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'जबालिया में इजराइली सैनिकों ने की ज्यादती, फिलिस्तीनियों के जबरन उतरवाए कपड़े'

जबालिया से निकलते समय इजराइली सैनिकों ने फिलिस्तीनी पुरुषों के जबरन कपड़े उतरवा दिए और उन्हें घंटों ठंड में रखा.

जबालिया बंदी. पहचान सुरक्षित रखने के लिए इस फोटो को धुंधला कर दिया है
जबालिया बंदी. पहचान सुरक्षित रखने के लिए इस फोटो को धुंधला कर दिया है (फोटो क्रेडिट CNN)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Nov 1, 2024, 5:09 PM IST

तेलअवीव: गाजा में हमास और इजराइली सेना के बीच जारी संघर्ष के बीच एक तस्वीर सामने आई है, जिसने हर किसी को हैरान कर दिया है. दरअसल, जबालिया से निकलते समय इजराइली सैनिकों ने फिलिस्तीनी पुरुषों को अपने कपड़े उतारने पर मजबूर किया.

तस्वीर में 200 से ज्यादा लोगों की एक बड़ी भीड़ दिखाई दे रही है, जो उत्तरी गाजा के जबाल्या के मलबे के बीच में दुबकी हुई बैठी है. इनमें ज्यादातर पुरुष हैं. भीड़ में कई लोग लगभग नग्न हैं, कुछ बुजुर्ग हैं और कुछ घायल दिखाई दे रहे हैं. इतना ही नहीं इनमें एक बच्चा भी है.

घरों से भागने की कोशिश कर रहे थे लोग
प्रत्यक्षदर्शियों ने सीएनएन को बताया कि जब वे जबालिया शरणार्थी शिविर में अपने घरों से भागने की कोशिश कर रहे थे, तो इजराइली सेना ने उन्हें हिरासत में ले लिया और उनमें से अधिकांश को अपने कपड़े उतारने का आदेश दिया, फिर उन्हें घंटों ठंड में बाहर रखा गया.

उनके थके हुए चेहरे पर उनकी दुर्दशा को देखा जा सकता है. आगे की तरफ खड़े लोग बेचैनी से सीधे सामने की ओर देख रहे हैं, जबकि पीछे की तरफ खड़े लोग अपनी गर्दन आगे करके देख रहे हैं कि क्या हो रहा है?

इजराइली सेना का ग्राउंड ओपरेशन
सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक यह तस्वीर शुक्रवार को जबाल्या में ली गई थी. इस तस्वीर में शरणार्थी शिविर के निवासी दिखाई दे रहे हैं, जिन्होंने इजराइली सेना द्वारा वहां चल रहे जमीनी अभियान के दौरान जबरन क्षेत्र खाली करने के बाद वहां से निकलने का प्रयास किया था.

यह फोटो सबसे पहले एक इजराइली टेलीग्राम चैनल पर शेयर की गई थी. हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि इस तस्वीर को किसने क्लिक किया था, लेकिन तस्वीर में मौजूद कई लोगों ने सीएनएन को बताया कि जब उन्हें हिरासत में लिया गया था, तब इजराइली सैनिक उनकी तस्वीरें ले रहे थे.

बता दें कि आईडीएफ ने तीन सप्ताह से भी अधिक समय पहले जबाल्या को घेर लिया था और वहां एक नया जमीनी अभियान शुरू किया था, जिससे अधिकांश आपूर्ति बाधित हो गई थी और लड़ाई के बीच लोगों को वहां से जाने पर मजबूर होना पड़ा.

हमास के एक्टिव होने के मिले संकेत
वहीं, आईडीएफ का कहना है कि उसे इस क्षेत्र में हमास के फिर से सक्रिय होने के संकेत मिले हैं, जबकि एक साल तक भारी बमबारी और दो पिछले जमीनी अभियान को लेकर आईडीएफ ने पहले दावा किया था कि वे सफल रहे थे.

बता दें कि हाल के हफ़्तों में, इजराइली सेना ने उत्तरी गाजा के लिए बार-बार निकासी के आदेश जारी किए हैं, जिसमें जबाल्या के ऊपर पर्चे गिराकर निवासियों को तुरंत खाली करने की चेतावनी देना भी शामिल है. कई फ़िलिस्तीनियों ने पहले CNN को बताया था कि जब उन्होंने निकासी के आदेशों का पालन करने की कोशिश की तो उन पर गोली चलाई गई.

वहीं, इजराइली सेना ने तस्वीर में कैद स्थिति पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया, लेकिन उसने स्वीकार किया कि वह गाजा में अपने युद्ध अभियानों के तहत नियमित रूप से लोगों को हिरासत में ले रही है और उनके कपड़े उतरवाकर तलाशी ले रही है. उसने तस्वीर में दिख रहे बुज़ुर्गों और घायल लोगों, साथ ही बच्चे के बारे में सीएनएन के सवाल पर कोई टिप्पणी नहीं की.

