बेगूसरायः रैयाजुद्दीन और उनकी पत्नी सायरा खातून के लिए हावड़ा-रक्सौल एक्सप्रेस का सफर न सिर्फ यादगार बन गया बल्कि नयी खुशियों का संसार लेकर आया. दरभंगा के रहनेवाले इस दंपती के जीवन में उस समय बहार छा गयी जब चलती ट्रेन में ही सायरा खातून ने एक प्यारी बच्ची को जन्म दिया. बरौनी स्टेशन पर ट्रेन के पहुंचने के बाद मां-बेटी को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां दोनों पूरी तरह स्वस्थ हैं.
हावड़ा से आ रहे थे पति-पत्नीः जानकारी के मुताबिक दरभंगा जिले के बिद्दुपुर के रहने वाले रैयाजुद्दीन और उनकी पत्नी सायरा खातून हावड़ा से रक्सौल हावड़ा एक्सप्रेस ट्रेन के एस 6 में सवार हो कर दरभंगा आ रहे थे. दोनों पति-पत्नी अपनी-अपनी बर्थ पर आराम से सोए अपनी मंजिल की ओर बढ़ रहे थे.
सायरा को शुरू हुआ डिलीवरी पेनः ट्रेन अपनी रफ्तार में होती है, तभी रात में दो से तीन तीन बजे के बीच सायरा खातून के पेट में तेज दर्द होता है और वो चीखना-चिल्लाना शुरू कर देती है. ट्रेन की दूसरी बोगी में बैठे रिश्तेदारों को इसकी खबर लगती है तो सभी वहीं आ जाते हैं और दुआओं का दौर शुरू होता है. दुआओं का असर दिखता है और नयी सुबह की किरणों के साथ ही ट्रेन में गूंज उठती है किलकारी.
सायरा ने दिया बच्ची को जन्मः सायरा एक एक सुंदर नैन नक्श वाली गोल मटोल बच्ची को जन्म देती है और पूरे परिवार के लोग खुशी से झूम उठते हैं. परिवार के सभी लोगों के लिए न सिर्फ एक मुश्किल वक्त गुजर जाता है बल्कि ये यात्रा उनके लिए यादगार बन जाती है. बच्चे के जन्म के बाद जब ट्रेन बेगूसराय के बरौनी स्टेशन पहुंची तो जीआरपी बढ़-चढ़कर मदद करती है.
मां-बेटी पूरी तरह स्वस्थः जीआरपी की टीम ने मां और नवजात बच्ची को इलाज के लिए बेगूसराय सदर अस्पताल में भर्ती कराया. फिलहाल मां और बेटी पूरी तरह स्वस्थ हैं. ट्रेन में गूंजी इस किलकारी की चर्चा हर तरफ हो रही है. पूरा परिवार खुश नजर आ रहा है और बरौनी जीआरपी को उनकी मदद के लिए शुक्रिया कह रहा है.