ETV Bharat / education-and-career

विश्वविद्यालयकर्मियों का बकाया वेतन दो दिन में होगा रिलीज, शिक्षा विभाग और वीसी की बैठक में हुआ फैसला - Vice Chancellor Meeting - VICE CHANCELLOR MEETING

प्रदेश के सभी 13 विश्वविद्यालय के कुलपतियों और उनके अधिकारियों की शिक्षा विभाग के साथ बैठक हुई. बैठक की अध्यक्षता शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने की. बैठक में अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ भी मौजूद रहे. बैठक में विश्वविद्यालय के कर्मियों के वेतन लंबित मामला, शैक्षणिक सत्र ससमय करने, रिजल्ट समय पर प्रकाशित करने के मसलों पर विस्तार से बात हुई. पढ़ें, विस्तार से.

कुलपतियों की बैठक.
कुलपतियों की बैठक. (ETV Bharat)
author img

By ETV Bharat Bihar Team

Published : Jun 12, 2024, 9:54 PM IST

पटना: बिहार के सभी 13 विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और उनके अधिकारियों की शिक्षा विभाग के साथ बैठक संपन्न हुई. बैठक की अध्यक्षता शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने की. बैठक में अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ भी मौजूद रहे. बैठक में विभाग के अधिकारियों ने विश्वविद्यालय के अधिकारियों को शैक्षणिक सत्र नियमित करने के लिए कहा. साथ ही साथ विश्वविद्यालय बच्चों का रिजल्ट समय पर दें, रिजल्ट के बाद सर्टिफिकेट मिलने में देरी ना हो, इस विषय पर विस्तार से चर्चा हुई.

कुलपतियों की बैठक. (ETV Bharat)

दो राउंड में हुई बैठकः शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने बैठक के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि विभाग की यह बैठक बहुत लंबे समय से लंबित थी. चुनाव और आचार संहिता के कारण पिछले 3 महीने से यह बैठक नहीं हो पाई थी. लेकिन आज दो राउंड में यह बैठक हुई है. पहली बैठक राज भवन में राज्यपाल की अध्यक्षता में हुई, जहां वह सभी मौजूद रहे. राज्यपाल ने विश्वविद्यालय में शैक्षणिक स्तर बेहतर करने और शैक्षणिक सत्र सुचारू जल्द से जल्द करने के लिए निर्देश दिया.

विस्तार से हुई चर्चाः मंत्री सुनील कुमार ने कहा कि शिक्षा विभाग में उनकी अध्यक्षता में हुई बैठक में विश्वविद्यालय के कुलपतियों और अधिकारियों से सभी मामलों पर विस्तार से बात हुई है. विभाग ने निर्णय लिया है कि साल 2024 का विश्वविद्यालय के शिक्षकों और शिक्षकेत्तर कर्मियों का 3-4 माह का जो बकाया वेतन है, उसे 2 दिन में जारी कर दिया जाएगा. इसके अलावा जिन विश्वविद्यालय में पुराना बैकलॉग है उन पर बाद में विश्वविद्यालयवार तरीके से निदान किया जाएगा.

विश्वविद्यालय एक्ट का पालन करें: मंत्री ने कहा कि विभाग की प्राथमिकता है कि विश्वविद्यालय में रिजल्ट समय पर आए और माइग्रेशन सर्टिफिकेट हो या टीसी लेना हो बच्चों को इसके लिए कोई दिक्कत ना हो. इसके अलावा जो विश्वविद्यालय अपने महाविद्यालय में वोकेशनल और प्रोफेशनल कोर्सेज शुरू करना चाहते हैं ताकि विश्वविद्यालय को केंद्र का एक्सीलेंस बनाया जाए वह शुरू कर सकते हैं. लेकिन विश्वविद्यालय इसे शुरू करने में फाइनेंशियल डिसिप्लिन को फॉलो करें और विश्वविद्यालय एक्ट का पालन करते हुए आगे बढ़े.
कमेटी बनायी जाएगीः मंत्री सुनील कुमार ने बताया कि सभी विश्वविद्यालयों को यह निर्देश दिया गया है कि उनके यहां जो भी बेकार के पद हैं जिनका आज के समय में कोई उपयोग नहीं है उसे सरेंडर करते हुए नए पद सृजित करें. इसके अलावा इंफ्रास्ट्रक्चर को दुरुस्त करें साथ ही साथ विश्वविद्यालय में तकनीकी इस्तेमाल को बढ़ावा दें. उन्होंने कहा कि इन सब को ठीक करने के लिए और किस विश्वविद्यालय में क्या कमी है कैसे उसे दूर किया जा सकता है और बेहतर किया जा सकता है इसके लिए तीन वॉइस चांसलर की एक कमेटी बनाई गई है.
जूनियर इंजीनियर की होगी तैनातीः मंत्री ने कहा कि कमेटी के तीन सदस्यों का नाम राज्यपाल फाइनल करेंगे जो चांसलर होते हैं. वहीं विभाग ने विश्वविद्यालय और शिक्षा विभाग में सामंजस्य के लिए सभी विश्वविद्यालय में एक-एक नोडल पदाधिकारी नियुक्त करने का फैसला लिया है. विभाग के यह पदाधिकारी विभाग और विश्वविद्यालय के बीच सेतु का काम करेंगे. इसके अलावा सभी विश्वविद्यालयों में जूनियर इंजीनियर की तैनाती होगी जो विश्वविद्यालय के इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट की मॉनिटरिंग करेंगे.

