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दिल्ली पुलिस ने मोबाइल टावरों से रेडियो रिमोट यूनिट चुराने वाले गिरोह का किया भंडाफोड़, चार गिरफ्तार - radio remote units

दिल्ली पुलिस ने मोबाइल टावरों पर लगे महंगे 'रेडियो रिमोट यूनिट' चुराने वाले गिरोह का भंडाफोड़ करने का दावा किया. इसके अलावा पुलिस ने बाहरी इलाकों में दर्ज चोरी के 46 मामले भी सुलझाने का दावा किया है.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Mar 21, 2024, 11:54 AM IST

नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने बुधवार को सरगना समेत चार लोगों की गिरफ्तारी के साथ मोबाइल टावरों पर लगे महंगे 'रेडियो रिमोट यूनिट' (आरआरयू) चुराने वाले पुनीत बॉम्बे गिरोह का भंडाफोड़ करने का दावा किया. साथ ही राष्ट्रीय राजधानी और इसके बाहरी इलाकों में दर्ज चोरी के 46 मामले सुलझाए हैं. आरोपियों की पहचान पुनीत कुमार उर्फ बॉम्बे, परवीन राणा उर्फ सोनू ठाकुर, सुमित राणा और सलमान के रूप में हुई है. पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 24 लाख रुपये की चार चोरी की आरआरयू, 12 हाई-टेक हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर उपकरण भी बरामद किए हैं.

आरआरयू, मोबाइल सेवा प्रदाताओं के मोबाइल टावरों में स्थापित उपकरण है. इसका उपयोग दूरसंचार में एक ट्रांसीवर के रूप में किया जाता है, जो मोबाइल सिग्नलों के ट्रांसमिशन एंड रिसीविंग के कामकाज को जोड़ता है. पुलिस के मुताबिक, हाल के दिनों में आरआरयू में बढ़ती चोरियों को देखते हुए दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और नोएडा में इस नई तरह की चोरी में शामिल लोगों को पकड़ने के लिए एक टीम का गठन किया गया था.

क्राइम ब्रांच के डीसीपी राकेश पावरिया ने कहा, ''पुलिस टीम ने चोरी वाले स्थानों का दौरा किया और सीसीटीवी फुटेज एकत्र किए. एकत्र जानकारी का मैन्युअल और तकनीकी रूप से विश्लेषण किया गया, जिससे कुछ संदिग्धों के मोबाइल नंबरों का खुलासा हुआ." कॉल डिटेल रिकॉर्ड (सीडीआर) की जांच करके पुलिस ने संबंधित समय के साथ, अपराध स्थल तक पहुंचने के लिए संदिग्धों द्वारा अपनाए गए मार्गों की पहचान की.

ये भी पढ़ें : दिल्ली में घर के बाहर झाड़ू लगा रही बुजुर्ग महिला को कार ने मारी टक्कर, महिला की मौत

डीसीपी ने आगे कहा कि इसके बाद टीम ने तीन चोरों की सफलतापूर्वक पहचान कर ली. सीडीआर के आगे के विश्लेषण से पता चला कि इन संदिग्धों के मोबाइल नंबर उन क्षेत्रों में भी सक्रिय थे, जहां से आरआरयू चुराए गए थे. 16 मार्च को तकनीकी और स्थानीय खुफिया जानकारी की सहायता से, पुलिस ने तीन संदिग्धों पुनीत, प्रवीण और सुमित को रोका. वे कार में लोनी गोल चक्कर के रास्ते गाजियाबाद की ओर जा रहे थे.

डीसीपी ने कहा कि तलाशी के दौरान उनकी कार में तीन चोरी हुए आरआरयू, मोबाइल टावरों से आरआरयू को तोड़ने और हटाने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले अत्याधुनिक हार्डवेयर/सॉफ्टवेयर उपकरण, सुरक्षा बेल्ट और हुक/पुली से लैस रस्सियां मिली. पुलिस ने तीनों संदिग्धों को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार संदिग्धों की निशानदेही पर पुलिस ने सलमान को भोपुरा बॉर्डर पर पकड़ लिया. उसके पास से अतिरिक्त चोरी की गई आरआरयू की बरामदगी भी की गई। पूछताछ में आरोपियों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया है.

