छिंदवाड़ा: पिता जीवित थे तो प्रधानमंत्री आवास योजना में मकान मिला जिसके लिए सरकार से पैसा भी दिया गया लेकिन हितग्राही तक पैसा नहीं पहुंचा. मकान भी नहीं बना और पिता की मौत भी हो गई. अब बेटा मकान को ढूंढ रहा है और इसकी शिकायत पीड़ित व्यक्ति ने कलेक्टर से की है. यह हम नहीं कह रहे हैं बल्कि उस व्यक्ति का कहना है जिसके नाम पर प्रधानमंत्री आवास की रकम निकाली जा चुकी है. आईए जानते हैं क्या है मकान चोरी होने का मामला.
पिता के नाम पर आया पैसा गायब होने का आरोप
ग्राम पंचायत राहीवाड़ा के ग्राम धाधरा के रहने वाले अप्पू बंदेवार का आरोप है कि "उसके पिता जब जीवित थे तब प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत उसके पिता लक्ष्मीचंद बंदेवार का पीएम आवास का प्रकरण सेंक्शन कर दिया गया था. गांव के सरपंच और सचिव ने शासकीय योजना का लाभ देने के ऐवज में पिता के हस्ताक्षर ले लिए और रकम भी निकाल ली. लेकिन आज तक हमारा मकान निर्माण नहीं किया गया है. उनकी मौत के बाद जब दस्तावेज निकाले गए तो सरपंच और सचिव का फर्जीवाड़ा सामने आया है." कलेक्ट्रेट पहुंचे युवक ने इस मामले में कार्रवाई की मांग अधिकारियों से की है.
झोपड़ी लेकर घूम रहा पीड़ित
पीड़ित अप्पू वंदेबार ने इस मामले में कई बार अधिकारियों से शिकायत की लेकिन किसी ने उसकी नहीं सुनी. लोगों का उसकी ओर ध्यान आकर्षित हो सके और वह अपनी पीड़ा अधिकारियों तक पहुंचा सके इसलिए अप्पू बंदेवार एक छोटी सी झोपड़ी लेकर अधिकारियों के दरवाजे खटखटा रहा है और बताता है कि मेरा प्रधानमंत्री आवास का मकान चोरी हो गया है, इसलिए हमारा परिवार झोपड़ी में रहने को मजबूर है.
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कलेक्टर ने दिए जांच के आदेश
पीड़ित की शिकायत के बाद कलेक्टर ने संबंधित अधिकारियों को इस मामले में जांच करने के आदेश जारी किए हैं. कलेक्टर शीलेंद्र सिंह ने कहा है कि "पीड़ित की शिकायत मिलने पर मामले की जांच की जा रही है, जो भी तथ्य सामने आएंगे उसके खिलाफ विधिवत कार्रवाई की जाएगी."