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राज्यपाल ने ओडिशा विधानसभा भंग की - Odisha assembly Dissolves

Odisha Legislative Assembly, ओडिशा के राज्यपाल रघुबर दास ने मंत्रिमंडल की सिफारिश के बाद राज्य विधानसभा को भंग कर दिया है. बता दें कि 4 जून को विधानसभा के परिणाम आने के बाद तय होगा कि किसकी सरकार बनेगी.

Odisha Governor Dissolves legislative assembly
राज्यपाल ने ओडिशा विधानसभा भंग की (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Jun 3, 2024, 6:26 PM IST

भुवनेश्वर : ओडिशा के राज्यपाल रघुबर दास ने सोमवार को विधानसभा भंग कर दी. इस बारे में संसदीय कार्य विभाग की ओर से अधिसूचना जारी कर दी गई है. इससे पहले, मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की अध्यक्षता में ओडिशा मंत्रिमंडल की वर्चुअल मोड में हुई बैठक में राज्यपाल से विधानसभा भंग करने की सिफारिश की गई.

यह फैसला राज्य में मंगलवार को होने वाले लोकसभा और विधानसभा चुनावों की मतगणना से एक दिन पहले आया है. इसी क्रम में राज्यपाल ने संविधान के अनुच्छेद 174 के खंड 2 (बी) द्वारा उन्हें प्रदत्त शक्ति का प्रयोग करते हुए आदेश दिया कि 25 मई, 2019 को भारत के चुनाव आयोग द्वारा गठित विधानसभा, भारत के चुनाव आयोग द्वारा नव निर्वाचित विधायिका के गठन की तिथि से भंग मानी जाएगी. आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक कि ओडिशा विधानसभा को भंग करना आज की कैबिनेट बैठक का एकमात्र एजेंडा था.

बता दें कि ओडिशा में 147 विधायकों और 21 लोकसभा सदस्यों को चुनने के लिए 13 मई से शुरू होने वाले चार चरणों में चुनाव हुए. पिछली विधानसभा में सत्तारूढ़ बीजद के 114 सदस्य थे, भाजपा के 22 सदस्य थे और कांग्रेस के सिर्फ नौ सदस्य थे. वहीं माकपा का एक और निर्दलीय विधानसभा के सदस्य थे. फिलहाल 4 जून को परिणाम आने के बाद तय होगा कि राज्य में किसकी सरकार बनेगी.

ये भी पढ़ें - ओडिशा विधानसभा चुनाव में 412 उम्मीदवार करोड़पति, 348 पर आपराधिक केस

भुवनेश्वर : ओडिशा के राज्यपाल रघुबर दास ने सोमवार को विधानसभा भंग कर दी. इस बारे में संसदीय कार्य विभाग की ओर से अधिसूचना जारी कर दी गई है. इससे पहले, मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की अध्यक्षता में ओडिशा मंत्रिमंडल की वर्चुअल मोड में हुई बैठक में राज्यपाल से विधानसभा भंग करने की सिफारिश की गई.

यह फैसला राज्य में मंगलवार को होने वाले लोकसभा और विधानसभा चुनावों की मतगणना से एक दिन पहले आया है. इसी क्रम में राज्यपाल ने संविधान के अनुच्छेद 174 के खंड 2 (बी) द्वारा उन्हें प्रदत्त शक्ति का प्रयोग करते हुए आदेश दिया कि 25 मई, 2019 को भारत के चुनाव आयोग द्वारा गठित विधानसभा, भारत के चुनाव आयोग द्वारा नव निर्वाचित विधायिका के गठन की तिथि से भंग मानी जाएगी. आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक कि ओडिशा विधानसभा को भंग करना आज की कैबिनेट बैठक का एकमात्र एजेंडा था.

बता दें कि ओडिशा में 147 विधायकों और 21 लोकसभा सदस्यों को चुनने के लिए 13 मई से शुरू होने वाले चार चरणों में चुनाव हुए. पिछली विधानसभा में सत्तारूढ़ बीजद के 114 सदस्य थे, भाजपा के 22 सदस्य थे और कांग्रेस के सिर्फ नौ सदस्य थे. वहीं माकपा का एक और निर्दलीय विधानसभा के सदस्य थे. फिलहाल 4 जून को परिणाम आने के बाद तय होगा कि राज्य में किसकी सरकार बनेगी.

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