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नोएडा में बड़े एडमिशन स्कैम का भंडाफोड़, दो ठग गिरफ्तार

नोएडा के थाना एक्सप्रेसवे पुलिस ने एक बड़े एडमिशन स्कैम का भंडाफोड़ करते हुए दो शातिर ठगों को गिरफ्तार किया है.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : 2 hours ago

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नोएडा में बड़े एडमिशन स्कैम का भंडाफोड़ (Etv Bharat)

नई दिल्ली/नोएडा: नोएडा के कोतवाली एक्सप्रेसवे पुलिस ने बुधवार को थाना क्षेत्र स्थित एबीसी बिल्डिंग में चल रहे ठगी के एक दफ्तर का पर्दाफाश किया. नोएडा के डीसीपी रामबदन सिंह के अनुसार, इस छापेमारी में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया, जिनकी पहचान मोहम्मद रिजवान आलम (निवासी आश्रम, नई दिल्ली) और चिरंजीव राय (निवासी नॉलेज पार्क, नोएडा) के रूप में हुई है. पूछताछ में पता चला कि दोनों मिलकर 12वीं पास छात्रों को देश के प्रतिष्ठित इंजीनियरिंग कॉलेजों में दाखिला दिलवाने का झांसा देते थे.

कैसे करते थे ठगी?: आरोपियों ने एक फर्जी वेबसाइट बनाई थी, जिस पर विज्ञापन के जरिए विद्यार्थियों को आकर्षित करते थे. वेबसाइट पर दावा किया जाता था कि स्कॉलरशिप के माध्यम से छात्रों को इंजीनियरिंग कॉलेज के लिए दाखिला दिलवाया जाएगा. पहले चरण में ये लोग छात्रों से रजिस्ट्रेशन फीस के नाम पर 15,000 रुपये और काउंसलिंग के लिए 10,000 रुपये लेते थे. इसके बाद वे अन्य शुल्कों के नाम पर लाखों रुपये वसूलते थे और बाद में छात्रों से संपर्क तोड़ लेते थे.

नोएडा में बड़े एडमिशन स्कैम का भंडाफोड़ (ETV Bharat)

डीसीपी रामबदन सिंह के मुताबिक, इन आरोपियों के पास 1,000 से अधिक छात्रों से ठगी करने की जानकारी मिली है. पुलिस अब अन्य आरोपियों की तलाश में जुटी हुई है.

उनकी स्ट्रेटेजी: गिरफ्तार ठगों ने स्वीकार किया कि वे छात्रों को आकर्षक ऑफर्स देकर अपनी ठगी को आगे बढ़ाते थे. जैसे जिन छात्रों के मार्क्स 90% से ऊपर हैं, उन्हें 4 साल तक पूरी फीस स्कॉलरशिप द्वारा भरी जाएगी. इसी प्रकार 80% से अधिक मार्क्स वाले छात्रों को एक साल तक की फीस और 70-80% मार्क्स वाले छात्रों को लैपटॉप देने का झांसा दिया जाता था.

यह भी पढ़ें- पंजाबी सिंगर दिलजीत दोसांझ के कॉन्सर्ट की टिकटों की कालाबाजारी, दिल्ली पुलिस ने आरोपी को दबोचा

आरोपी मोहम्मद रिजवान आलम इस गिरोह का मास्टरमाइंड है. वह मूलतः बिहार के बक्सर का निवासी है. उसने बीटेक किया है और कई कंपनियों में नौकरी भी की, लेकिन पिछले कुछ सालों से उसने इस अपराध की दुनिया में कदम रखा.

एक गंभीर मामला: पुलिस की पूछताछ में रिजवान आलम ने खुलासा किया कि उसने इंजीनियरिंग कॉलेज में दाखिला दिलाने के नाम पर एक छात्रा से 17 लाख रुपये की ठगी की. यह छात्रा महाराष्ट्र की रहने वाली थी, जिसने फर्जी वेबसाइट पर विज्ञापन देखकर संपर्क किया था. इस छात्रा को एनआईटी में दाखिला दिलाने का विश्वास दिलाया गया था. गिरफ्तार आरोपियों के पास से पुलिस ने पांच लैपटॉप, पांच स्मार्टफोन, नौ कीपैड मोबाइल, 32 सिम कार्ड, एक चेक बुक, दो मोहरें और छात्रों के कई मोबाइल नंबर बरामद किए हैं.