ये भी पढ़ें : नोएडा में पुलिस कस्टडी में एक आरोपी की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत, जांच में जुटे आला अधिकारी

- आईएएनएस

नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने बुधवार को सरगना समेत चार लोगों की गिरफ्तारी के साथ मोबाइल टावरों पर लगे महंगे 'रेडियो रिमोट यूनिट' (आरआरयू) चुराने वाले पुनीत बॉम्बे गिरोह का भंडाफोड़ करने का दावा किया. साथ ही राष्ट्रीय राजधानी और इसके बाहरी इलाकों में दर्ज चोरी के 46 मामले सुलझाए हैं. आरोपियों की पहचान पुनीत कुमार उर्फ बॉम्बे, परवीन राणा उर्फ सोनू ठाकुर, सुमित राणा और सलमान के रूप में हुई है. पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 24 लाख रुपये की चार चोरी की आरआरयू, 12 हाई-टेक हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर उपकरण भी बरामद किए हैं.

आरआरयू, मोबाइल सेवा प्रदाताओं के मोबाइल टावरों में स्थापित उपकरण है. इसका उपयोग दूरसंचार में एक ट्रांसीवर के रूप में किया जाता है, जो मोबाइल सिग्नलों के ट्रांसमिशन एंड रिसीविंग के कामकाज को जोड़ता है. पुलिस के मुताबिक, हाल के दिनों में आरआरयू में बढ़ती चोरियों को देखते हुए दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और नोएडा में इस नई तरह की चोरी में शामिल लोगों को पकड़ने के लिए एक टीम का गठन किया गया था.

क्राइम ब्रांच के डीसीपी राकेश पावरिया ने कहा, ''पुलिस टीम ने चोरी वाले स्थानों का दौरा किया और सीसीटीवी फुटेज एकत्र किए. एकत्र जानकारी का मैन्युअल और तकनीकी रूप से विश्लेषण किया गया, जिससे कुछ संदिग्धों के मोबाइल नंबरों का खुलासा हुआ." कॉल डिटेल रिकॉर्ड (सीडीआर) की जांच करके पुलिस ने संबंधित समय के साथ, अपराध स्थल तक पहुंचने के लिए संदिग्धों द्वारा अपनाए गए मार्गों की पहचान की.

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डीसीपी ने आगे कहा कि इसके बाद टीम ने तीन चोरों की सफलतापूर्वक पहचान कर ली. सीडीआर के आगे के विश्लेषण से पता चला कि इन संदिग्धों के मोबाइल नंबर उन क्षेत्रों में भी सक्रिय थे, जहां से आरआरयू चुराए गए थे. 16 मार्च को तकनीकी और स्थानीय खुफिया जानकारी की सहायता से, पुलिस ने तीन संदिग्धों पुनीत, प्रवीण और सुमित को रोका. वे कार में लोनी गोल चक्कर के रास्ते गाजियाबाद की ओर जा रहे थे.

डीसीपी ने कहा कि तलाशी के दौरान उनकी कार में तीन चोरी हुए आरआरयू, मोबाइल टावरों से आरआरयू को तोड़ने और हटाने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले अत्याधुनिक हार्डवेयर/सॉफ्टवेयर उपकरण, सुरक्षा बेल्ट और हुक/पुली से लैस रस्सियां मिली. पुलिस ने तीनों संदिग्धों को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार संदिग्धों की निशानदेही पर पुलिस ने सलमान को भोपुरा बॉर्डर पर पकड़ लिया. उसके पास से अतिरिक्त चोरी की गई आरआरयू की बरामदगी भी की गई। पूछताछ में आरोपियों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया है.

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- आईएएनएस

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