शिमला: देशभर की नजर इस समय लोकसभा चुनावों की तारीख के ऐलान पर टिकी है. खबर है कि 16 मार्च शनिवार को इलेक्शन कमीशन लोकसभा चुनावों की तारीखों का ऐलान करेगा. इसके अलावा कुछ राज्यों में विधानसभा चुनाव भी होने हैं. ऐसे में अब सबकी नजरें चुनाव आयोग की उस प्रेस कॉन्फ्रेंस पर टिकी हैं, जो शनिवार को दोपहर 3 बजे होगी. इसके साथ ही चुनावी शंखनाद हो जाएगा. सियासी दलों को भी इस वक्त का इंतजार है क्योंकि तारीखों के ऐलान के बाद तैयारी और रणनीति बनाने का काम चौथे गियर में पहुंच जाएगा.
100 करोड़ वोटर्स करेंगे उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला: विश्व के सबसे बड़े लोकतांत्रिक देश में कल 18वीं लोकसभा के लिए चुनावों की तारीखों का ऐलान हो जाएगा. इसी के साथ आचार संहिता भी लग जाएगी. देश में लोकसभा के 543 सीटों पर चुनाव होने हैं. अनुमान है कि इस बार करीब 100 करोड़ मतदाता राजनीतिक दलों के उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेंगे. बता दें कि साल 2014 में 81 करोड़ से ज्यादा मतदाताओं ने वोट दिया था. जिसमें 23 करोड़ से अधिक युवा मतदाता थे. वहीं, साल 2019 में करीब 90 करोड़ से ज्यादा मतदाता थे, जिसमें से 15 करोड़ युवा वोटरों ने पहली बार वोट डाला था.
हिमाचल प्रदेश में आखिरी चरण में हो सकता है: साल 2019 में कुल 7 चरणों में मतदान हुआ था. अनुमान है कि इस बार भी 7 से 8 चरणों में वोटिंग की प्रक्रिया पूरी की जा सकती है. जिसके चलते मतदान की प्रक्रिया मई के तीसरे हफ्ते तक पहुंच सकती है. इस लिहाज से हिमाचल में मतदान अंतिम दो चरणों के दौरान संभव है. यानी मई महीने में दूसरे या तीसरे हफ्ते के दौरान हिमाचल में मतदान हो सकता है. 2019 में भी 19 मई को 7वें और अंतिम चरण में हिमाचल की चारों सीटों पर मतदान हुआ था. दरअसल हिमाचल प्रदेश के ऊपरी इलाकों में इन दिनों बर्फबारी का दौर है और बीते दिनों में कई इलाके बर्फ की चादर में ढक गए थे. ऐसे में इन इलाकों में मतदान करवाने के लिए गर्मियों का इंतजार करना होगा. इसलिये ये तय है कि मई महीने में जब लोकसभा चुनाव अपने अंतिम चरणों में होगी तभी हिमाचल में मतदान होगा. तब तक कई इलाकों में बर्फ पिघल जाएगी और मतदान प्रक्रिया को बिना किसी दिक्कत के पूर्ण कर लिया जाएगा.
2019 के मुकाबले देर से होगा तारीखों का ऐलान: गौरतलब है कि 2019 लोकसभा चुनाव के लिए तारीखों का एलान 10 मार्च को हो गया था, जबकि इस बार करीब एक हफ्ते बाद चुनाव आयोग की प्रेस कॉन्फ्रेंस होगी. ऐसे में इस बार चुनाव पिछली बार से लंबे भी खिंच सकते हैं. साल 2019 में 7 चरणों में लोकसभा चुनाव के लिए मतदान हुए थे. 2019 में 11 अप्रैल को पहले चरण में 91 लोकसभा सीटों पर मतदान हुआ था. 18 अप्रैल को दूसरे चरण में 97 सीट, 23 अप्रैल को तीसरे चरण में 115 सीट, 29 अप्रैल को चौथे चरण में 71 सीट, 6 मई को पांचवे चरण में 51 सीट, 12 मई को छठे चरण में 59 सीट और 19 मई को अंतिम चरण में 59 सीटों पर वोट डाले गए थे. ऐसे में देखना होगा कि इस बार कितने चरण में लोकसभा चुनाव होंगे. वहीं, लोकसभा के साथ ही अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, ओडिशा और आंध्र प्रदेश में विधानसभा चुनाव भी होने हैं. चुनाव आयोग की ओर से इन राज्यों में विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान भी हो सकता है. 2019 में 23 मई को मतगणना हुई थी, इस बार देरी से हो रहे ऐलान के कारण ये तारीख आगे भी बढ़ सकती है.
किस राज्य में कितनी लोकसभा सीटें: लोकसभा की सबसे ज्यादा सीटें उत्तर प्रदेश में हैं. यूपी में 80 लोकसभा सीटें है. महाराष्ट्र में 48, पश्चिम बंगाल में 42, बिहार में 40, तमिलनाडु में 39, मध्य प्रदेश में 29, कर्नाटक में 28, गुजरात में 26, आंध्र प्रदेश और राजस्थान में 25-25 लोकसभा सीटें है. वहीं, दिल्ली में 7, उत्तराखंड में 5 और हिमाचल प्रदेश में 4 लोकसभा की सीटें हैं. पिछले लोकसभा चुनाव में 543 सीटों पर 7951 उम्मीदवारों में चुनाव लड़ा था. जिसमें से 720 महिला उम्मीदवार थीं.
2019 लोकसभा चुनाव के नतीजे: 2019 लोकसभा में 543 सीटों पर चुनाव होते हैं. 17वीं लोकसभा चुनाव में कुल 542 सीटों पर हुए चुनाव में भाजपा को 303 सीटें और एनडीए को 352 सीटें मिली थी. कांग्रेस को 52 और यूपीए को 92 सीटें मिली थी. बसपा और सपा को 15 सीटें और टीएमसी को 22 लोकसभा की सीटें मिली थी. इस बार बीजेपी ने 370 सीटें जीतने का दावा किया है साथ ही एनडीए को 400 से ज्यादा सीटें मिलने का दावा किया जा रहा है.
लोकसभा चुनाव में मतदाताओं की संख्या: साल 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में 90 करोड़ से अधिक मतदाता थे. आंकड़ों पर नजर डालें तो साल 2019 में पुरुष मतदाता 46.8 करोड़, महिला मतदाता 43.2 करोड़ और थर्ड जेंडर 38,325 थे , जिन्होंने चुनाव में अपना वोट दिया. वहीं, वोट शेयर की बात करें तो बीजेपी को 37.36% वोट मिले. जबकि एनडीए गठबंधन को 45% वोट यानी करीब 60.37 करोड़ वोट मिले. कांग्रेस ने 52 सीटों पर जीत दर्ज की और यूपीए ने 92 सीटों पर जीत हासिल की थी. इसके अलावा अन्य दलों और उनके गठबंधन ने 97 लोकसभा सीटें जीतीं थी.
भाजपा का नारा 400 पार, इंडिया गठबंधन भी तैयार: 2014 से देश में मोदी सरकार सत्ता पर आसीन हैं. 2019 में 2014 से भी ज्यादा सीटों से भाजपा ने लोकसभा चुनाव जीता था. 2014 में 282 सीटें जीतने वाली बीजेपी 2019 में 300 के पार पहुंच गई थी. बीजेपी केंद्र में सरकार बनाकर जीत की हैट्रिक का दावा कर रही है. इसके लिए प्रधानमंत्री और भाजपा ने अबकी बार 400 पार का नारा दिया है. वहीं, विपक्षी गठबंधन इंडिया एलायंस ने भी मोदी सरकार को रोके के लिए पूरी ताकत लगाई है. ऐसे में देखना होगा की लोकसभा चुनाव परिणाम में देश की जनता पीएम मोदी पर फिर से विश्वास जताती है या फिर इंडिया एलायंस को मौका देती है.
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