मुरैना। मुरैना व आसपास के जिलों में रेत माफिया बेलगाम हैं. पुलिस भी कभी कभार इनके खिलाफ कार्रवाई करती है. एक बार फिर पुलिस ने रेत माफिया को पकड़ने के लिए रणनीति बनाई. रेत से भरी ट्रॉलियों का पुलिस ने पीछा किया तो हाइवे पर अफरातफरी मच गई. पुलिस व रेत माफिया के बीच काफी देर तक फिल्मी स्टाइल में नेशनल हाइवे पर आंखमिचौली का खेल चलता रहा. पुलिस के हाथ कोई भी रेत माफिया नहीं लग सका. इस दौरान माफिया द्वारा नेशनल हाइवे पर दो दर्जन से अधिक ट्रॉली खाली कर दी गईं.
नेशनल हाइवे से रात में निकलती हैं ट्रैक्टर ट्रॉलियां
बता दें कि रेत माफिया रात के अंधेरे में ट्रैक्टर-ट्रॉलियों में रेत भरकर नेशनल हाइवे पर फर्राटे भरते हुए दूसरे जिलों में सप्लाई कर रहे हैं. हाइवे से होकर गुजरने वाले रेत माफिया के ट्रैक्टर-ट्रॉलियां सैकड़ों हैं. रेत माफिया की कमर तोड़ने के लिए एसपी शैलेन्द्र सिंह चौहान के निर्देश पर बानमोर SDOP के नेतृत्व में आधा दर्जन पुलिस टीमें लगाई गईं. नव आगंतुक आईपीएस बानमौर एसडीओपी आदर्शकांत शुक्ला के नेतृत्व में थाना प्रभारी बानमोर दर्शन लाल शुक्ला ने कार्रवाई करने के लिए योजना बनाई.
पुलिस की 5 टीमों ने की रेत माफिया की घेराबंदी
योजना के तहत दो दर्जन से अधिक पुलिस अधिकारी कर्मचारी की पांच टीमें बनाई गईं. कुछ टीमों को छुपने के लिए कहा गया. ये पांच टीमें जेके टायर फैक्ट्री, नगर परिषद के पास, थाने के पास, चौथी टीम पानी की टंकी के पास एवं पांचवीं टीम बैकअप के लिए रखी गई. उल्लेखनीय है कि रेत माफिया जब भी रेत की ट्रैक्टर ट्रॉली एक साथ लेकर निकलते हैं तो पायलट के रूप में आगे बाइक सवार चलते हैं. जो ट्रैक्टर ट्राली चालकों को कोई भी खतरा होने से पहले सूचना दे देते हैं. इस बार फिर पुलिस के जगह-जगह छुपे होने की सूचना रेत माफिया को मिल गई.
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हाइवे पर फैली रेत हटाने के लिए लगाईं 4 जेसीबी
सूचना मिलते ही रेत माफिया के ट्रैक्टर ट्रॉली लेकर मुरैना की और भागने लगे. ये देखकर पुलिस टीम ने पीछा किया. इसके बाद पुलिस और रेत माफिया के बीच काफी देर तक आंखमिचोली का खेल चलता रहा. रेत माफिया को जहां जगह मिली, उस दिशा में ट्रैक्टर ट्रॉली को घुमा दिया. इसी दौरान रेत माफिया द्वारा ट्रैक्टर ट्रॉली में भरी रेत को हाइवे पर उड़ेल दिया गया. पुलिस अधिकारियों की टीम ने काफी मशक्कत की, लेकिन कोई भी रेत माफिया पुलिस के हाथ नहीं लगा. इसके बाद सड़क पर फैलाया गया रेत साफ करने के लिए चार जेसीबी मशीन का सहारा लेना पड़ा. एएसपी अरविंद ठाकुर का कहना है कि पुलिस की भनक लगते ही माफिया फरार हो गए.