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CM पद से इस्तीफे के बाद केजरीवाल को सैलरी से लेकर इन सुविधाओं में कटौती, जानिए क्या-क्या बदल जाएगा - After resigning KEJRIWAL facilities - AFTER RESIGNING KEJRIWAL FACILITIES

Arvind Kejriwal Resignation: दिल्ली के मुख्यामंत्री अरविंद केजरीवाल ने 17 सितंबर को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है. सीएम का पद छोड़ते ही केजरीवाल को सैलरी कटौती से लेकर कई सरकारी सुख-सुविधाएं नहीं मिलेंगी.

केजरीवाल को सैलरी से लेकर कई सुविधाओं में कमी
केजरीवाल को सैलरी से लेकर कई सुविधाओं में कमी (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Sep 17, 2024, 5:37 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली में कथित शराब घोटाले में जमानत पर जेल से बाहर आए अरविंद केजरीवाल ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया. बीते 10 वर्षों से वे इस पद पर काबिज हैं. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने जिन शर्तों पर केजरीवाल को जमानत दी है, उनमें सरकार का कामकाज चलाना आसान नहीं था. इसी का हवाला देकर उन्होंने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दिया है. अब वह एक पूर्व मुख्यमंत्री बन चुके हैं. ऐसे में मुख्यमंत्री पद से हटाने के बाद केजरीवाल को जो वेतन, भत्ते व सुविधाएं मिल रही थी, उन सब में भी कटौती हो जाएगी.

अगर अरविंद केजरीवाल के वेतन की बात करें तो उन्हें बतौर मुख्यमंत्री अभी तक एक लाख 70 हजार रुपए प्रति महीना वेतन मिलता था. लेकिन, मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद अब सिर्फ एक विधायक रह गए हैं तो ऐसे में उनकी वेतन में कटौती होना स्वाभाविक है. बतौर मुख्यमंत्री वेतन के अलावा केजरीवाल को रहने के लिए सरकारी बंगला, गाड़ी और ड्राइवर के साथ ही अन्य तमाम सुविधाएं भी दी जाती हैं. इन सुविधाओं पर खर्च करने के लिए भी अलग से भत्ता मिलता है. अब इन सब में कटौती हो जाएगी. अब सिर्फ विधायक रहने से केजरीवाल को सिर्फ 90 हजार रुपए प्रति महीना मिलेगा. इस तरह केजरीवाल के वेतन में ₹80,000 प्रति महीना की कटौती हो जाएगी.

जानिए मुख्यमंत्री, मंत्री व विधायक के वेतन-भत्ते में कितना है अंतर:

  • दिल्ली के मुख्यमंत्री और मंत्रियों की बेसिक सैलरी 60 हजार महीना
  • निर्वाचन भत्ता 30 हजार महीना
  • सचिवालय भत्ता 25 हजार महीना
  • गेस्ट के खर्च के लिए अलग से भत्ता 10 हजार महीना
  • 1500 रूपये डेली एलाउंस
  • इस तरह कुल मिलाकर एक लाख 70 हजार महीना वेतन

विधायक के वेतन-भत्ता:

  • विधायक की बेसिक सैलरी 30 हजार महीना
  • निर्वाचन भत्ता 25 हजार महीना
  • सचिवालय भत्ता 15 हजार महीना
  • यात्रा भत्ता 10 हजार महीना
  • टेलीफोन भत्ता 10 हजार महीना
  • डेली एलाउंस 1500 रूपये प्रति दिन के हिसाब से

पिछले साल ही बढ़े थे मुख्यमंत्री, मंत्री और विधायकों के वेतन-भत्ते: बता दें कि दिल्ली विधानसभा से पिछले साल ही मुख्यमंत्री और विधायकों के वेतन भत्ते के प्रस्ताव को पारित किया गया था, जिससे विधायकों का वेतन 66% और मुख्यमंत्री व मंत्री के वेतन में 136% की बढ़ोतरी की गई थी. इससे पहले मुख्यमंत्री, मंत्रियों की बेसिक सैलरी 30 हजार रूपये प्रति महीना थी, जबकि विधायक की बेसिक सैलरी 12000 प्रति महीना थी, जो बढ़ोतरी के बाद दोगुनी से ज्यादा हो गई थी.

नई दिल्ली: दिल्ली में कथित शराब घोटाले में जमानत पर जेल से बाहर आए अरविंद केजरीवाल ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया. बीते 10 वर्षों से वे इस पद पर काबिज हैं. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने जिन शर्तों पर केजरीवाल को जमानत दी है, उनमें सरकार का कामकाज चलाना आसान नहीं था. इसी का हवाला देकर उन्होंने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दिया है. अब वह एक पूर्व मुख्यमंत्री बन चुके हैं. ऐसे में मुख्यमंत्री पद से हटाने के बाद केजरीवाल को जो वेतन, भत्ते व सुविधाएं मिल रही थी, उन सब में भी कटौती हो जाएगी.

अगर अरविंद केजरीवाल के वेतन की बात करें तो उन्हें बतौर मुख्यमंत्री अभी तक एक लाख 70 हजार रुपए प्रति महीना वेतन मिलता था. लेकिन, मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद अब सिर्फ एक विधायक रह गए हैं तो ऐसे में उनकी वेतन में कटौती होना स्वाभाविक है. बतौर मुख्यमंत्री वेतन के अलावा केजरीवाल को रहने के लिए सरकारी बंगला, गाड़ी और ड्राइवर के साथ ही अन्य तमाम सुविधाएं भी दी जाती हैं. इन सुविधाओं पर खर्च करने के लिए भी अलग से भत्ता मिलता है. अब इन सब में कटौती हो जाएगी. अब सिर्फ विधायक रहने से केजरीवाल को सिर्फ 90 हजार रुपए प्रति महीना मिलेगा. इस तरह केजरीवाल के वेतन में ₹80,000 प्रति महीना की कटौती हो जाएगी.

जानिए मुख्यमंत्री, मंत्री व विधायक के वेतन-भत्ते में कितना है अंतर:

  • दिल्ली के मुख्यमंत्री और मंत्रियों की बेसिक सैलरी 60 हजार महीना
  • निर्वाचन भत्ता 30 हजार महीना
  • सचिवालय भत्ता 25 हजार महीना
  • गेस्ट के खर्च के लिए अलग से भत्ता 10 हजार महीना
  • 1500 रूपये डेली एलाउंस
  • इस तरह कुल मिलाकर एक लाख 70 हजार महीना वेतन

विधायक के वेतन-भत्ता:

  • विधायक की बेसिक सैलरी 30 हजार महीना
  • निर्वाचन भत्ता 25 हजार महीना
  • सचिवालय भत्ता 15 हजार महीना
  • यात्रा भत्ता 10 हजार महीना
  • टेलीफोन भत्ता 10 हजार महीना
  • डेली एलाउंस 1500 रूपये प्रति दिन के हिसाब से

पिछले साल ही बढ़े थे मुख्यमंत्री, मंत्री और विधायकों के वेतन-भत्ते: बता दें कि दिल्ली विधानसभा से पिछले साल ही मुख्यमंत्री और विधायकों के वेतन भत्ते के प्रस्ताव को पारित किया गया था, जिससे विधायकों का वेतन 66% और मुख्यमंत्री व मंत्री के वेतन में 136% की बढ़ोतरी की गई थी. इससे पहले मुख्यमंत्री, मंत्रियों की बेसिक सैलरी 30 हजार रूपये प्रति महीना थी, जबकि विधायक की बेसिक सैलरी 12000 प्रति महीना थी, जो बढ़ोतरी के बाद दोगुनी से ज्यादा हो गई थी.

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