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'गलतफहमी पैदा करने के लिए अफवाहें फैलाई जा रही हैं, फरक्का बैराज खोलने पर भारत का बयान - India on Farakka Barrage Opening - INDIA ON FARAKKA BARRAGE OPENING

India on Farakka barrage opening : फरक्का बैराज के बारे में मीडिया रिपोर्ट पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि यह सामान्य मौसमी घटनाक्रम है, जो गंगा नदी बेसिन के जलग्रहण क्षेत्रों में भारी वर्षा से बढ़े जलप्रवाह के कारण होता है.

MEA on Bangladesh accusing India of causing flood due to Farakka barrage opening
प्रतीकात्मक तस्वीर (File Photo)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Aug 26, 2024, 11:04 PM IST

नई दिल्ली: नई दिल्ली: भारत ने सोमवार को उन रिपोर्टों को खारिज कर दिया, जिनमें दावा किया गया था कि फरक्का बैराज के 109 गेट खोले जाने से एक दिन में 11 लाख क्यूसेक पानी बांग्लादेश में प्रवेश करेगा. गौरतलब है कि बांग्लादेश ने आठ जिलों में बाढ़ के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराया है.

सूत्रों के अनुसार, बैराज के गेट खोलने से पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद और बांग्लादेश में बाढ़ का खतरा है. फरक्का बैराज के बारे में मीडिया के सवालों के जवाब में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, "हमने फरक्का बैराज के गेट खोले जाने की मीडिया रिपोर्ट देखी है, जिससे नदी के निचने हिस्से की ओर 11 लाख क्यूसेक से अधिक पानी अपने प्राकृतिक मार्ग से गंगा या पद्मा नदी में प्रवाहित हो सकेगा."

जायसवाल ने कहा कि यह सामान्य मौसमी घटनाक्रम है, जो गंगा नदी बेसिन के जलग्रहण क्षेत्रों में भारी वर्षा से बढ़े जलप्रवाह के कारण होता है. उन्होंने कहा, "यह समझना होगा कि फरक्का सिर्फ एक बैराज है, न कि कोई बांध. जब भी पानी का स्तर तालाब के स्तर तक पहुंचता है, उसके बाद जो भी पानी आता है, वह बह जाता है. यह बैराज केवल 40,000 क्यूसेक पानी को फरक्का नहर में मोड़ने के लिए बनाया गया है, जिसे मुख्य गंगा या पद्मा नदी पर गेटों की प्रणाली का उपयोग करके सावधानीपूर्वक किया जाता है, जबकि शेष पानी मुख्य नदी में बहकर बांग्लादेश चला जाता है."

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि बांग्लादेश में संयुक्त नदी आयोग के संबंधित अधिकारियों के साथ नियमित और समय पर डेटा साझा किया जाता है. इस बार भी ऐसा किया गया है. जायसवाल ने कहा कि हमने गलतफहमी पैदा करने के लिए सोशल मीडिया पर साझा किए गए फर्जी वीडियो, अफवाहें और डर फैलाने वाली बातें देखी हैं. इसका तथ्यों के साथ दृढ़ता से खंडन किया जाना चाहिए.

दरअसल, कुछ मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया कि भारत ने बिहार और झारखंड में बाढ़ के कारण फरक्का बैराज के 109 गेट खोल दिए हैं. बांग्लादेश ने ने दावा किया कि गेट सोमवार को खोले गए, जिससे एक ही दिन में 1.1 मिलियन क्यूसेक पानी बांग्लादेश में प्रवाहित हो गया.

बैराज से पानी छोड़े जाने से बांग्लादेश और पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले में बाढ़ की आशंका है. हालांकि, भारतीय अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि वे बांग्लादेश को बाढ़ की स्थिति और पहाड़ों से पानी के बढ़ते प्रवाह के बारे में पहले से सूचना देते रहे हैं.

यह भी पढ़ें- पीएम मोदी और अल्बनीज के बीच फोन पर बातचीत, भारत में होने वाली क्वाड समिट के लिए माहौल तैयार

नई दिल्ली: नई दिल्ली: भारत ने सोमवार को उन रिपोर्टों को खारिज कर दिया, जिनमें दावा किया गया था कि फरक्का बैराज के 109 गेट खोले जाने से एक दिन में 11 लाख क्यूसेक पानी बांग्लादेश में प्रवेश करेगा. गौरतलब है कि बांग्लादेश ने आठ जिलों में बाढ़ के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराया है.

सूत्रों के अनुसार, बैराज के गेट खोलने से पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद और बांग्लादेश में बाढ़ का खतरा है. फरक्का बैराज के बारे में मीडिया के सवालों के जवाब में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, "हमने फरक्का बैराज के गेट खोले जाने की मीडिया रिपोर्ट देखी है, जिससे नदी के निचने हिस्से की ओर 11 लाख क्यूसेक से अधिक पानी अपने प्राकृतिक मार्ग से गंगा या पद्मा नदी में प्रवाहित हो सकेगा."

जायसवाल ने कहा कि यह सामान्य मौसमी घटनाक्रम है, जो गंगा नदी बेसिन के जलग्रहण क्षेत्रों में भारी वर्षा से बढ़े जलप्रवाह के कारण होता है. उन्होंने कहा, "यह समझना होगा कि फरक्का सिर्फ एक बैराज है, न कि कोई बांध. जब भी पानी का स्तर तालाब के स्तर तक पहुंचता है, उसके बाद जो भी पानी आता है, वह बह जाता है. यह बैराज केवल 40,000 क्यूसेक पानी को फरक्का नहर में मोड़ने के लिए बनाया गया है, जिसे मुख्य गंगा या पद्मा नदी पर गेटों की प्रणाली का उपयोग करके सावधानीपूर्वक किया जाता है, जबकि शेष पानी मुख्य नदी में बहकर बांग्लादेश चला जाता है."

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि बांग्लादेश में संयुक्त नदी आयोग के संबंधित अधिकारियों के साथ नियमित और समय पर डेटा साझा किया जाता है. इस बार भी ऐसा किया गया है. जायसवाल ने कहा कि हमने गलतफहमी पैदा करने के लिए सोशल मीडिया पर साझा किए गए फर्जी वीडियो, अफवाहें और डर फैलाने वाली बातें देखी हैं. इसका तथ्यों के साथ दृढ़ता से खंडन किया जाना चाहिए.

दरअसल, कुछ मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया कि भारत ने बिहार और झारखंड में बाढ़ के कारण फरक्का बैराज के 109 गेट खोल दिए हैं. बांग्लादेश ने ने दावा किया कि गेट सोमवार को खोले गए, जिससे एक ही दिन में 1.1 मिलियन क्यूसेक पानी बांग्लादेश में प्रवाहित हो गया.

बैराज से पानी छोड़े जाने से बांग्लादेश और पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले में बाढ़ की आशंका है. हालांकि, भारतीय अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि वे बांग्लादेश को बाढ़ की स्थिति और पहाड़ों से पानी के बढ़ते प्रवाह के बारे में पहले से सूचना देते रहे हैं.

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