रायपुर: महादेव सट्टा ऐप केस में ईडी की टीम एक तरफ जांच कर रही है तो दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ EOW की टीम इस मामले में लगातार तफ्तीश में जुटी हुई है. बीते 9 मई को ईओडब्ल्यू ने छत्तीसगढ़ पुलिस के बर्खास्त आरक्षक अर्जुन यादव को एमपी के पंचमढ़ी से गिरफ्तार किया. उसके बाद जांच एजेंसी को 14 मई तक उसकी रिमांड मिली है. इस दौरान अर्जुन यादव को लेकर कई तरह के खुलासे हो रहे हैं.
महादेव ऐप का श्रीलंका कनेक्शन आया सामने: महादेव ऐप का श्रीलंका कनेक्शन सामने आया है. ईओडब्ल्यू दफ्तर से ये जानकारी निकलकर सामने आ रही है. ईओडब्ल्यू की पूछताछ में बर्खास्त आरक्षक अर्जुन यादव ने बताया कि महादेव एप पैनल का 20 अधिक जगहों पर संचालन करता है. जिसमें चार पैनल का संचालन श्रीलंका में और एक पैनल का संचालन कोलकाता में वह करता है.
कई डिजिटल सबूत को खंगाल रही EOW: अर्जुन यादव के मोबाइल फोन में महादेव ऐप से जुड़े बहुत से व्हाट्सएप ग्रुप भी मिले हैं. जिसमें से कुछ ग्रुप आरटीजीएस अकाउंट से और कुछ ग्रुप फेक अकाउंट से संबंधित है. ब्यूरो की टीम द्वारा ग्रुप से प्राप्त जानकारी के आधार पर 200 से अधिक ऐसे बैंक अकाउंट को वेरिफाई कर लगभग 3 करोड़ रुपए की राशि इन बैंक खातों में फ्रिज कराई गई है. इसके अलावा आरोपी अर्जुन यादव की फॉर्च्यूनर गाड़ी को जांच एजेंसी ने जब्त किया है.
ED की जांच से बचने के लिए अर्जुन यादव हुआ था फरार: ईडी की जांच से बचने के लिए आरक्षक अर्जुन यादव फरार हुआ था. वह बार बार ईडी की नोटिस को नजरअंदाज कर रहा था. महादेव सट्टा घोटाले में उसका भाई बर्खास्त आरक्षक भीम सिंह यादव अभी जेल में बंद है. 9 मई को आरक्षक अर्जुन यादव का खेल खत्म हो गया था जब उसकी गिरफ्तारी एमपी के पंचमढ़ी से हुई थी.