यह भी पढ़ें- रिश्वत लेते रंगेहाथ CBI ने दिल्ली पुलिस के इंस्पेक्टर और सब-इंस्पेक्टर को किया गिरफ्तार

नई दिल्ली/नोएडा: नोएडा के कोतवाली एक्सप्रेसवे पुलिस ने बुधवार को थाना क्षेत्र स्थित एबीसी बिल्डिंग में चल रहे ठगी के एक दफ्तर का पर्दाफाश किया. नोएडा के डीसीपी रामबदन सिंह के अनुसार, इस छापेमारी में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया, जिनकी पहचान मोहम्मद रिजवान आलम (निवासी आश्रम, नई दिल्ली) और चिरंजीव राय (निवासी नॉलेज पार्क, नोएडा) के रूप में हुई है. पूछताछ में पता चला कि दोनों मिलकर 12वीं पास छात्रों को देश के प्रतिष्ठित इंजीनियरिंग कॉलेजों में दाखिला दिलवाने का झांसा देते थे.

कैसे करते थे ठगी?: आरोपियों ने एक फर्जी वेबसाइट बनाई थी, जिस पर विज्ञापन के जरिए विद्यार्थियों को आकर्षित करते थे. वेबसाइट पर दावा किया जाता था कि स्कॉलरशिप के माध्यम से छात्रों को इंजीनियरिंग कॉलेज के लिए दाखिला दिलवाया जाएगा. पहले चरण में ये लोग छात्रों से रजिस्ट्रेशन फीस के नाम पर 15,000 रुपये और काउंसलिंग के लिए 10,000 रुपये लेते थे. इसके बाद वे अन्य शुल्कों के नाम पर लाखों रुपये वसूलते थे और बाद में छात्रों से संपर्क तोड़ लेते थे.

नोएडा में बड़े एडमिशन स्कैम का भंडाफोड़ (ETV Bharat)

डीसीपी रामबदन सिंह के मुताबिक, इन आरोपियों के पास 1,000 से अधिक छात्रों से ठगी करने की जानकारी मिली है. पुलिस अब अन्य आरोपियों की तलाश में जुटी हुई है.

उनकी स्ट्रेटेजी: गिरफ्तार ठगों ने स्वीकार किया कि वे छात्रों को आकर्षक ऑफर्स देकर अपनी ठगी को आगे बढ़ाते थे. जैसे जिन छात्रों के मार्क्स 90% से ऊपर हैं, उन्हें 4 साल तक पूरी फीस स्कॉलरशिप द्वारा भरी जाएगी. इसी प्रकार 80% से अधिक मार्क्स वाले छात्रों को एक साल तक की फीस और 70-80% मार्क्स वाले छात्रों को लैपटॉप देने का झांसा दिया जाता था.

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आरोपी मोहम्मद रिजवान आलम इस गिरोह का मास्टरमाइंड है. वह मूलतः बिहार के बक्सर का निवासी है. उसने बीटेक किया है और कई कंपनियों में नौकरी भी की, लेकिन पिछले कुछ सालों से उसने इस अपराध की दुनिया में कदम रखा.

एक गंभीर मामला: पुलिस की पूछताछ में रिजवान आलम ने खुलासा किया कि उसने इंजीनियरिंग कॉलेज में दाखिला दिलाने के नाम पर एक छात्रा से 17 लाख रुपये की ठगी की. यह छात्रा महाराष्ट्र की रहने वाली थी, जिसने फर्जी वेबसाइट पर विज्ञापन देखकर संपर्क किया था. इस छात्रा को एनआईटी में दाखिला दिलाने का विश्वास दिलाया गया था. गिरफ्तार आरोपियों के पास से पुलिस ने पांच लैपटॉप, पांच स्मार्टफोन, नौ कीपैड मोबाइल, 32 सिम कार्ड, एक चेक बुक, दो मोहरें और छात्रों के कई मोबाइल नंबर बरामद किए हैं.

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