वाराणसी : रामनगर में नए घाट का पत्थर गिरने से एक शख्स की मौत की मामले को सीएम योगी ने गंभीरता से लिया है. लापरवाही और भ्रष्टाचार का आरोप लगने के बाद परियोजना से जुड़े सहायक परियोजना प्रबंधक (Assistant Project Manager) और एक जेई को निलंबित कर दिया गया है. ठेकेदार के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज कराई गई है. ऐसी घटना दोबारा न हो, इसे लेकर भी सीएम योगी ने सख्त हिदायत दी है.
रामनगर में 10 करोड़ रुपये की लागत से नए घाट का निर्माण कराया जा रहा है. यहां पर्यटकों के लिए एक बैठक (बारादरी) का निर्माण कराया जा रहा है. गुरुवार को इस निर्माणाधीन बैठक की छत भर-भराकर गिर गई. इससे एक शख्स की मौत हो गई थी. बाद में शव की पहचान चंदौली जिले के मुगलसराय कोतवाली क्षेत्र के परोरवा गांव निवासी मेवालाल उर्फ बाबाजी (60) के रूप में की गई थी. बुजुर्ग मजदूरी करता था.
इस घटना के बाद निर्माण कार्यों की गुणवत्ता पर सवाल खड़े होने लगे. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस पूरे मामले में गहरी नाराजगी जाहिर की. इसके बाद सहायक परियोजना प्रबंधक और एक जेई को निलंबित कर दिया गया. ठेकेदार के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज करा दी गई. सीएम ने हिदायत दी है कि कार्यों की गुणवत्ता के साथ किसी प्रकार का समझौता नहीं किया जाएगा, खराब कार्य हुए तो सख्त कार्रवाई की जाएगी.
शुक्रवार को वाराणसी पहुंचे महाप्रबंधक जोन-1 उत्तर प्रदेश प्रोजेक्ट कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीपीसीएल) प्रयागराज दिनेश कुमार ने रामनगर स्थित शास्त्री घाट के निर्माणाधीन कार्यस्थल का निरीक्षण किया. कार्यों की गुणवत्ता सुनिश्चित करने को निर्देशित किया गया. महाप्रबन्धक ने यूपीपीसीएल यूनिट-3 वाराणसी के सहायक परियोजना प्रबंधक दिलीप कुमार, जेई रेनु को निलंबित कर दिया. कॉन्ट्रैक्टर ओमप्रकाश पांडेय, दीपनगर सोनभद्र के विरुद्ध एफआईआर दर्ज करा दी.
आगे के कार्यों पर रोक लगाते हुए कार्यें की गुणवत्ता की जांच तकनीकी समिति से कराने के निर्देश दे दिए. महाप्रबंधक ने वाराणसी में निर्माणाधीन अन्य परियोजनाओं का निरीक्षण किया. उन्होंने कहा की गुणवत्ता के साथ किसी भी तरह से समझौता नहीं किया जाएगा. गुणवत्ता में कमी पाए जाने पर संबंधित फर्म को काली सूची में डालते हुए आगे की विधिक कार्रवाई की जाएगी.
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