जयपुर: राजस्थान के जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल में अपने समय के जाने माने क्रिकेटर मोहिंदर अमरनाथ पहुंचे. पूर्व क्रिकेटर मोहिंदर अमरनाथ के भाई राजेंद्र अमरनाथ ने मोहिंदर अमरनाथ की जीवनी पर किताब लिखी है, जिसका शीर्षक है फीयरलैस. इस मौके पर राजेंद्र ने किताब से जुड़ी कुछ बातें साझा की. उन्होंने कहा कि पिता पर किताब लिखना आसान है, लेकिन भाई पर किताब लिखना चुनौतीपूर्ण रहा.
उन्होंने कहा कि मोहिंदर अमरनाथ को फिल्मों का शौक था, लेकिन हमारे पिता लाला अमरनाथ फिल्मों से चिढ़ते थे. वो कहते थे कि फिल्में नहीं देखना, लेकिन क्रिकेट 24 घंटे खेलो. मोहिंदर अमरनाथ क्रिकेटर नहीं होते तो फिल्म स्टार होते, चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि रोहित शर्मा और मोहिंदर अमरनाथ का क्रिकेट करियर एक समान रहा है, लेकिन रोहित शर्मा ने अधिकतर शतक भारत में लगाए, जबकि मोहिंदर अमरनाथ ने विदेशों में.
पिता ने कोच और मेंटर की भूमिका निभाई : इस मौके पर मोहिंदर अमरनाथ ने कहा कि छोटे भाई ने घर पर काफी पिटाई करवाई, लेकिन अब किताब लिखी है. मैं और मेरा भाई साथ क्रिकेट खेल कर बड़े हुए. हमारे पिता ने एक कोच और मेंटर की भूमिका बखूबी निभाई. हमारे पिता सुबह जल्द ही हमें उठा देते थे, जबकि हमारी माता जी कहती थीं कि बच्चे है, सोने दो. मैं पढ़ाई में अच्छा नहीं था. फिल्मों का शौक था, लेकिन क्रिकेट खेलने की पूरी आजदी थी. परीक्षा में फेल होना हमारे पिताजी को मंजूर था, लेकिन क्रिकेट के मैदान पर फेल होना उन्हें अच्छा नहीं लगता था. क्रिकेट ही हमारी एजुकेशन थी और क्रिकेट हमारा सब कुछ था.
ट्रेनिंग जरूरी : मोहिंदर अमरनाथ ने कहा कि हमारे समय में तेज गेंदबाज काफी खतरनाक हुआ करते थे, लेकिन हमारे पिता कहते थे कि तेज गेंदबाजों को खेलने के लिए ट्रेनिंग जरूरी होती है. पिता कहते थे कि यदि बड़ा खिलाडी बनना है तो तेज गेंदबाजों को खेलना आना चाहिए. पिता कहते थे कि गेंद खानी है तो छाती पर खाओ, आपका दिल मजबूत होना चाहिए.