नई दिल्ली: पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के सामने दंगल मैदान पार्किंग साइट में 34 वर्षीय एक शख्स की 4 जुलाई की रात्र निर्मम तरीके से हत्या कर दी गई थी. जिसकी पहचान गौरव ठाकुर (34), पंजाबी बाग के रूप में हुई थी. नॉर्थ दिल्ली जिले की दो अलग-अलग टीम मामले की जांच में जुटीं थी, जिसने इस ब्लाइंड मर्डर मामले को 24 घंटे के भीतर सुलझाने का दावा किया है. पुलिस टीम ने इस मामले में 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिनकी पहचान चंद्रपाल भाटी (48), विनय भाटी (24) और ओमबीर सिंह भाटी (36) के रूप में की गई है. तीनों आरोपी उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं और आपस में चचेरे और मौसेरे भाई हैं.
नॉर्थ दिल्ली जिला पुलिस उपायुक्त मनोज कुमार मीणा के मुताबिक, "यह मामला रुपयों के आपसी लेनदेन को लेकर था. मृतक गौरव ठाकुर ने तीन आरोपियों में से एक चंद्रपाल भाटी से ढाई लाख रुपए उधार ले रखे थे, जिसकी वापसी को लेकर मृतक गौरव और चंद्रपाल के बीच कई बार झगड़ा भी हो चुका है. चंद्रपाल पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के पास ही फुटपाथ पर एक दुकान चलाता है. पैसे वापस नहीं मिलने से खफा होने पर उसने अपने अन्य दो सहयोगियों के साथ मिलकर गौरव ठाकुर की हत्या करने की साजिश भी रची थी. आरोपी चंद्रपाल के साथ गिरफ्तार हुए दो अन्य आरोपी आपस में रिश्तेदार (चचेरे-मौसेरे भाई) हैं.
तीनों संदिग्ध दिल्ली और यूपी से किए गए गिरफ्तार: पुलिस ने इस ब्लाइंड मर्डर मामले को कोतवाली थाने में 5 जुलाई को मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई थी. इस मामले की गंभीरता को देखते हुए नॉर्थ जिले के एडिशनल डीसीपी-I सुधांशु वर्मा की लीडरशिप में दो अलग-अलग टीमों का गठन किया गया था. इन दोनों टीमों ने दिल्ली और यूपी में ताबड़तोड़ छापेमारी की थीं, जिसके बाद इस हत्याकांड के सभी आरोपियों को 24 घंटे के भीतर धरदबोचने में कामयाबी हासिल की गई. 6 जुलाई को तीनों संदिग्धों को सीमापुरी (दिल्ली) और उत्तर प्रदेश के साहिबाबाद से दबोच लिया गया.
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आरोपियों ने गौरव को शराब पार्टी के बहाने बुलाया था: पूछताछ के दौरान आरोपियों ने बताया कि गौरव ठाकुर ने चंद्रपाल भाटी से 2.5 लाख रुपये उधार ले रखे थे, जो वापस नहीं दे रहा था. इसको लेकर उनके बीच कई बार झगड़ा हो चुका था. चंद्रपाल भाटी ने अपने दोस्त ओमवीर और विनय के साथ मिलकर गौरव ठाकुर की हत्या की योजना बनाई. चंद्रपाल भाटी ने दो देसी पिस्तौल की व्यवस्था की और 4 जुलाई की शाम को शराब पार्टी के बहाने गौरव को घटना स्थल पर बुलाया और मौका पाकर ओमबीर ने गौरव ठाकुर की गर्दन पर गोली चला दी. इस घटना के बाद सभी आरोपी मौके से फरार हो गए थे.
आरोपी चंद्रपाल भाटी और ओमबीर के कब्जे से इस अपराध को अंजाम देने में इस्तेमाल की गईं दो देसी पिस्तौल भी बरामद किए हैं. आरोपी चंद्रपाल भाटी की निशानदेही पर एक कार भी बरामद की गई, जिसका इस्तेमाल अपराध में किया गया था. इसके बाद सभी आरोपियों को कोर्ट के सामने पेश किया जिनकी दो दिन की पुलिस रिमांड भी मिली है.
आरोपी चंद्रपाल के चचेरे भाई ने चलाई थी मृतक गौरव पर गोली: इस दौरान यह भी खुलासा हुआ कि आरोपी विनय भाटी (24) रिश्ते में चंद्रपाल भाटी का मौसेरा भाई है. वह भी साहिबाबाद, यूपी के जवाहर पार्क का रहने वाला है. तीसरा आरोपी ओमबीर सिंह भाटी (36), चंद्रपाल भाटी का चचेरा भाई है. वह अपने भाई चंद्रपाल के कहने पर दिल्ली आया था, जिसने गौरव को खत्म करने के लिए उसकी गर्दन पर गोली चलाई थी. वह मर्डर मामले को अंजाम देने के लिए अपने गावं दुलेरा, सिकंदराबाद (बुलन्दशहर) से आया था. इन तीनों आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद पुलिस मामले में आगे की जांच में जुट गई है.
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