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कांग्रेस के बाद BJP में सीएम पद पर रार! बीजेपी हाईकमान ने नायब सैनी को बनाया चेहरा, कांग्रेस बिना सीएम चेहरे के लड़ रही चुनाव - Haryana Assembly Election 2024

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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Sep 17, 2024, 10:44 AM IST

Haryana Assembly Election 2024: कांग्रेस के बाद अब बीजेपी में भी मुख्यमंत्री पद को लेकर घमासान मच गया है. पूर्व गृहमंत्री अनिल विज की सीएम पद की दावेदारी के बाद सियासी पारा हाई हो गया है. कांग्रेस में भी सीएम पद के चार उम्मीदवार नजर आ रहे हैं.

Bjp And Congress Cm Candidate
Bjp And Congress Cm Candidate (Etv Bharat)

चंडीगढ़: कांग्रेस के बाद अब बीजेपी में भी मुख्यमंत्री पद को लेकर घमासान मच गया है. पूर्व गृहमंत्री अनिल विज ने हरियाणा के सीएम पद के लिए दावेदारी पेश की है. इससे पहले हरियाणा विधानसभा 2014 और 2019 के चुनाव में भी अनिल विज सीएम पद की दौड़ में शामिल रहे थे, लेकिन हाईकमान ने उनके नाम पर मुहर ना लगाकर मनोहर लाल को सूबे की कमान सौंपी थी. अब अनिल विज ने सीएम पद पर दावा जताकर बड़ा सियासी दांव खेला है.

राजनीतिक लोगों का मानना है कि ये दावा सोची-समझी रणनीति के तहत दिया गया है, क्योंकि लगातार विधायक बनने के चलते यहां पर एंटी इंकम्बेंसी है, इसका तोड़ विज ने निकाला है.

अनिल विज ने सैनी के सीएम बनने का किया था विरोध: लोकसभा चुनाव से पहले हाईकमान ने मनोहर लाल की जगह नायब सैनी को सीएम बनाया. उस समय अनिल विज ने इसका विरोध किया. जब सैनी के नाम का प्रस्ताव रखा गया, तो विज बैठक छोड़कर निकल गए थे. हाईकमान उनको कैबिनेट में शामिल करना चाह रहा था, लेकिन विज ने इससे साफ इंकार कर दिया. इसलिए उनको तीसरी बार कैबिनेट में शामिल नहीं किया गया और उनकी जगह अंबाला सिटी से विधायक असीम गोयल को कैबिनेट में मौका मिला.

बीजेपी में सीएम उम्मीदवार पर रार! बीजेपी हाईकमान पहले से ही मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को सीएम पद का चेहरा घोषित कर चुकी है. अमित शाह ने पंचकूला में हुए भाजपा के सम्मेलन में इसका एलान किया था. इसके बावजूद, अनिल विज ने सीएम पद की दावेदारी पेश की है. इसके अलावा केंद्रीय राज्यमंत्री राव इंद्रजीत सिंह भी मुख्यमंत्री पद को लेकर इच्छा जाहिर कर चुके हैं. राव पहले भी इस प्रकार के बयान दे चुके हैं, लेकिन हाईकमान ने इनको कभी गंभीरता से नहीं लिया.

अब विज के बयान के बाद से राजनीतिक घमासान मच गया है. क्योंकि भाजपा में इस प्रकार की संस्कृति नहीं रही है कि कोई खुद को ही सीएम पद का दावेदार घोषित करें. विज इस समय अंबाला कैंट से भाजपा के उम्मीदवार हैं.

कांग्रेस में सीएम पद के चार दावेदार: हरियाणा कांग्रेस में मुख्यमंत्री पद के चार दावेदार हैं. पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड्डा का नाम सबसे पहले आता है. इसके बाद सिरसा से सांसद कुमारी सैलजा और इसके बाद रणदीप सुरजेवाला का नाम है. एक नाम इस लिस्ट में दीपेंद्र हुड्डा का भी है. कुमारी सैलजा इस बार खुलकर कह भी रही हैं कि प्रदेश का सीएम दलित बनना चाहिए और समाज इसकी अपेक्षा करता है.

इसी प्रकार, सुरजेवाला प्रदेश का नेतृत्व करने की इच्छा जाहिर कर चुके हैं. वहीं, हुड्डा खेमे ने इन दोनों द्वारा दावा जताने के बाद सांसद दीपेंद्र हुड्डा का नाम आगे कर दिया है. दीपेंद्र चार बार के सांसद और पूर्व सीएम हुड्डा के बेटे हैं. पहली बार दीपेंद्र हुड्डा ने हरियाणा मांगे हिसाब अभियान पूरे प्रदेश में चलाया है.

