नई दिल्ली/गाजियाबाद: गाजियाबाद में अधिवक्ताओं के आंदोलन का मामला खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है. करीब पांच हफ्ते से गाजियाबाद में अधिवक्ता हड़ताल पर हैं. अधिवक्ताओं की हड़ताल के चलते कचहरी में अपना काम कराने आ रहे आम लोगों को परेशानी हो रही है. गाजियाबाद बार एसोसिएशन के अधिवक्ता कलम बंद हड़ताल पर हैं. बार एसोसिएशन गाजियाबाद ने 14 दिसंबर 2024 को सभी जनपदों में आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत का पूर्ण बहिष्कार करने का ऐलान किया है.
आंदोलन की अग्रिम रणनीति बनाने के लिए बार एसोसिएशन गाजियाबाद द्वारा पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों के बार एसोसिएशन, बार संघ के पदाधिकारियों के साथ बैठक कर आंदोलन की आगामी रणनीति पर विचार विमर्श किया गया. "पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 22 जनपदों की महासभा में विचार विमर्श के बाद बार एसोसिएशन की ओर से गठित आंदोलन संघर्ष समिति द्वारा निर्णय लिया है कि 14 दिसंबर 2024 को सभी जनपदों में आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत का बार एसोसिएशन गाजियाबाद पूर्ण रूप से बहिष्कार करेगी.
समस्त अधिवक्ता संघ से सहयोग की अपील : गाजियाबाद बार एसोसिएशन के अध्यक्ष दीपक शर्मा ने उत्तर प्रदेश के सभी जनपदों की जिला बार एसोसिएशन, समस्त तहसील बार संघ और समस्त अधिवक्ता संघ से बार एसोसिएशन अपील किया है कि अधिवक्ताओं के मान सम्मान के इस आंदोलन में उत्तर प्रदेश के सभी जनपदों के पदाधिकारी अपने-अपने जनपदों में लोक अदालत का बहिष्कार कर सहयोग प्रदान करें."
लाठी चार्ज करने वाले पुलिस अधिकारी के विरुद्ध कार्रवाई की मांग :
बार एसोसिएशन गाजियाबाद के सचिव अमित कुमार नेहरा ने बताया कि, "अधिवक्ता 4 नवंबर 2024 से लगातार अनिश्चितकालीन कलम बंद हड़ताल पर है. जिसके चलते पूर्ण न्यायिक कार्य से अधिवक्ताओं ने दूरी बना रखी है. जो मांगे पूर्ण होने तक आगे भी जारी रहेगा. सभी अधिवक्ता जिला जज गाजियाबाद के स्थानांतरण और निलंबन होने तक कोर्ट रूम में सभी अधिवक्ता हड़ताल पर रहेंगे. वहीं अधिवक्ताओं पर लाठी चार्ज करने वाले पुलिस अधिकारी और कर्मचारियों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कर निलंबन की कार्रवाई की मांग करेंगे."
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