नए पद सृजित करने की आवश्यकताः मंत्री सुनील कुमार ने कहा कि आज की बैठक में यह महसूस किया गया है कि विश्वविद्यालय में कई नए पद सृजित करने की आवश्यकता है, ताकि शैक्षणिक गुणवत्ता बढ़ सके. विश्वविद्यालय में रिसर्च बढ़ेगा तभी शैक्षणिक गुणवत्ता बढ़ेगी. इसके लिए विश्वविद्यालय में 1 डीन के बजाय डीन ऑफ स्टूडेंट वेलफेयर, डीन ऑफ रिसर्च, डीन ऑफ एकेडमिक का पद क्रिएट करने का निर्णय लिया गया है. इसके अलावा तकनीक से जोड़ते हुए विश्वविद्यालय अपनी गतिविधियों में पारदर्शिता लाएं इसके लिए सामर्थ्य पोर्टल से जुड़कर काम करने के लिए भी कहा गया है.

"विश्वविद्यालय के कर्मियों के वेतन लंबित मामला हो या शैक्षणिक सत्र लेट चलने की बातें अथवा रिजल्ट समय पर प्रकाशित करने का मामला, सभी मसलों पर विस्तार से बात हुई है. समाधान की दिशा में आगे बढ़े हैं. बैठक अच्छे तरीके से संपन्न हुई है."- डॉक्टर एस सिद्धार्थ, शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव

इसे भी पढ़ेंः राज भवन और शिक्षा विभाग में टकरार बरकरार, राज्यपाल की बुलाई बैठक में फिर शामिल नहीं हुए केके पाठक - KK Pathak

पटना: बिहार के सभी 13 विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और उनके अधिकारियों की शिक्षा विभाग के साथ बैठक संपन्न हुई. बैठक की अध्यक्षता शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने की. बैठक में अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ भी मौजूद रहे. बैठक में विभाग के अधिकारियों ने विश्वविद्यालय के अधिकारियों को शैक्षणिक सत्र नियमित करने के लिए कहा. साथ ही साथ विश्वविद्यालय बच्चों का रिजल्ट समय पर दें, रिजल्ट के बाद सर्टिफिकेट मिलने में देरी ना हो, इस विषय पर विस्तार से चर्चा हुई.

कुलपतियों की बैठक. (ETV Bharat)

दो राउंड में हुई बैठकः शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने बैठक के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि विभाग की यह बैठक बहुत लंबे समय से लंबित थी. चुनाव और आचार संहिता के कारण पिछले 3 महीने से यह बैठक नहीं हो पाई थी. लेकिन आज दो राउंड में यह बैठक हुई है. पहली बैठक राज भवन में राज्यपाल की अध्यक्षता में हुई, जहां वह सभी मौजूद रहे. राज्यपाल ने विश्वविद्यालय में शैक्षणिक स्तर बेहतर करने और शैक्षणिक सत्र सुचारू जल्द से जल्द करने के लिए निर्देश दिया.