ये भी पढ़ें- अनिल विज ने पेश किया मुख्यमंत्री बनने का दावा, बोले- सीएम बना तो हरियाणा की तकदीर और तस्वीर बदल दूंगा - Anil Vij Claim To Become CM

ये भी पढ़ें- हरियाणा CM बनने की चाहत रखने वाले अनिल विज को धर्मेंद्र प्रधान का क्लियर मैसेज, जानिए साफ-साफ शब्दों में क्या कहा ? - HARYANA ASSEMBLY ELECTION 2024

चंडीगढ़: कांग्रेस के बाद अब बीजेपी में भी मुख्यमंत्री पद को लेकर घमासान मच गया है. पूर्व गृहमंत्री अनिल विज ने हरियाणा के सीएम पद के लिए दावेदारी पेश की है. इससे पहले हरियाणा विधानसभा 2014 और 2019 के चुनाव में भी अनिल विज सीएम पद की दौड़ में शामिल रहे थे, लेकिन हाईकमान ने उनके नाम पर मुहर ना लगाकर मनोहर लाल को सूबे की कमान सौंपी थी. अब अनिल विज ने सीएम पद पर दावा जताकर बड़ा सियासी दांव खेला है.

राजनीतिक लोगों का मानना है कि ये दावा सोची-समझी रणनीति के तहत दिया गया है, क्योंकि लगातार विधायक बनने के चलते यहां पर एंटी इंकम्बेंसी है, इसका तोड़ विज ने निकाला है.

अनिल विज ने सैनी के सीएम बनने का किया था विरोध: लोकसभा चुनाव से पहले हाईकमान ने मनोहर लाल की जगह नायब सैनी को सीएम बनाया. उस समय अनिल विज ने इसका विरोध किया. जब सैनी के नाम का प्रस्ताव रखा गया, तो विज बैठक छोड़कर निकल गए थे. हाईकमान उनको कैबिनेट में शामिल करना चाह रहा था, लेकिन विज ने इससे साफ इंकार कर दिया. इसलिए उनको तीसरी बार कैबिनेट में शामिल नहीं किया गया और उनकी जगह अंबाला सिटी से विधायक असीम गोयल को कैबिनेट में मौका मिला.

बीजेपी में सीएम उम्मीदवार पर रार! बीजेपी हाईकमान पहले से ही मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को सीएम पद का चेहरा घोषित कर चुकी है. अमित शाह ने पंचकूला में हुए भाजपा के सम्मेलन में इसका एलान किया था. इसके बावजूद, अनिल विज ने सीएम पद की दावेदारी पेश की है. इसके अलावा केंद्रीय राज्यमंत्री राव इंद्रजीत सिंह भी मुख्यमंत्री पद को लेकर इच्छा जाहिर कर चुके हैं. राव पहले भी इस प्रकार के बयान दे चुके हैं, लेकिन हाईकमान ने इनको कभी गंभीरता से नहीं लिया.

अब विज के बयान के बाद से राजनीतिक घमासान मच गया है. क्योंकि भाजपा में इस प्रकार की संस्कृति नहीं रही है कि कोई खुद को ही सीएम पद का दावेदार घोषित करें. विज इस समय अंबाला कैंट से भाजपा के उम्मीदवार हैं.

कांग्रेस में सीएम पद के चार दावेदार: हरियाणा कांग्रेस में मुख्यमंत्री पद के चार दावेदार हैं. पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड्डा का नाम सबसे पहले आता है. इसके बाद सिरसा से सांसद कुमारी सैलजा और इसके बाद रणदीप सुरजेवाला का नाम है. एक नाम इस लिस्ट में दीपेंद्र हुड्डा का भी है. कुमारी सैलजा इस बार खुलकर कह भी रही हैं कि प्रदेश का सीएम दलित बनना चाहिए और समाज इसकी अपेक्षा करता है.

इसी प्रकार, सुरजेवाला प्रदेश का नेतृत्व करने की इच्छा जाहिर कर चुके हैं. वहीं, हुड्डा खेमे ने इन दोनों द्वारा दावा जताने के बाद सांसद दीपेंद्र हुड्डा का नाम आगे कर दिया है. दीपेंद्र चार बार के सांसद और पूर्व सीएम हुड्डा के बेटे हैं. पहली बार दीपेंद्र हुड्डा ने हरियाणा मांगे हिसाब अभियान पूरे प्रदेश में चलाया है.

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