पटना: लोकसभा चुनाव में 40 सीटों में से 30 सीट पर एनडीए ने कब्जा जमाया है. 2019 के मुकाबले एनडीए को इस बार 9 सीटों का नुकसान हुआ है क्योंकि 2019 में एनडीए को 40 में से 39 सीट पर जीत मिली थी और इस बार 30 सीट पर जीत हुई है.
RJD का वोट प्रतिशत बढ़ा: वोट प्रतिशत की बात करें 2019 के मुकाबले एनडीए को महागठबंधन से 22.49% अधिक वोट मिला था लेकिन इस बार केवल 9.25% अधिक वोट मिला है. एनडीए के सभी दलों को मिलाकर 45.5% वोट मिला है तो वहीं महागठबंधन को 36.47 प्रतिशत वोट मिले हैं.
NDA का वोट प्रतिशत और सीट घटा : लोकसभा चुनाव के रिजल्ट के बाद अब सीटों से लेकर वोट प्रतिशत का विश्लेषण हो रहा है. जीत हार की समीक्षा की जा रही है. 2019 में बीजेपी को सबसे अधिक वोट प्रतिशत मिला था लेकिन इस बार लोकसभा चुनाव में राजद को सबसे अधिक वोट प्रतिशत मिला है. 2019 में पार्टियों को मिले वोट प्रतिशत में भाजपा को 24.05% जदयू को 22.26% राजद को 15.68% , कांग्रेस को 7.85% था.
किसको कितना वोट मिला?: 2024 लोकसभा चुनाव में सबसे अधिक राजद को 22.14% वोट मिला है. बीजेपी को 20.52%, जदयू को 18.52%, कांग्रेस को 9.20 प्रतिशत, लोजपा को 6.43% और अन्य को 23.09% वोट मिला है. जदयू को 2019 के मुकाबले 4.24% वोट इस बार कम मिला है और चार सीट का इसलिए नुकसान भी हो गया. लोजपा को 2019 में 8.1 फ़ीसदी वोट अधिक मिला था. इस बार 1.52% कम वोट मिला है लेकिन उसके बावजूद सभी पांच सीट लोजपा ने फतह की है.
बिहार में बीजेपी को 5 सीटों का नुकसान: वोट प्रतिशत में लोजपा को भले नुकसान हुआ हो लेकिन सीटों में कोई नुकसान नहीं हुआ है. भाजपा को 2019 में 24.5% वोट मिले थे इस बार 20.52% वोट मिले हैं यानी 3.98% वोट कम मिला है और इसी कारण इस बार 5 सीटों का नुकसान भी उठाना पड़ा है. बक्सर, आरा, सासाराम, पाटलिपुत्र और औरंगाबाद सीट बीजेपी के हाथ से निकल गई है.
NDA को 9.5% अधिक वोट: 2024 में एनडीए को 45.52% तो महागठबंधन को 36.43% वोट मिला है. 2019 के मुकाबले एनडीए को इस बार केवल 9.5 फ़ीसदी अधिक वोट मिले हैं.
2019 और 2024 में वोट: 2019 भाजपा को 24.5% मत मिले. वहीं 2024 में 20.52% वोट मिले इस बार 3.98% वोट कम मिले. वहीं जदयू को 2019 में 22.26% जबकि 2024 में 18.52% मत मिले जो 3.74% कम है. लोजपा को 2019 में 8.01% और 2024 में लोजपा रामविलास को 6.43% वोट मिले जो 1.58% कम है.
जीरो पर आउट हुए सहनी: कांग्रेस को 2019 में 7.85% और 2024 में 9.20% वोट मिला. कांग्रेस को 1.35% वोट ज्यादा मिले. वहीं आरजेडी को 2019 में 15.68% और 2024 में 22.14% वोट मिले. आरजेडी को 6.46% वोट अधिक मिले. प्रमुख दलों के अलावे इस बार सीपीएम को 0.87% माले को 2.99% सीपीआई को 1.31% बहुजन समाजवादी पार्टी को 1.74% एआईएमआईएम को 0.88% और अन्य को 13.29% वोट आया है. वीआईपी का इस बार भी प्रदर्शन खास नहीं रहा और तीन सीटों पर लड़ने के बाद भी जीरो पर मुकेश सहनी आउट हो गए.
माले का शानदार प्रदर्शन: इस बार माले का प्रदर्शन शानदार रहा. तीन सीटों पर चुनाव लड़ी और उसमें से दो सीट पर जीत हासिल की. आरा से केंद्रीय मंत्री आरके सिंह को हराने वाले सुदामा प्रसाद विधायक हैं. वहीं राजद 23 सीटों पर लड़ी थी और केवल चार सीट जीत पाई जबकि कांग्रेस 9 सीटों में से तीन सीट पर जीत हासिल की.
अंतिम 8 सीटों में से एनडीए केवल दो पर जीत: लोजपा को पांचों सीट पर जीत मिली तो वही हम को एक सीट पर जदयू को 16 में से 12 सीट पर और बीजेपी को 17 में से 12 सीट पर जीत हासिल हुई है. उपेंद्र कुशवाहा जीत नहीं पाए.बिहार में कुशवाहा फैक्टर जबरदस्त असर भी किया. उपेंद्र कुशवाहा भले जीत नहीं पाए लेकिन कई सीटों पर एनडीए का खेल कुशवाहा वोट बैंक के कारण बिगड़ गया. पाटलिपुत्र का सीट भी उसमें शामिल है. कुशवाहा फैक्टर का ही कमाल रहा है की अंतिम 8 सीटों में से एनडीए केवल दो पर जीत हासिल की.
बीजेपी का स्वर्णिम काल 2014: लोकसभा चुनाव में भाजपा को बिहार में 15 साल पहले 2009 में 12 सीटों पर जीत हासिल हुई थी. पार्टी उस समय 15 सीटों पर चुनाव लड़ी थी. अब एक बार फिर से बीजेपी ने 12 सीटों पर जीत हासिल की है. ऐसे बीजेपी का स्वर्णिम काल 2014 में रहा है. जब 22 सीटों पर बीजेपी को जीत मिली थी और वोट प्रतिशत भी 29.80% था. उस समय नीतीश कुमार एनडीए में नहीं थे. बावजूद भाजपा का शानदार प्रदर्शन रहा. इस बार सीटों के लिहाज से बीजेपी को बड़ा झटका लगा है. क्योंकि बीजेपी पहली बार बड़े भाई की भूमिका में चुनाव में थी.
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