विस्तार से हुई चर्चाः मंत्री सुनील कुमार ने कहा कि शिक्षा विभाग में उनकी अध्यक्षता में हुई बैठक में विश्वविद्यालय के कुलपतियों और अधिकारियों से सभी मामलों पर विस्तार से बात हुई है. विभाग ने निर्णय लिया है कि साल 2024 का विश्वविद्यालय के शिक्षकों और शिक्षकेत्तर कर्मियों का 3-4 माह का जो बकाया वेतन है, उसे 2 दिन में जारी कर दिया जाएगा. इसके अलावा जिन विश्वविद्यालय में पुराना बैकलॉग है उन पर बाद में विश्वविद्यालयवार तरीके से निदान किया जाएगा.

विश्वविद्यालय एक्ट का पालन करें: मंत्री ने कहा कि विभाग की प्राथमिकता है कि विश्वविद्यालय में रिजल्ट समय पर आए और माइग्रेशन सर्टिफिकेट हो या टीसी लेना हो बच्चों को इसके लिए कोई दिक्कत ना हो. इसके अलावा जो विश्वविद्यालय अपने महाविद्यालय में वोकेशनल और प्रोफेशनल कोर्सेज शुरू करना चाहते हैं ताकि विश्वविद्यालय को केंद्र का एक्सीलेंस बनाया जाए वह शुरू कर सकते हैं. लेकिन विश्वविद्यालय इसे शुरू करने में फाइनेंशियल डिसिप्लिन को फॉलो करें और विश्वविद्यालय एक्ट का पालन करते हुए आगे बढ़े.
कमेटी बनायी जाएगीः मंत्री सुनील कुमार ने बताया कि सभी विश्वविद्यालयों को यह निर्देश दिया गया है कि उनके यहां जो भी बेकार के पद हैं जिनका आज के समय में कोई उपयोग नहीं है उसे सरेंडर करते हुए नए पद सृजित करें. इसके अलावा इंफ्रास्ट्रक्चर को दुरुस्त करें साथ ही साथ विश्वविद्यालय में तकनीकी इस्तेमाल को बढ़ावा दें. उन्होंने कहा कि इन सब को ठीक करने के लिए और किस विश्वविद्यालय में क्या कमी है कैसे उसे दूर किया जा सकता है और बेहतर किया जा सकता है इसके लिए तीन वॉइस चांसलर की एक कमेटी बनाई गई है.
जूनियर इंजीनियर की होगी तैनातीः मंत्री ने कहा कि कमेटी के तीन सदस्यों का नाम राज्यपाल फाइनल करेंगे जो चांसलर होते हैं. वहीं विभाग ने विश्वविद्यालय और शिक्षा विभाग में सामंजस्य के लिए सभी विश्वविद्यालय में एक-एक नोडल पदाधिकारी नियुक्त करने का फैसला लिया है. विभाग के यह पदाधिकारी विभाग और विश्वविद्यालय के बीच सेतु का काम करेंगे. इसके अलावा सभी विश्वविद्यालयों में जूनियर इंजीनियर की तैनाती होगी जो विश्वविद्यालय के इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट की मॉनिटरिंग करेंगे.

नए पद सृजित करने की आवश्यकताः मंत्री सुनील कुमार ने कहा कि आज की बैठक में यह महसूस किया गया है कि विश्वविद्यालय में कई नए पद सृजित करने की आवश्यकता है, ताकि शैक्षणिक गुणवत्ता बढ़ सके. विश्वविद्यालय में रिसर्च बढ़ेगा तभी शैक्षणिक गुणवत्ता बढ़ेगी. इसके लिए विश्वविद्यालय में 1 डीन के बजाय डीन ऑफ स्टूडेंट वेलफेयर, डीन ऑफ रिसर्च, डीन ऑफ एकेडमिक का पद क्रिएट करने का निर्णय लिया गया है. इसके अलावा तकनीक से जोड़ते हुए विश्वविद्यालय अपनी गतिविधियों में पारदर्शिता लाएं इसके लिए सामर्थ्य पोर्टल से जुड़कर काम करने के लिए भी कहा गया है.

"विश्वविद्यालय के कर्मियों के वेतन लंबित मामला हो या शैक्षणिक सत्र लेट चलने की बातें अथवा रिजल्ट समय पर प्रकाशित करने का मामला, सभी मसलों पर विस्तार से बात हुई है. समाधान की दिशा में आगे बढ़े हैं. बैठक अच्छे तरीके से संपन्न हुई है."- डॉक्टर एस सिद्धार्थ, शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव

इसे भी पढ़ेंः राज भवन और शिक्षा विभाग में टकरार बरकरार, राज्यपाल की बुलाई बैठक में फिर शामिल नहीं हुए केके पाठक - KK Pathak

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.