भोपाल। मसाजिद कमेटी द्वारा पति-पत्नी के साथ-साथ परिवार के सदस्यों को बुलाकर भी काउंसलिंग की जा रही है. इससे परिवार टूटने से बच रहे हैं. राजधानी में रिश्तों की डोर टूटने से बचाने के लिए इस पहल का हर कोई स्वागत कर रहा है. मसाजिद कमेटी द्वारा तलाक के लिए आए जोड़ों को कजियात में समझाइश दी जा रही है. इसके चलते काउंसलिंग के बाद 90 परिवारों ने तलाक का फैसला बदल लिया है.
काजियात में काउंसलिंग
राजधानी स्थित काजियात इन दिनों निकाह या इसके रजिस्ट्रेशन के साथ ही परिवारों के बीच सुलह कराने के लिए जाना जाता है. शहर काजी सहित कई उलेमा शरियत के आधार पर दिशा-निर्देश जारी कर रहे हैं. कुछ समय से इन मामलों में तेजी देखी गई. इसी को देखते हुए काजियात में काउंसलिंग की प्रक्रिया शुरू की गई. कमेटी के सचिव यासिर अराफात ने बताया कि पति-पत्नी के पवित्र वैवाहिक रिश्तों के बीच छोटी सी अनबन से रिश्तों में होने वाली खटास के कारण कई बार बात तलाक तक पहुंच जाती है. इसलिए तलाक के मामलों को रोकने के लिए मसाजिद कमेटी ने नई पहल की.
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आपसी चर्चा से करते हैं समाधान
मालूम हो कि शहर में सबसे ज्यादा तलाक के मामले एकल परिवार में देखने को मिल रहे हैं. क्योंकि इन परिवारों में कोई समझाइश देने वाला नहीं होता है तो अनबन से शुरू हुई लड़ाई तलाक तक पहुंच जाती है. ऐसे में लोगों को सलाह दी जा रही है कि तलाक तक पहुंचने से पहले आपसी चर्चा की जाए और काउंसलिंग करवाई जाए. अगर कोई बड़ी वजह चर्चा के दौरान सामने ना आए तो रिश्तो की डोर को टूटने से शत प्रतिशत बचाया जा सकता है.