शिमला: हिमाचल में मानसून सीजन में बारिश की बौछारों का हर किसी को इंतजार रहता है. आसमान से अमृत के समान बरसने वाली बारिश की नन्ही-नन्ही बूंदों से न केवल मौसम सुहाना होने से लोगों को गर्मी से राहत मिलती है, बल्कि खेती के लिए भी बारिश संजीवनी से कम नहीं है. लेकिन पिछले साल मानसून सीजन में आसमान से राहत नहीं बल्कि बारिश के रूप में तबाही बरसी थी, जो लोगों को कभी न भूलने वाली गहरे जख्म दे गई.
पिछले साल मानसून में आसमान से बरसी थी आफत: आज इस बात की चर्चा इसलिए भी जरूरी है कि पिछली साल मानसून सीजन में 8 से 10 जुलाई के बीच लगातार हुई मूसलाधार बारिश ने पहला कहर बरपाया था. आसमान से लगातार तीन दिन बरसी आफत की बारिश ने 91 लोगों की जान ले ली थी. वहीं, सैकड़ों आशियाने जमींदोज हो गए. पुल और सड़कें पानी के तेज बहाव में तिनके की तरह बह गए. यानी मानसून की पहली ही मूसलाधार बारिश से हिमाचल को 2 हजार करोड़ से अधिक का नुकसान झेलना पड़ा था. प्रदेश के लोग आज भी उस दिन को याद करके सहम जाते हैं.
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मानसून ने 14 अगस्त को दिखाया था रौद्र रूप: 2023 में हिमाचल में मानसून सीजन ने भारी तबाही मचाई थी. उस दौरान मानसून सीजन ने 8 से 10 जुलाई के हुई भारी बारिश ने पहली तबाही मचाई थी. इसके बाद प्रदेश में 12 से 15 अगस्त के बीच लगातार आसमान से तबाही की बारिश हुई. 14 अगस्त को सबसे बड़ी घटना देखने को मिली. जब एक ही दिन में 55 लोगों की जान चली गई, जिससे पूरा हिमाचल दहल उठा था. 14 अगस्त को सावन का सोमवार था और शिमला के समरहिल स्थित शिव मंदिर बड़ी संख्या में भक्त जलाभिषेक के लिए पहुंचे, लेकिन अचानक बादल फटने से आये मलबे में पूरा मंदिर समा गया. जिसकी वजह से 20 लोगों की जान चली गई थी.
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एक ही दिन में बारिश ने ले ली 55 लोगों की जान: 14 अगस्त को आई आसमानी आफत में शिमला जिले में 14, मंडी में 19, सिरमौर में 7, सोलन में 13 लोगों की दुखद मौत हो गई. इसी तरह से बिलासपुर, हमीरपुर व कांगड़ा में विभिन्न हादसों में 55 लोग अकाल की आसमान से बरसी आफत से अकाल मौत का ग्रास बन गए. पिछले साल पूरे मानसून सीजन में आसमानी आफत ने राज्य के 509 लोगों की जान ली थी. प्रदेश में आई आपदा में 12,304 घरों को नुकसान पहुंचा था. वहीं, 2944 घर पूरी तरह से ध्वस्त हो गए थे. इसके अलावा राज्य में कई नेशनल हाईवे सहित सैकड़ों सड़कें और मार्ग बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुए थे.
आपदा से हिमाचल को हुआ था 9712 करोड़ का नुकसान: हिमाचल में पिछले साल सदी की सबसे भीषण त्रासदी हुई थी. उस दौरान प्रदेश में अकेले पिछले छह मानसून सीजन के बराबर का नुकसान हुआ था. वर्ष 2023 में मानसून सीजन में भारी बारिश, बाढ़ और लैंडस्लाइड की घटनाओं में प्रदेश को करीब ₹9712 करोड़ का नुकसान हुआ था. मानसून में सीजन में लैंडस्लाइड की 169 घटनाएं और फ्लैश फ्लड की 72 घटनाएं घटी थीं. हिमाचल में आपदा से सबसे ज्यादा लोक निर्माण विभाग को ₹2949 करोड़ का नुकसान हुआ था. इसके अलावा जल शक्ति विभाग को ₹2419 करोड़, बिजली बोर्ड को ₹1917 करोड़, कृषि-बागवानी को ₹570 करोड़ और ग्रामीण विकास विभाग को ₹675 करोड़ का नुकसान हुआ था.
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इस साल मानसून को लेकर सभी विभाग पहले से अलर्ट: राजस्व विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव ओंकार शर्मा के मुताबिक पिछले मानसून में बहुत ही अधिक बारिश हुई थी. उन्होंने बताया कि हिमाचल में मानसून सीजन के दौरान जितना नुकसान पिछले छह सालों में हुआ था, उससे अधिक नुकसान अकेले पिछले मानसून सीजन में हुआ था. उन्होंने कहा कि इससे सबक लेते हुए सरकार सतर्क है. जिसके लिए इस बार पहले ही तैयारियां पूरी की गई है.
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