इंदौर। मोटर व्हीकल एक्ट के मामले में सुनवाई करने वाली इंदौर की स्पेशल कोर्ट ने एक मामले में पीड़ित परिवार को एक करोड़ रुपए बीमा कंपनी को देने के आदेश दिए हैं. सुनवाई के दौरान विभिन्न तरह के तर्क कोर्ट के समक्ष अधिवक्ता ने रखे. मामले के अनुसार इंदौर से भोपाल जा रहे महिला बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारी रणजीत सिंह की स्कॉर्पियो कार को 14 दिसंबर 2018 को वर्मा ट्रैवल्स की बस ने खरतनाक टक्कर मारी थी.
स्कॉर्पियो सवार अधिकारी की हुई थी हादसे में मौत
इस सड़क हादसे में स्कॉर्पियो में सवार महिला बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारी रणजीत सिंह की मौत हो गई थी. इसके बाद इस मामले को लेकर मृतक की पत्नी इंदू ने अपने अधिवक्ता राजेश खंडेलवाल के माध्यम से परिवाद दायर किया. इस दौरान कोर्ट के समक्ष अधिवक्ता ने तर्क रखे कि जिस व्यक्ति की मौत हुई वह महिला बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारी के पद पर पदस्थ थे. परिवार के सदस्यों की जिम्मेदारी उन पर ही थी. अचानक उनकी मौत हो जाने के कारण घर की आर्थिक स्थिति बिगड़ चुकी है.
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बीमा कंपनी के दावों को कोर्ट ने गलत ठहराया
अधिवक्ता के तर्कों से सहमत होते हुए कोर्ट ने बीमा कंपनी को मृतक परिवार को एक करोड़ रुपए हर्जाने के रूप में देने के आदेश दिए. सुनवाई के दौरान बीमा कंपनी ने भी कोर्ट के समक्ष विभिन्न तरह के तर्क रखे, लेकिन परिवार की आर्थिक स्थिति व अधिवक्ता के विभिन्न तरह के तर्कों को देखते हुए कोर्ट ने बीमा कंपनी के सभी तर्कों को दरकिनार कर यह आदेश दिया है. वहीं, पीड़ित परिवार ने कोर्ट के फैसले पर संतोष जताया है.