ज्यादातर लोगों को सिरदर्द या बुखार होने पर पैरासिटामोल की दवा लेने की आदत होती है. लेकिन स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि यह दवा सभी आयु वर्ग के लिए अच्छी नहीं है. दरअसल, पेरासिटामोल गोलियों का इस्तेमाल आमतौर पर बुखार और सिरदर्द से राहत के लिए किया जाता है. हममें से कई लोग बुखार, बॉडी पेन, सर्दी-जुकाम होने पर, बिना डॉक्टर की सलाह लिए ही पैरासिटामोल का सेवन कर लेते हैं. इस से इन परेशानियों से तो तुरंत छुटकारा मिल जाता है, लेकिन स्वास्थय विशेषज्ञों का कहना है कि लोगों को पेरासिटामोल का इस्तेमाल अपनी उम्र और मेडिकल कंडिशन को देखते हुए करनी चाहिए....
इस आयु वर्ग के लिए खतरा
पेरासिटामोल की गोलियां आमतौर पर बच्चों, और 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को नहीं दी जानी चाहिए. इंग्लैंड में नॉटिंघम विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं द्वारा किए गए एक अध्ययन के अनुसार, 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोग जो पेरासिटामोल की हाई डोज का उपयोग करते हैं, उनमें हृदय, पेट और घुटने की गंभीर बीमारियों से पीड़ित होने की संभावना अधिक होती है. साथ ही इसके लंबे समय तक उपयोग से डाइजेशन सिस्टम में अल्सर और ब्लीडिंग की समस्याएं पैदा हो सकती है.
वृद्ध लोगों में ऑस्टियोआर्थराइटिस होनो का खतरा
नए अध्ययन ने वृद्ध लोगों में पैरासिटामोल के बार-बार इस्तेमाल को लेकर चिंता जताई है. आर्थराइटिस केयर एंड रिसर्च में प्रकाशित अध्ययन में 65 वर्ष या उससे अधिक आयु के वयस्कों में चिकित्सीय खुराक पर मौखिक एसिटामिनोफेन की सुरक्षा की जांच की गई है. पैरासिटामोल की बार-बार खुराक लेने से वृद्ध लोगों में ऑस्टियोआर्थराइटिस हो सकता है.
नॉटिंघम विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ मेडिसिन में एनआईएचआर बायोमेडिकल रिसर्च सेंटर के प्रोफेसर वेया झांग, जिन्होंने एक बयान में अध्ययन का नेतृत्व किया, उन्होंने कहा, इसकी कथित सुरक्षा के कारण, पैरासिटामोल को लंबे समय से कई उपचार दिशानिर्देशों द्वारा ऑस्टियोआर्थराइटिस के लिए पहली पंक्ति की दवा के रूप में अनुशंसित किया गया है, विशेष रूप से वृद्ध लोगों में, जिनमें दवा से संबंधित जटिलताओं का उच्च जोखिम होता है.
यह अध्ययन 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों पर किया गया था. अध्ययन में पाया गया कि 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों में पेरासिटामोल गोलियों के लंबे समय तक उपयोग से गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल, हृदय और गुर्दे की समस्याओं का खतरा बढ़ जाता है. साथ ही स्ट्रोक के मरीज दर्द से राहत के लिए पैरासिटामोल टैबलेट का भी इस्तेमाल करते हैं. लेकिन कहा जाता है कि ऐसा करने से उनके दिल और किडनी पर बुरा असर पड़ता है.
पैरासिटामोल कैसे काम करता है?
वैज्ञानिक अभी भी यह पता लगाने में लगे हैं कि पैरासिटामोल किस तरह काम करता है. माना जाता है कि पैरासिटामोल मस्तिष्क को भेजे जाने वाले दर्द के संकेतों की तीव्रता को कम करता है और बुखार को कम करता है. पेरासिटामोल मस्तिष्क में दर्द और बुखार पैदा करने वाले रसायनों के प्रभाव को कम करता है. डॉक्टर आमतौर पर हल्के से मध्यम दर्द, बुखार, माइग्रेन, गठिया आदि से पीड़ित लोगों के लिए कम खुराक की सलाह देते हैं. अधिक मात्रा में या लंबे समय तक लेने पर यह दवा शरीर के कई महत्वपूर्ण अंगों को नुकसान पहुंचा सकती है
(डिस्क्लेमर: यहां आपको दी गई सभी स्वास्थ्य संबंधी जानकारी और सुझाव केवल आपके समझने के लिए हैं. हम यह जानकारी वैज्ञानिक अनुसंधान, अध्ययन, चिकित्सा और स्वास्थ्य पेशेवर सलाह के आधार पर प्रदान कर रहे हैं. इनका पालन करने से पहले अपने निजी डॉक्टर की सलाह लेना सबसे अच्छा है.)