रामगढ़: पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन के बड़े भाई राजाराम सोरेन का निधन रांची में लंबी बीमारी के बाद हो गया. जिसके बाद उनका पार्थिव शरीर रांची से उनके पैतृक आवास नेमरा लाया गया. राजाराम सोरेन के निधन की जानकारी के बाद राज्य के मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन भी नेमरा पहुंचे. सीएम शोकाकुल परिजनों से मिले और उन्हें ढाढस बंधाया.
सीएम राजाराम सोरेन की अंतिम यात्रा में भी शामिल हुए और उन्हें श्रद्धांजलि दी. यहां सीएम चंपई सोरेन ने कहा कि राजाराम सोरेन बड़े भाई की तरह थे, उनके निधन से सभी काफी मर्माहत हैं. हर समय वे साथ रहे हैं चाहे गुरु जी की लड़ाई हो या झारखंड राज्य की लड़ाई हो. हम सभी के साथ जुड़ने के बाद वे काफी सुझाव देते थे और हमेशा मनोबल को बढ़ाते थे.
पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को कोर्ट से जमानत नहीं मिलने के कारण वे अपने बड़े पिताजी के दाह संस्कार में भाग नहीं ले सके. उन्होंने कोर्ट से अपने चाचा के दाह संस्कार से लेकर पूरे क्रिया क्रम के कार्यक्रम में भाग लेने के लिए 13 दिन की अग्रिम जमानत की मांग की थी, लेकिन कोर्ट ने उसे खारिज कर दिया. जिसके कारण वे अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हो सके.
राजाराम सोरेन लंबे समय से गोला के डाक बंगला में रहकर एनजीओ चलाते थे. कुछ वर्ष पहले जब वे बीमार पड़े तो उनकी पुत्री उन्हें अपने साथ रांची ले गई. जहां उनका इलाज चल रहा था. नेमरा में धार्मिक रीति रिवाज के बाद राजाराम सोरेन की अंतिम यात्रा निकाली गई. इस दौरान पूरा माहौल गमगीन हो गया, घर के कुछ ही दूरी पर स्थित मुक्तिधाम में उन्हें पंचतत्व में विलीन कर दिया गया. मुखाग्नि स्वर्गीय लालू सोरेन के पुत्र दयानन्द सोरेन ने दी.
पार्थिव शरीर के साथ राजाराम सोरेन के छोटे भाई दिशोम गुरु और पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन, रूपी सोरेन, विधायक व मंत्री बसंत सोरेन, हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरन, रेखा सोरेन, अंजलि सोरेन, पेयजल एंव स्वछता मंत्री मिथलेश ठाकुर, पूर्व विधायक अर्जुन राम, विजय महतो, सुनील राज चक्रवर्ती, सावन टुडू, मुखिया जीतलाल टुडू, दिनेश मुर्मू, महालाल टुडू, हेमलाल टुडू, केशव टुडू, सतीश टुडू, छोटेलाल, दिलीप मुंडा, हेमलाल सोरेन, श्रीपद टुडू, रितुलाल सोरेन सहित बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे.
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