भिलाई : भिलाई मजदूरों की जान भगवान भरोसे है. आए दिन भिलाई में श्रमिकों के साथ गंभीर हादसे हो रहे हैं.जिसमें श्रमिकों की जान जा रही है.शुक्रवार को एक बार फिर श्रमिक हादसे का शिकार हो गया.जिसकी अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई. मौत होने की सूचना जैसे ही परिजनों को मिली तो हॉस्पिटल पहुंचकर परिजनों ने हंगामा करना शुरु किया.परिजन हादसे के लिए ठेकेदार को जिम्मेदार मांगा और प्रशासन से 25 लाख रुपए मुआवजे की मांग की.
कैसे हुई दुर्घटना : जानकारी के अनुसार भिलाई में चौहान स्टेट सुपेला के पीछे एक बिल्डिंग में काम चल रहा है. अंजोरा ढाबा दुर्ग निवासी दुर्गेश विश्वकर्मा ठेका मजदूर का काम करता था.शुक्रवार को दुर्गेश पहले दिन काम पर पहुंचा था. इसी दौरान फ्लोर कटिंग के दौरान करंट लगने से युवक बेसुध होकर गिर गया. उसे तत्काल बीएम शाह अस्पताल पहुंचाया गया, जहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया.
घर में अकेला कमाने वाला था मृतक : मृतक दुर्गेश विश्वकर्मा परिवार में इकलौता कमाई करने वाला था. घर में माता पिता और पत्नी हैं. मुआवजे की मांग को लेकर परिजन अस्पताल परिसर में हंगामा करने लगे. सूचना मिलने पर अतिरिक्त तहसीलदार और पुलिस मौके पर पहुंचे और लोगों का गुस्सा शांत कराया.
''घर में कमाने वाला अकेला ही लड़का था. अब वो भी खत्म हो गया. भरण पोषण करने के लिए सरकार से हम 25 लाख रुपए मुआवजा राशि की मांग करते हैं. मृतक की पत्नी को कहीं अच्छी जगह नौकरी दिया जाए.''- एस विश्वकर्मा, मृतक का पिता
तहसीलदार ने शांत कराया प्रदर्शन : इस दौरान प्रशासन की टीम ने मौके पर पहुंचकर लोगों का गुस्सा शांत कराया.तहसीलदार ने परिवार को भरोसा दिलाया है कि शासन की ओर से जो भी मदद होगी वो की जाएगी.
''घर बनाने के काम के दौरान करंट लगने से युवक की मौत हो गई. परिजनों की मांग है कि 25 लाख रुपए मुआवजा मिले. शासन स्तर पर जो भी प्रावधान होगा उसके परिवार की मदद की जाएगी. '' चंद्रशेखर चंद्राकर,अतिरिक्त तहसीलदार
आपको बता दें कि छत्तीसगढ़ में ठेका श्रमिकों की सुरक्षा के लिए कई मापदंड बनाए गए हैं.लेकिन कंस्ट्रक्शन समेत दूसरे कामों में ठेका श्रमिकों की सुरक्षा को लेकर किसी तरह के इंतजाम नहीं रहते.जिसके कारण इंसानी जिंदगी कभी भी काल के गाल में समा रही है.ताजा मामले में यदि सुरक्षा के मापदंड तय होते तो किसी के घर का चिराग नहीं बुझता.