नई दिल्ली: भारतीय रेलवे ने आधुनिक स्टेशनों, ट्रेनों और तकनीक के साथ आधुनिकीकरण के एक नए युग में प्रवेश किया है. भारतीयों की जीवन रेखा माने जाने वाले इस राष्ट्रीय ट्रांसपोर्टर यानी रेलवे ने कई श्रेणियों के यात्रियों को किराए में 10 प्रतिशत से लेकर 100 प्रतिशत तक की रियायत दी है.हालांकि, कोविड-19 के बाद रेलवे ने कुछ श्रेणियों के लोगों को किराए में मिलने वाली छूट को खत्म कर दिया.
ट्रेन बुकिंग के लिए रियायती सुविधाओं को वापस लेने के समय रेलवे ने कहा कि कोविड-19 वायरस के प्रसार को रोकने और बुजुर्ग नागरिकों के लिए यात्रा से संबंधित रिस्क को कम करने के लिए इस कदम की घोषणा की गई. इसने आगे कहा कि उन्हें गैर-जरूरी यात्रा करने से हतोत्साहित करने के लिए यह कदम उठाया गया है.
किन-किन को रियायत देता है भारतीय रेलवे?
भारतीय रेलवे मान्यता प्राप्त पत्रकारों, शारीरिक रूप से विकलांग व्यक्तियों, रोगियों, वरिष्ठ नागरिकों, छात्रों, खिलाड़ियों और युद्ध विधवाओं सहित यात्रियों की विभिन्न श्रेणियों को यात्री किराए में रियायतें प्रदान करता है.
हालांकि, विदेशी नागरिकों और NRI के लिए यात्री किराए में रियायत के लिए वरिष्ठ नागरिक श्रेणी से बाहर रखा गया था. इसके अलावा रेलवे उन्हें हमसफर, अंत्योदय, गतिमान, वंदे भारत आदि जैसी ट्रेनों में भी रियायतें प्रदान नहीं करता है.
टिकट बुकिंग पर ट्रेन रियायत की फिर से शुरूआत
चुनिंदा कैटेगरी के लिए ट्रेन रियायत की पुनः शुरूआत का मुद्दा संसद में कई बार उठाया जा चुका है. संसद के चल रहे शीतकालीन सत्र के दौरान भी राजाभाऊ पराग प्रकाश वाजे, जगदीश शेट्टार और आजाद कीर्ति झा सहित कई लोकसभा सांसदों ने एक बार फिर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से पत्रकारों, वरिष्ठ नागरिकों और अन्य श्रेणियों के लिए ट्रेन किराए में रियायतें बहाल करने का आग्रह किया है.
इससे पहले सांसद मगुंटा श्रीनिवासुलु रेड्डी और एस वेंकटेशन ने भी देश भर में वरिष्ठ नागरिकों के लिए किराए में रियायत को फिर से शुरू करने का आह्वान किया था.
अश्विनी वैष्णव ने दी प्रतिक्रिया
मामले पर प्रतिक्रिया देते हुए रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि राष्ट्रीय ट्रांसपोर्टर समाज के सभी वर्गों को सस्ती सेवाएं प्रदान करता है और 2022-23 में यात्री टिकटों पर 56993 करोड़ रुपये की सब्सिडी दी है. "यह रेलवे में यात्रा करने वाले प्रत्येक व्यक्ति को औसतन 46 प्रतिश की रियायत देता है. यानी एक कोई शख्स 100 रुपये का टिकट लेता है, तो वह उसके लिए केवल 54 रुपये ही देता है.
रेल मंत्री ने कहा कि फिलहाल देश में दिव्यांगों की चार श्रेणी, मरीजों की 11 श्रेणी और छात्रों की 8 श्रेणी को छूट दी जा रही है.