नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच की टीम ने राजधानी में नशीले पदार्थों की सप्लाई में शामिल दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. पुलिस ने तस्करों के पास से 33 किलोग्राम गांजा जब्त किया है, जिसकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत करीब 20 लाख रुपए आंकी गई है. आरोपियों ने यह नशीला पदार्थ उड़ीसा-आंध्र प्रदेश के बॉर्डर एरिया से खरीदा था. दोनों आरोपियों की पहचान राहुल (32) और संदीप (37) के रूप में की गई है.
क्राइम ब्रांच के डीसीपी सतीश कुमार के मुताबिक, अपराध शाखा की नॉर्दन रेंज-II को दिल्ली एनसीआर में गांजे की सप्लाई करने वालों के बारे में गुप्त सूचना मिली थी. इस सूचना के आधार पर एसीपी नरेंद्र सिंह की निगरानी में इंस्पेक्टर संदीप स्वामी के नेतृत्व में टीम का गठन किया गया. टीम ने सूचना को विकसित किया और आरोपियों को दबोचने के लिए पूरी योजना तैयार की. इसके बाद नांगलोई, जेजे कैंप नंबर 2 के रहने वाले राहुल को मादक पदार्थ यानी 33 किलोग्राम भांग/गांजा की बरामदगी के साथ गिरफ्तार कर लिया गया. नशीला पदार्थ बरामद होने के बाद क्राइम ब्रांच थाने में एनडीपीएस एक्ट की धारा 20/29 के तहत मामला दर्ज कर लिया गया.
देश के अलग-अलग हिस्सों में तस्करी: आरोपी राहुल उड़ीसा-आंध्र प्रदेश की सीमा से मादक पदार्थों को खरीदकर दिल्ली में सप्लाई करता था. दरअसल भांग/गांजा ओडिशा-आंध्र प्रदेश के सीमावर्ती आदिवासी इलाकों में बड़े पैमाने पर उगाया जाता है, जहां से इसकी देश के अलग-अलग हिस्सों में तस्करी की जाती है. आरोपी राहुल इस बरामद मादक पदार्थ को संदीप नाम के शख्स को सप्लाई करने वाला था, जो जी ब्लॉक, सुल्तानपुरी (दिल्ली) में रहता है. आरोपी राहुल की निशानदेही पर दूसरे आरोपी संदीप को भी क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार कर लिया.
ऐसे दिया लालच: राहुल ने खुलासा किया कि उसकी मुलाकात मंगोलपुरी दिल्ली में एक शराब की दुकान पर एक व्यक्ति से हुई थी. यहां उस व्यक्ति ने खुद को राहुल उर्फ राजू बताया, जिसने गांजे की आपूर्ति में शामिल होने की बात कही और उसने इसकी सप्लाई में मोटा मुनाफा होने की बात कही. इसके बाद राहुल ने आंध्र प्रदेश से गांजा लाने के लिए प्रति चक्कर एक हजार रुपये दिए. इसके बाद उसने इच्छापुरम रेलवे स्टेशन के पास राहुल उर्फ राजू द्वारा पहले से ही तय की गई जगह पर मिलने वाले लोगों से गांजा लाना शुरू कर दिया. यह भी खुलासा हुआ कि राहुल उसके अकाउंट में पैसे ट्रांसफर करता था. उसने यह भी खुलासा किया कि करीब एक साल पहले उसकी मुलाकात दिल्ली के सुल्तानपुरी में जलेबी चौक पर शेल्टर हाउस के पास एक आवारा लड़के शिवम से हुई थी जो गांजा बेचता था.
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इसके बाद सितंबर, 2023 में इच्छापुरम रेलवे स्टेशन पर शिवम के जरिये उसकी मुलाकात एक शख्स से हुई. वह इस बात को अच्छे से जानता था कि खुद गांजा लाना बहुत जोखिम भरा है. इसलिए उसने शेल्टर हाउस के पास नशे के आदी आवारा लड़कों को चुनना शुरू कर दिया और उनको 5000 से 10,000 रुपये की मामूली रकम के बदले गांजा लाने के लिए भेजता था. जानकारी मिली की राहुल छठी कक्षा तक पढ़ाई करने के बाद 2004 में वेटर के रूप में काम किया और बाद में नशे का कारोबार करने लग गया.
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