श्रीनगर: नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने शनिवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर में हाल ही में हुए आतंकी हमलों के पीछे के मास्टरमाइंड का पता लगाने के लिए आतंकवादियों को मारने के बजाय उन्हें पकड़ा जाना चाहिए. अब्दुल्ला के इस बयान पर नया विवाद खड़ा हो गया है.
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला का कहना है कि अगर आतंकवादी पकड़े जाते हैं, तो उनसे पूछताछ में इन हमलों को अंजाम देने वाले बड़े नेटवर्क के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिल सकती है.
फारूक अब्दुल्ला ने बडगाम आतंकी हमले की भी जांच की मांग की. उन्होंने कहा कि उन्हें संदेह है कि यह उन लोगों का कृत्य है, जो जम्मू-कश्मीर में नई सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रहे हैं.
#WATCH | Srinagar, J&K: On being asked if Pakistan should be blamed every time for terrorist attacks in J&K including the recent Budgam terror attack, National Conference President Farooq Abdullah says, " there is no question of this, i would say that there should be an… pic.twitter.com/IXvtOxZleh
— ANI (@ANI) November 2, 2024
मीडिया से बात करते हुए अब्दुल्ला ने कहा, "इसकी जांच होनी चाहिए. ऐसा कैसे हुआ कि सरकार आई और यह सब हो रहा है? मुझे संदेह है कि क्या यह उन लोगों द्वारा किया गया है जो सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रहे थे... अगर वे (आतंकवादी) पकड़े जाते हैं तो हमें पता चल जाएगा कि यह कौन कर रहा है. उन्हें मारा नहीं जाना चाहिए, उन्हें पकड़ा जाना चाहिए और पूछा जाना चाहिए कि उनके पीछे कौन है... हमें जांच करनी चाहिए कि क्या कोई एजेंसी है जो उमर अब्दुल्ला सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रही है."
यह पूछे जाने पर कि क्या हाल ही में जम्मू-कश्मीर में हुए आतंकवादी हमलों के लिए पाकिस्तान को दोषी ठहराया जाना चाहिए, फारूक ने कहा, "इसका कोई सवाल ही नहीं है, मैं कहूंगा कि इसकी जांच होनी चाहिए."
भाजपा ने उठाए सवाल
जम्मू-कश्मीर भाजपा के अध्यक्ष रविंदर रैना ने अब्दुल्ला के बयान पर सवाल उठाए हैं. रैना ने कहा, "फारूक अब्दुल्ला जानते हैं कि यह आतंकवाद पाकिस्तान से आ रहा है... जो सर्वविदित सच्चाई है. इसमें जांच करने की क्या बात है? उन्हें पता है कि जम्मू-कश्मीर में जो आतंकवादी हमले हो रहे हैं, उनमें पाकिस्तान और आतंकवादी संगठन शामिल हैं... हम सभी को अपनी सेना, पुलिस और सुरक्षा बलों का समर्थन करना चाहिए... हमें उन लोगों के खिलाफ एकजुट होकर लड़ना होगा जो मानवता के दुश्मन हैं."
सरकार को बयान को गंभीरता से लेना चाहिए...
फारूक अब्दुल्ला के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए एनसीपी के संस्थापक शरद पवार ने कहा कि केंद्र सरकार को फारूक अब्दुल्ला के बयान को गंभीरता से लेना चाहिए. उन्होंने कहा, "फारूक अब्दुल्ला जम्मू-कश्मीर की सबसे बड़ी शख्सियत हैं... उन्होंने अपना जीवन जम्मू-कश्मीर के लोगों की सेवा में बिताया. मुझे उनकी ईमानदारी और निष्ठा पर कोई संदेह नहीं है."
महाराष्ट्र के बारामती में पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए शरद पवार ने कहा, "अगर कोई नेता कोई बयान दे रहा है तो केंद्र सरकार, खासकर गृह मंत्रालय को इसे गंभीरता से लेना चाहिए और इस पर काम करने की कोशिश करनी चाहिए कि उस स्थिति को कैसे सुलझाया जा सकता है."
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