बलौदाबाजार: भाटापारा के यात्रियों को आज भी एक सुविधाजनक और व्यवस्थित बस स्टैंड नहीं मिल पाई है. भाटापारा में जहां वर्तमान में बसों का संचालन हो रहा है वो जगह कृषि मंडी की भूमि है. बस स्टैंड में सब्जी बाजार और बसों का संचालन एक साथ होता है. सब्जी बाजार होने के चलते यहां भारी भीड़ होती है. मुसाफिरों को गंदगी और बदबू से परेशान होना पड़ता है. स्थानीय लोगों का कहना है कि यहां सुलभ शौचालय की भी व्यवस्था नहीं है.
कृषि मंडी में बस स्डैंड: भाटापारा शहर में करोड़ों की लागत से बनाया गया नया बस स्टैंड है लेकिन वह पूरी तरह से चालू नहीं हो पाया है. जिसके चलते नया बस स्टैंड अब खंडहर में तब्दील हो चुका है. यात्री अस्थायी बस स्टैंड से बस पकड़ने को मजबूर हैं. सब्जी मंडी में बस स्टैंड होने के चलते हादसों की आशंका भी बनी रहती है. ईटीवी भारत की टीम ने ग्राउंड जीरो पर जाकर बस स्टैंड का जायजा लिया. लोगों ने बताया कि हालत बद से बदतर है. गर्मी और बारिश के दिनों में मुसाफिर खुले आसमान के नीचे खड़े रहने को मजबूर होते हैं. प्रशासन और जनप्रतिनिधि दोनों ही समस्या का हल निकालने में नाकाम रहे हैं.
जल्द समाधान निकाला जाएगा: प्रशासन ने जरुर ये दावा किया है कि जल्द ही समस्या का समाधान निकाला जाएगा. मुसाफिरों को जो सुविधाएं बस स्टैंड के रुप में मिलनी चाहिए वो मिलेगी. प्रशासन का वादा कब पूरा होगा इसपर वो कोई जवाब नहीं दे पा रहे हैं. यात्रियों और दुकानदारों को उम्मीद है कि जल्द से जल्द बस स्टैंड की दशा सुधरे. शहर के लोगों को जो सुविधाएं मिलने चाहिए वो मिले. स्थानीय लोगों का तो यहां तक कहना है कि उनके टैक्स के पैसे का सही इस्तेमाल सुविधाएं बढ़ाने में किया जाए ना कि गंदगी बढ़ाने के लिए.
क्या है समस्या की असली वजह: भाटापारा में बसों का संचालन अस्थायी रूप से पिछले 20 सालों से कृषि उपज मंडी के जमीन पर किया जा रहा है. जबकि सालों पहले करोड़ों रुपयों की लागत से बस स्टैंड तैयार किया गया. नए बस स्टैंड में सब्जी मंडी संचालित हो रही है, जिससे नया बस स्टैंड बेकार होकर खंडहर बन गया हैं. अभी जहां बस स्टैंड हैं वहाँ सब्जियों का बाजार लगता हैं. व्यापारियों का कहना है कि गंदगी और कीचड़ के चलते यहां कोई भी आना नहीं चाहता है. नगर पालिका की कचरा उठाने वाले गाड़ी भी तीन से चार महीने पर इधर आती है. गंदगी और कीचड़ के चलते हर वक्त इलाके में सड़क जाम के हालात बने रहते हैं. वाहन चालक और स्थानीय लोग रोज इस समस्या से जूझते हैं.
यहां चारों ओर गंदगी फैली है. पास में ही मंदिर है उसके सामने पानी भरा रहता है. यहां 20 सालों से सब्जी मंडी लग रही है. सुविधा के नाम पर कुछ नहीं है - बिसौहा राम साहू, स्थानीय नागरिक
जनप्रतिनिधियों पर फूटा गुस्सा: स्थानीय लोगों की शिकायत है कि नगर पालिका और जनप्रतिनिधि दोनों इनकी दिक्कतों को लेकर परेशान नहीं हैं. नेता अपनी राजनीति चमकाने में बिजी है आम आदमी बस इन कीचड़ भरी गंदगी से रोज निकलने को मजबूर है. लोगों का कहना है कि जब से यह अस्थायी बस स्टैंड यहां स्थानांतरित किया गया है तब से यहां की स्थिति और भी अधिक बिगड़ गई है. गंदगी, अव्यवस्था और दुर्घटनाओं का खतरा बढ़ गया है. स्थानीय लोग अब सरकार और प्रशासन से मांग कर रहे हैं कि वे इस समस्या का स्थायी समाधान करें.
भाटापारा में सुविधा वाला बस स्टैंड होना चाहिए ताकि यात्री सुरक्षित और आराम से यात्रा कर सके. वर्तमान में यहां के हालात काफी खराब हैं. जल्द से जल्द बस स्टैंड की समस्या का समाधान निकाला जाना चाहिए - स्थानीय निवासी, भाटापारा
हम यातायात व्यवस्था में सुधार लाने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं. लोगों का सहयोग भी हमें चाहिए - हेमसागर सिदार, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक
बस स्टैंड के लिए जो अलग जगह है वो सुरक्षित है. अगर बसों का संचालन वहीं से किया जाए तो यात्रियों को बड़ी सुविधा मिलेगी. प्रशासनिक अधिकारी लेकिन इसके लिए फिलहाल तैयार नजर नहीं आ रहे हैं. जनप्रतिनिधि जरुर चाहत हैं कि बस स्टैंड शिफ्ट हो जाए - अशोक सिंह ठाकुर, स्थानीय निवासी, भाटापारा
बस स्टैंड जल्द शिफ्ट किए जाने का दावा: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक हेमसागर सिदार का कहना है कि बस स्टैंड का संचालन शुरू करने के लिए बस संचालकों और व्यापारियों से चर्चा चल रही है. जैसे ही दोनों के बीच सहमति बनेगी वहां से बसों का संचालन चालू हो जाएगा. सिदार ने बताया कि वहां मंडी का संचालन हो रहा है जिसकी वजह से वहां मरम्मत की जरूरत है. अधिकारियों को इसके लिए निर्देश दिया गया है. उम्मीद है जल्द बस स्टैंड शिफ्ट हो जाएगा.
बलौदाबाजार कलेक्टर दीपक सोनी ने इस समस्या को लेकर ETV भारत को बताया कि पुराने बस स्टैंड में ही बस स्टैंड का संचालन करने के लिए प्रशासन पहल कर रहा है. पहले वहां मंडी का संचालन हो रहा था जिसकी वजह से मरम्मत की जरूरत है. इसके लिए अधिकारियों को निर्देश दिया गया है. साथ ही बस संचालकों और दूसरे लोगों से साथ समन्वय स्थापित कर बस स्टैंड के संचालन को शिफ्ट करने का निर्देश दिया गया है.