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हाईकोर्ट ने योगी सरकार के बुलडोजर एक्शन पर उठाए सवाल, पूछा- किस परिस्थिति में याचिकाकर्ता का घर गिरा दिया गया - HC angry over bulldozer action

उत्तर प्रदेश सरकार के बुलडोजर एक्शन पर हाईकोर्ट ने जवाब तलब किया है. एक मामले की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने सरकार से पूछा कि किस परिस्थितियों में बिना कानूनी प्रक्रिया का पालन किए याचिकाकर्ता का घर गिरा दिया गया. मौके पर यथा स्थिति बरकरार रखा जाए.

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बुलडोजर पर सख्त हाईकोर्ट (Photo Credit; ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Sep 13, 2024, 10:52 PM IST

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार की बुलडोजर नीति पर सवाल उठाये हैं. आजमगढ़ के सुनील कुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने शासन से जवाब तलब किया है. जिसमें उनसे पूछा कि किन परिस्थितियों में बिना कानूनी प्रक्रिया का पालन किए याचिकाकर्ता का घर गिरा दिया गया. कोर्ट ने इस मामले में दो हफ्ते के अंदर किसी वरिष्ठ अधिकारी का हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने सुनील की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश दिया है.

बता दें कि, सुनील कुमार ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर तहसीलदार फूलपुर आजमगढ़ के 9 जनवरी 2024 और एडीएम राजस्व के 22 जुलाई 2024 के आदेश को चुनौती दी है. जिसमें कहा गया कि एडीएम ने 22 जुलाई को आदेश जारी कर उसके मकान को गिराने का निर्देश दिया. इस आदेश के तुरंत बाद याची को सुनवाई या अपील का कोई मौका दिए बिना उसका मकान गिरा दिया गया.

कोर्ट ने सरकारी वकील को इस मामले में दो सप्ताह में हलफनामा दाखिल कर बताने के लिए कहा है कि, किन परिस्थितियों में कानूनी प्रक्रिया का पालन किए बिना याची का मकान ढहा दिया गया. कोर्ट ने इस मामले में किसी वरिष्ठ अधिकारी का हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. साथ ही अगले आदेश तक मौके पर यथा स्थिति बरकरार रखने के लिए कहा है. मामले की अगली सुनवाई 18 सितंबर को होगी.

यह भी पढ़ें:पीसीएस-जे लिखित परीक्षा की आंसर शीट में गड़बड़ी का मामला, हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से मांगा जवाब - Allahabad High Court Order

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार की बुलडोजर नीति पर सवाल उठाये हैं. आजमगढ़ के सुनील कुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने शासन से जवाब तलब किया है. जिसमें उनसे पूछा कि किन परिस्थितियों में बिना कानूनी प्रक्रिया का पालन किए याचिकाकर्ता का घर गिरा दिया गया. कोर्ट ने इस मामले में दो हफ्ते के अंदर किसी वरिष्ठ अधिकारी का हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने सुनील की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश दिया है.

बता दें कि, सुनील कुमार ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर तहसीलदार फूलपुर आजमगढ़ के 9 जनवरी 2024 और एडीएम राजस्व के 22 जुलाई 2024 के आदेश को चुनौती दी है. जिसमें कहा गया कि एडीएम ने 22 जुलाई को आदेश जारी कर उसके मकान को गिराने का निर्देश दिया. इस आदेश के तुरंत बाद याची को सुनवाई या अपील का कोई मौका दिए बिना उसका मकान गिरा दिया गया.

कोर्ट ने सरकारी वकील को इस मामले में दो सप्ताह में हलफनामा दाखिल कर बताने के लिए कहा है कि, किन परिस्थितियों में कानूनी प्रक्रिया का पालन किए बिना याची का मकान ढहा दिया गया. कोर्ट ने इस मामले में किसी वरिष्ठ अधिकारी का हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. साथ ही अगले आदेश तक मौके पर यथा स्थिति बरकरार रखने के लिए कहा है. मामले की अगली सुनवाई 18 सितंबर को होगी.

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