फतेहपुर: जिले के धाता क्षेत्र के अजरौली पल्लावां गांव में एक इंसान और जानवर के बीच प्रेम-स्नेह का एक अनोखा मामला सामने आया. एक शख्स की पालतू फीमेल डॉग ने जब बच्चों को जन्म दिया तो इसकी खुशी में पूरे गांव को दावत दी गई. घोड़े का नाच कराया गया. डीजे की धुन पर लोग जमकर थिरके. यह वाकया आसपास के इलाकों में चर्चा का विषय बना है.
गांव के रहने वाले आल्हा बाबा की पालतू डॉगी पपी ने हाल ही में बच्चों का जन्म दिया है. आल्हा बाबा ने इन बच्चों की छठी पूरे रीति रिवाज करने की तैयारी की. इसके बाद उन्होंने पूरे गांव को दावत दी. गांव के करीब ढाई से तीन सौ लोग इस मौके पर दावत करने पहुंचे. लजीज व्यंजनों का स्वाद उठाया. लोगों के मनोरंजन के लिए डीजे पर डांस के साथ ही घोड़े के नाच ने जमकर धमाल मचाया.
करीब 45 साल के आल्हा बाबा ने बताया कि उन्हें भावनात्मक रूप से खुशी मिली, जब उन्होंने पालतू कुतिया के बच्चों की छठी पूरे रीति रिवाज व धूमधाम से मनाई. आल्हा बाबा ने बताया कि पपी उनके लिए धन और स्वास्थ्य दोनों ही मामलों में बहुत भाग्यशाली रही है. उन्होंने इस छठी समारोह के लिए एक लाख रुपये से ज्यादा खर्च किए हैं. गांववालों के लिए शाकाहारी व्यंजन बनवाए गए. इसके अलावा डीजे लगवाया गया तथा घोड़े के डांस वाले भी बुलाए गए थे. लोगों ने गीतों की धुनों पर डांस किया और घोड़े के डांस परफॉर्म का लुत्फ लिया. इस मौके पर आल्हा बाबा के घर और पूरी गली रंग-बिरंगी झालरों और लाइटों से सजाई गई.
आल्हा बाबा ने बताया कि जैसे किसी परिवार में बच्चे का जन्म होने पर छठी कार्यक्रम किया जाता है, ठीक उसी तरह मैंने अपने पालतू डॉगी के बच्चों के लिए पूरे रीति रिवाज से किया. यहां तक कि पपी और उसके बच्चों के पंजों पर गांव की महिलाओं ने आलता (लाल रंग) भी लगाया. साथ ही सोहर गाया. इधर, जैसे ही आसपास के गांवों में यह सूचना फैली, लोग पपी और उसके बच्चों के साथ सेल्फी खिंचवाने के लिए पहुंचने लगे. आल्हा बाबा का कहना है कि पपी ने पहली बार बच्चों को जन्म दिया है. आल्हा बाबा दूध बेचकर व कृषि करके अपना परिवार चलाते हैं.
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