यह भी पढ़ें- आयरन डोम में सेंध लगने के बाद इजराइल का बड़ा ऐलान, बना रहा तगड़ा सुरक्षा 'कवच', जमकर बहा रहा पैसा

तेलअवीव: गाजा में हमास और इजराइली सेना के बीच जारी संघर्ष के बीच एक तस्वीर सामने आई है, जिसने हर किसी को हैरान कर दिया है. दरअसल, जबालिया से निकलते समय इजराइली सैनिकों ने फिलिस्तीनी पुरुषों को अपने कपड़े उतारने पर मजबूर किया.

तस्वीर में 200 से ज्यादा लोगों की एक बड़ी भीड़ दिखाई दे रही है, जो उत्तरी गाजा के जबाल्या के मलबे के बीच में दुबकी हुई बैठी है. इनमें ज्यादातर पुरुष हैं. भीड़ में कई लोग लगभग नग्न हैं, कुछ बुजुर्ग हैं और कुछ घायल दिखाई दे रहे हैं. इतना ही नहीं इनमें एक बच्चा भी है.

घरों से भागने की कोशिश कर रहे थे लोग
प्रत्यक्षदर्शियों ने सीएनएन को बताया कि जब वे जबालिया शरणार्थी शिविर में अपने घरों से भागने की कोशिश कर रहे थे, तो इजराइली सेना ने उन्हें हिरासत में ले लिया और उनमें से अधिकांश को अपने कपड़े उतारने का आदेश दिया, फिर उन्हें घंटों ठंड में बाहर रखा गया.

उनके थके हुए चेहरे पर उनकी दुर्दशा को देखा जा सकता है. आगे की तरफ खड़े लोग बेचैनी से सीधे सामने की ओर देख रहे हैं, जबकि पीछे की तरफ खड़े लोग अपनी गर्दन आगे करके देख रहे हैं कि क्या हो रहा है?

इजराइली सेना का ग्राउंड ओपरेशन
सीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक यह तस्वीर शुक्रवार को जबाल्या में ली गई थी. इस तस्वीर में शरणार्थी शिविर के निवासी दिखाई दे रहे हैं, जिन्होंने इजराइली सेना द्वारा वहां चल रहे जमीनी अभियान के दौरान जबरन क्षेत्र खाली करने के बाद वहां से निकलने का प्रयास किया था.

यह फोटो सबसे पहले एक इजराइली टेलीग्राम चैनल पर शेयर की गई थी. हालांकि यह स्पष्ट नहीं है कि इस तस्वीर को किसने क्लिक किया था, लेकिन तस्वीर में मौजूद कई लोगों ने सीएनएन को बताया कि जब उन्हें हिरासत में लिया गया था, तब इजराइली सैनिक उनकी तस्वीरें ले रहे थे.

बता दें कि आईडीएफ ने तीन सप्ताह से भी अधिक समय पहले जबाल्या को घेर लिया था और वहां एक नया जमीनी अभियान शुरू किया था, जिससे अधिकांश आपूर्ति बाधित हो गई थी और लड़ाई के बीच लोगों को वहां से जाने पर मजबूर होना पड़ा.

हमास के एक्टिव होने के मिले संकेत
वहीं, आईडीएफ का कहना है कि उसे इस क्षेत्र में हमास के फिर से सक्रिय होने के संकेत मिले हैं, जबकि एक साल तक भारी बमबारी और दो पिछले जमीनी अभियान को लेकर आईडीएफ ने पहले दावा किया था कि वे सफल रहे थे.

बता दें कि हाल के हफ़्तों में, इजराइली सेना ने उत्तरी गाजा के लिए बार-बार निकासी के आदेश जारी किए हैं, जिसमें जबाल्या के ऊपर पर्चे गिराकर निवासियों को तुरंत खाली करने की चेतावनी देना भी शामिल है. कई फ़िलिस्तीनियों ने पहले CNN को बताया था कि जब उन्होंने निकासी के आदेशों का पालन करने की कोशिश की तो उन पर गोली चलाई गई.

वहीं, इजराइली सेना ने तस्वीर में कैद स्थिति पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया, लेकिन उसने स्वीकार किया कि वह गाजा में अपने युद्ध अभियानों के तहत नियमित रूप से लोगों को हिरासत में ले रही है और उनके कपड़े उतरवाकर तलाशी ले रही है. उसने तस्वीर में दिख रहे बुज़ुर्गों और घायल लोगों, साथ ही बच्चे के बारे में सीएनएन के सवाल पर कोई टिप्पणी नहीं की.

यह भी पढ़ें- आयरन डोम में सेंध लगने के बाद इजराइल का बड़ा ऐलान, बना रहा तगड़ा सुरक्षा 'कवच', जमकर बहा रहा पैसा

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