बेंगलुरु: मुख्यमंत्री सिद्धारमैया अब राज्यपाल के स्थान पर कर्नाटक राज्य ग्रामीण विकास एवं पंचायत राज विश्वविद्यालय के कुलाधिपति नियुक्त किए गए हैं. इस संबंध में कर्नाटक मंत्रिमंडल ने गुरुवार को निर्णय लिया. मंत्रिमंडल ने संशोधन को मंजूरी दे दी है, जिसके तहत मुख्यमंत्री को कर्नाटक राज्य ग्रामीण विकास एवं पंचायत राज विश्वविद्यालय का कुलाधिपति बनाया जाएगा, यह पद अब तक राज्यपाल के पास था.
इस बारे में अधिकारियों का कहना है कि यह कदम सरकार के कामकाज में सुधार लाने के लिए उठाया गया है. अधिकारियों के अनुसार, राज्यपाल के स्थान पर मुख्यमंत्री को नियुक्त करने का निर्णय विश्वविद्यालय के प्रशासनिक मामलों में सुधार के साथ-साथ कुशल निर्णय लेने की प्रक्रिया सुनिश्चित करने के उद्देश्य से लिया गया है.
मंत्रिमंडल की बैठक के बाद विधि, संसदीय कार्य एवं विधान मंत्री एच. के. पाटिल ने कहा, "अब तक राज्यपाल कुलाधिपति होते थे, लेकिन इस संशोधन के साथ मुख्यमंत्री कर्नाटक राज्य ग्रामीण विकास एवं पंचायत राज विश्वविद्यालय के कुलाधिपति होंगे." इस कदम के पीछे के कारणों पर विस्तार से बताते हुए पाटिल ने कहा कि यह विधेयक विश्वविद्यालय के संचालन को सुव्यवस्थित करेगा जिससे निर्णय लेने की प्रक्रिया में तेजी आएगी. पाटिल ने स्पष्ट किया कि कर्नाटक राज्य ग्रामीण विकास एवं पंचायत राज विश्वविद्यालय अधिनियम, कर्नाटक विश्वविद्यालय अधिनियम से भिन्न है. उल्लेखनीय है कि विश्वविद्यालय के कुलपति की नियुक्ति में राज्यपाल की शक्तियों को कम करने के लिए सितंबर में एक विधेयक पारित किया गया था.
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