अजमेर : दरगाह में मंदिर विवाद प्रकरण में परिवादी हिंदू राष्ट्र सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष विष्णु गुप्ता के बाद अब सनातन धर्म रक्षा संघ अजमेर की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उर्स में चादर भेजने के कार्यक्रम को स्थगित करने के लिए पत्र लिखा गया है. पत्र में कोर्ट में चल रहे मामले का हवाला दिया गया है. साथ ही लिखा गया है कि यदि प्रधानमंत्री की ओर से दरगाह में चादर पेश की जाती है तो यह न्यायपालिका, लोकतंत्र और राजतंत्र को प्रभावित करेगा और गलत संदेश जाएगा.
सनातन धर्म रक्षा संघ के अध्यक्ष अजय शर्मा ने बताया कि ख्वाजा गरीब नवाज के उर्स के अवसर पर प्रधानमंत्री की ओर से हर साल की तरह इस बार भी चादर भेजी जा रही है. उन्होंने दावा किया कि प्रधानमंत्री की ओर से भेजी गई चादर से न्यायपालिका और आम जनता में गलत संदेश जाएगा.
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चादर न भेजने की अपील : शनिवार को सनातन धर्म रक्षा संघ अजमेर से जुड़े पदाधिकारियों की बैठक में इस विषय पर चर्चा हुई और यह निर्णय लिया गया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र भेजकर यह आग्रह किया जाए कि दरगाह में चादर न भेजी जाए. इसका कारण यह है कि अजमेर न्यायालय में यह मामला विचाराधीन है. इस मामले में परिवादी विष्णु गुप्ता ने भी पीएम नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर चादर न भेजने की मांग की थी.
पत्र में यह भी मांग की गई है
- संभागीय आयुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को पत्र भेजकर परिवादी विष्णु गुप्ता, वकील और सनातन धर्म रक्षा संघ के पदाधिकारियों की सुरक्षा की मांग की गई थी, लेकिन सिर्फ विष्णु गुप्ता को ही सुरक्षा दी गई. अन्य किसी को सुरक्षा नहीं दी गई है. इस पर सभी को सुरक्षा देने की मांग की गई है.
- सनातन धर्म रक्षा संघ के अध्यक्ष अजय शर्मा ने कहा कि अजमेर में रोहिंग्या और बांग्लादेशी नागरिक छिपे हुए हैं. उनकी पहचान कर उन पर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए.
- उन्होंने यह भी कहा कि कोर्ट में विचाराधीन दरगाह विवाद पर अगर कोई अनर्गल टिप्पणी करता है तो उसके खिलाफ भी कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाए.