी कार्यवाही भी हुई है, लेकिन ऐसे मामले लगातार सामने आ रहे हैं. मामले की गंभीरता को देखते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. राम बदन राम ने संबंधित स्वास्थ्य केंद्र के एमओआईसी को निर्देशित किया है कि वह अपंजीकृत डॉक्टरों के खिलाफ अभियान चलाकर उनके खिलाफ कार्यवाही करें. उनके क्लीनिकों को सील किया जाए. साथ ही ऐसे लोगों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज हो.
इसी कड़ी में मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. राम बदन राम ने बताया कि इन फर्जी क्लीनिकों के खिलाफ कार्यवाही के लिए संबंधित स्वास्थ्य केंद्रों के प्रभारियों को जिम्मेदारी दी गई है. बताया कि एमओआईसी डॉ. विश्वदीप अग्रवाल को टूंडला, डॉ. विमल उपाध्याय को जसराना,डॉ. हेमंत कुमार को कोटला/जाटऊ, डॉ. शैलेश कुमार को दीदामई, डॉ. कृति गुप्ता को टूण्डला, डॉ. कपिल यादव को मदनपुर सिरसागंज, डॉ. सत्येंद्र कुमार सिंह को एका, डॉ. अमित यादव को धनपुरा शिकोहाबाद, डॉ. आशुतोष को अरांव, नगरीय क्षेत्र के समस्त एमओआईसी को नगर क्षेत्र की जिम्मेदारी सौंपी गई है.
बताया कि इन प्रभारियों को जिम्मेदारी दी गई है कि वह झोलाछाप डॉक्टरों के क्लिनिक सील करते हुए उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराएं. सीएमओ ने यह भी बताया कि अगर किसी क्षेत्र में झोलाछाप डॉक्टर के यहां कोई घटना होती है तो इसके लिए स्वास्थ्य केंद्र प्रभारी जिम्मेदार होंगें.
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