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पश्चिम बंगालः विहिप ने शेरनी का नाम 'सीता' रखने के खिलाफ याचिका दायर की

west bengal : पश्चिम बंगाल की कलकत्ता हाई कोर्ट की जलपाईगुड़ी सर्किट पीठ में विहिप वे शेरनी का नाम सीता रखे जाने के विरोध में याचिका दायर की है. विहिप का कहना है कि शेर का नाम अकबर रखा गया है. याचिका में कहा गया है कि शेरनी का नाम बदल दिया जाए क्योंकि इससे धार्मिक भावनाएं आहत हो सकती हैं.

Petition filed against naming the lioness 'Sita'
शेरनी का नाम 'सीता' रखने के खिलाफ याचिका दायर
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By PTI

Published : Feb 17, 2024, 8:41 PM IST

सिलीगुड़ी (प.बंगाल) : विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने कलकत्ता उच्च न्यायालय की जलपाईगुड़ी सर्किट पीठ के समक्ष एक याचिका दायर की है जिसमें दावा किया गया है कि त्रिपुरा से यहां बंगाल सफारी पार्क में स्थानांतरित की गई एक शेरनी का नाम सीता रखा गया है. याचिका में यह नाम बदले जाने का अनुरोध किया गया है. विहिप के वकील ने शनिवार को यह जानकारी दी. पार्क के अधिकारियों ने हालांकि इस बात से इनकार किया है कि शेरनी को ऐसा कोई नाम दिया गया था.

विहिप ने दावा किया कि 12 फरवरी को त्रिपुरा के सिपाहीजाला प्राणी उद्यान से एक शेर और शेरनी को लाया गया था और शेर का नाम अकबर रखा गया. याचिकाकर्ता के 'एडवोकेट-ऑन-रिकॉर्ड' शुभंकर दत्ता ने बताया कि विहिप की उत्तर बंगाल इकाई ने 16 फरवरी को याचिका दायर की और मामले की सुनवाई 20 फरवरी को अदालत की एकल पीठ के समक्ष होने की संभावना है.

उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता ने अनुरोध किया है कि शेरनी का नाम बदल दिया जाए क्योंकि किसी जानवर का ऐसा नाम रखने से धार्मिक भावनाएं आहत हो सकती हैं. दत्ता ने कहा कि यह भी आग्रह किया गया कि भविष्य में किसी भी प्राणी उद्यान में किसी भी जानवर का नाम किसी भी धर्म के देवी-देवताओं के नाम पर न रखा जाए. परिषद की उत्तर बंगाल इकाई ने कहा कि उसे खबरों से पता चला है कि एक शेर और शेरनी को बंगाली सफारी पार्क लाया गया और और शेरनी का नाम सीता रखा गया. पार्क के अधिकारियों ने कहा कि उसने दोनों जानवरों का नाम नहीं रखा है और इन जानवरों का आधिकारिक रूप से नामकरण अभी किया जाना है.

ये भी पढ़ें - आप दिल्ली में पाल सकते हैं शेर, बाघ व अन्य जानवर, जान लें कितना आएगा खर्च, क्या हैं नियम

सिलीगुड़ी (प.बंगाल) : विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने कलकत्ता उच्च न्यायालय की जलपाईगुड़ी सर्किट पीठ के समक्ष एक याचिका दायर की है जिसमें दावा किया गया है कि त्रिपुरा से यहां बंगाल सफारी पार्क में स्थानांतरित की गई एक शेरनी का नाम सीता रखा गया है. याचिका में यह नाम बदले जाने का अनुरोध किया गया है. विहिप के वकील ने शनिवार को यह जानकारी दी. पार्क के अधिकारियों ने हालांकि इस बात से इनकार किया है कि शेरनी को ऐसा कोई नाम दिया गया था.

विहिप ने दावा किया कि 12 फरवरी को त्रिपुरा के सिपाहीजाला प्राणी उद्यान से एक शेर और शेरनी को लाया गया था और शेर का नाम अकबर रखा गया. याचिकाकर्ता के 'एडवोकेट-ऑन-रिकॉर्ड' शुभंकर दत्ता ने बताया कि विहिप की उत्तर बंगाल इकाई ने 16 फरवरी को याचिका दायर की और मामले की सुनवाई 20 फरवरी को अदालत की एकल पीठ के समक्ष होने की संभावना है.

उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता ने अनुरोध किया है कि शेरनी का नाम बदल दिया जाए क्योंकि किसी जानवर का ऐसा नाम रखने से धार्मिक भावनाएं आहत हो सकती हैं. दत्ता ने कहा कि यह भी आग्रह किया गया कि भविष्य में किसी भी प्राणी उद्यान में किसी भी जानवर का नाम किसी भी धर्म के देवी-देवताओं के नाम पर न रखा जाए. परिषद की उत्तर बंगाल इकाई ने कहा कि उसे खबरों से पता चला है कि एक शेर और शेरनी को बंगाली सफारी पार्क लाया गया और और शेरनी का नाम सीता रखा गया. पार्क के अधिकारियों ने कहा कि उसने दोनों जानवरों का नाम नहीं रखा है और इन जानवरों का आधिकारिक रूप से नामकरण अभी किया जाना है.

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