वाराणसी : धर्म नगरी काशी आस्था और विरासत के शहर का अनोखा संगम है. यहां धर्म के साथ ही साथ इतिहास को जानने के लिए आते हैं. पर्यटन की दृष्टि से काशी देश का बड़ा केन्द्र भी है. खास बात यह है कि काशी में एक नया ट्रेंड मेडिटेशन टूरिज्म जुड़ गया है. यही कारण है कि वाराणसी में देश के साथ ही विदेशी पर्यटक भी खूब आ रहे हैं. गंगा के घाट हों या सारनाथ या फिर योग के केन्द्र. ये सभी विदेशी पर्यटकों से गुलजार हैं. इस ट्रेंड के कारण टूर ऑपरेटरों का कारोबार भी गुलजार है. इसको लेकर बड़ी संख्या में बुकिंग भी ऑफ सीजन में शुरू हो गई है.
टूर ऑपरेटर संतोष सिंह बताते हैं कि विदेशी पर्यटक वाराणसी को धार्मिक स्थल की तरह सोच कर आते हैं. धार्मिक स्थल होने के कारण अब यहां योगा और मेडिटेशन करना चाहते हैं. इससे पहले योगा और मेडिटेशन की सुविधा सिर्फ ऋषिकेश में थी, मगर अब वाराणसी को लेकर विदेश पर्यटक इन्क्वायरी कर रहे हैं. इनमें सबसे अधिक संख्या स्पैनिस पर्यटकों की है. ये सभी लोग हर दूसरे दिन योगा और मेडिटेशन को लेकर जानकारी लेते हैं. यह ट्रेंड वाराणसी में अधिक चल रहा है. आने वाले दिनों में यह अधिक पॉपुलर होगा.
मंदिरों और धार्मिक स्थलों में नहीं दिखा रहे रुचि : टूर ऑपरेटर संतोष सिंह के अनुसार वाराणसी आने वाले पर्यटक चाहते हैं कि घाट के किनारे पर बैठकर योगा और मेडिटेशन करें. विदेशी पर्यटकों के लिए वाराणसी विशेष महत्व रखता है. इससे पहले ये लोग जहां भी जाते थे कल्चरल टूर के लिए जाते थे. दिल्ली, जयपुर, आगरा, खजुराहो और वाराणसी भी शामिल रहा है. अन्य जगहों पर पर्यटक खाना, मंदिर और पुराने स्थलों को देखते हैं. बहरहाल वाराणसी एक ऐसी जगह है जहां पर वे रियल लाइफ देखते हैं. उनको मंदिर, सारनाथ आदि जगहों में कोई रुचि नहीं रहती है. उन्हें घाट किनारे घूमना पसंद आता है. इसके चलते वे लोग मंदिरों आदि पर न जाकर आपको घाटों पर दिख जाएंगे.
इन देशों से आ रही ज्यादा बुकिंग : टूर ऑपरेटर संतोष सिंह बताते हैं कि मेडिटेशन टूरिस्ट में सबसे ज्यादा स्पेनिश है. इसके साथ ही चिली, अर्जेंटीना, पुर्तगाल, ब्राजील, कोलंबिया, मेक्सिको, स्पेन और इसके साथ ही अन्य बुद्धिस्ट सेक्टर से जुड़े जो देश है वहां से सबसे ज्यादा क्वेरी आ रही है. वो कहते हैं कि यदि बीते एक महीने की बात करें तो अब तक 20 से ज्यादा फाइल आ चुकी है. लोग अभी से ही बुकिंग में जुट गए हैं, जिसका परिणाम है कि जुलाई अगस्त सिंतबर का स्लॉट लगभग बुक हो चुका है. एक फाइल में लगभग एक ग्रुप होता है, जिसमें 10 से लेकर 100 लोग शामिल होते हैं.
एक रात का स्टे बढ़ा रहे विदेशी पर्यटक : टूर ऑपरेटर संतोष सिंह बताते हैं कि घाट पर रहना, गंगा जी को देखना, वहां आने-जाने वाले लोगों को देखना. यह विदेशी मेहमानों को पसंद आता है. विदेशी पर्यटक योगा और मेडिटेशन के लिए वाराणसी के घाटों को अधिक महत्व देते हैं. अगर बात करें इस कारोबार में मुनाफे की तो सभी का अलग-अलग मुनाफा होता है, मगर इसका एक फायदा यह भी है कि वाराणसी आने वाले विदेशी पर्यटक अपना वन नाइट एक्सटेंड कर रहे हैं. पहले यह टुनाइट थ्री डे का पैकेज लेते थे, लेकिन अब 3 नाइट 4 डे का पैकेज ले रहे हैं. यह जो एक रात का स्टे अधिक हो रहा है यह सिर्फ और सिर्फ योगा के नाम पर हो रहा है. इसका हमें फायदा हो रहा है.