चंडीगढ़: हरियाणा में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 1 अक्टूबर 2024 को है. भाजपा और कांग्रेस समेत प्रदेश के अन्य राजनीतिक दल सभी विधानसभा सीटों पर मजबूत दावेदारों की पहचान कर उन्हें टिकट देने पर विचार कर रहे हैं. लेकिन पंचकूला और कालका विधानसभा सीट पर भाजपा और कांग्रेस, दोनों मुख्य दल इस बार पुराने चेहरों को उतार सकते हैं. क्योंकि इन दोनों विधानसभा क्षेत्रों में वर्तमान में पंचकूला से विधायक एवं हरियाणा विधानसभा के अध्यक्ष भाजपा नेता ज्ञानचंद गुप्ता और कांग्रेस नेता एवं पूर्व उप-मुख्यमंत्री चंद्रमोहन के बीच संभावित नजदीकी मुकाबला माना जा रहा है.
कांग्रेस से मनीष बंसल नया नाम
पंचकूला की राजनीति में इस बार पुराने चेहरों के अलावा एक नया चेहरा भी सामने आ रहा है. वो हैं कांग्रेस से पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन कुमार बंसल के बेटे मनीष कुमार बंसल. मनीष बंसल पंचकूला विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने के प्रयास में हैं. जबकि उन्होंने अपना पहला विधानसभा चुनाव पंजाब के बरनाला विधानसभा क्षेत्र से वर्ष 2022 में लड़ा था. लेकिन मनीष यह चुनाव हार गए थे. हालांकि कांग्रेस हाईकमान मनीष बंसल को पंचकूला विधानसभा क्षेत्र से जिताऊ उम्मीदवार के तौर पर देख रही है या नहीं, ये अभी तक साफ नहीं हुआ है.
चंद्रमोहन का पंचकूला-कालका में मजबूत जनाधार
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री दिवंगत भजनलाल के बेटे चंद्र मोहन बिश्नोई का पंचकूला और कालका में मजबूत जनाधार माना जाता है. हालांकि वर्ष 2019 के विधानसभा चुनाव में वो वर्तमान में पंचकूला से विधायक ज्ञानचंद गुप्ता से करीब 5 हजार वोटों के अंतर से हार गए थे. लेकिन यहां उनकी राजनीतिक पकड़ अच्छी मानी गई है.
कालका से 4 बार विधायक रहे चंद्रमोहन
चंद्रमोहन बिश्नोई कालका विधानसभा सीट से लगातार चार बार विधायक रह चुके हैं. उन्होंने अपना पहला उपचुनाव वर्ष 1993 में जीता था, फिर 1996, 2000 और 2005 में भी वो कांग्रेस के टिकट पर लगातार चुनाव जीते. इसके बाद वर्ष 2009 और 2014 में उन्हें मौका नहीं मिला. वर्ष 2019 में उन्होंने दोबारा सक्रिय राजनीति में वापसी करनी चाही, हालांकि वह हार गए.
पंचकूला सीट से कांग्रेस के 29 दावेदार
पंचकूला विधानसभा सीट से पूर्व उप-मुख्यमंत्री चंद्रमोहन समेत 29 कांग्रेसी नेताओं ने टिकट के लिए आवेदन किए हैं. इनमें चंद्रमोहन के अलावा मुख्य नाम पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन कुमार बंसल के बेटे मनीष बंसल का भी है. हालांकि पंचकूला की पूर्व मेयर उपेंद्र कौर आहलूवालिया और पूर्व मेयर रविंद्र कुमार रावल का नाम भी है. इनमें उपेंद्र कौर अहलूवालिया भाजपा नेता कुलभूषण गोयल से पिछला मेयर चुनाव हार चुकी हैं.
आप के लिए जनाधार जुटाने की चुनौती
आम आदमी पार्टी ने हाल ही में प्रदेश के लोकसभा चुनाव से हरियाणा की राजनीति में कदम रखा. वहीं अब आप प्रदेश की सभी 90 विधानसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े करेगी. पंचकूला विधानसभा क्षेत्र से आप नेता एवं चंडीगढ़ के पूर्व संयोजक प्रेम गर्ग चुनाव लड़ेंगे. हालांकि उनके और आप के लिए समूचे प्रदेश समेत पंचकूला में भी जनाधार जुटाने की चुनौती बनी है.
वहीं पंचकूला से विधायक ज्ञानचंद गुप्ता प्रदेश में तीसरी बार भाजपा की सरकार बनने का दावा कर चुके हैं. वह कह चुके हैं कि पंचकूला सीट पर कांग्रेस के लिए केवल भाजपा ही चुनौती है, यहां किसी अन्य दल की गिनती नहीं है.
कालका से भी पुराने चेहरे
कालका विधानसभा क्षेत्र से भाजपा नेता एवं पूर्व विधायक लतिका शर्मा को टिकट मिलने की चर्चा है. हालांकि यहां से मौजूदा विधायक कांग्रेस नेता प्रदीप चौधरी हैं लेकिन पार्टी उन्हें दोबारा मौका देगी या किसी नए चेहरे पर दांव खेलेगी, फिलहाल इस पर असमंजस की स्थिति बनी है. कालका सीट से टिकट के लिए विधायक प्रदीप चौधरी के अलावा कुल 17 कांग्रेसी नेताओं ने आवेदन किए हैं.
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