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तिहाड़ जेल में अरविंद केजरीवाल को जान का खतरा, AAP के आरोपों पर अमित शाह का पलटवार - delhi liquor policy case

आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह ने दावा किया था कि दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की जान को तिहाड़ जेल में खतरा है. इसको लेकर गृह मंत्री अमित शाह ने पलटवार किया है. उन्होंने कहा कि जेल दिल्ली सरकार के अधीन आती है और अब उनकी सरकार मारने की कोशिश करेगी तो इसको लेकर मैं क्या कर सकता हूं.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Apr 30, 2024, 1:11 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली में कथित शराब घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल तिहाड़ जेल में बंद हैं. बीते दिनों उनके स्वास्थ्य को लेकर जेल प्रशासन और आम आदमी पार्टी नेताओं के बीच आरोप प्रत्यारोप चला. आप सांसद संजय सिंह समेत अन्य ने खुलकर कहा कि जेल में अरविंद केजरीवाल को जान के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है. उनकी सुरक्षा पर भी सवाल उठाए. आज केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस संबंध में पूछे गए सवाल पर कहा कि जेल प्रशासन दिल्ली सरकार के अधीन है. अब उनकी ही सरकार अरविंद केजरीवाल को जेल में मारने की बात कर रही है. फिर भी अगर कुछ लिखकर देंगे, तो हम देखेंगे.

दरअसल, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह चुनाव प्रचार के लिए गुवाहाटी में हैं. मंगलवार सुबह उन्होंने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान पत्रकारों द्वारा पूछे गए सवाल का जवाब दिया. इसी क्रम में जब उनसे जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा को लेकर के सवाल पूछा गया तो उन्होंने स्पष्ट कहा कि तिहाड़ जेल दिल्ली सरकार के अधीन है. अब मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जेल में मारने की बात उनकी ही सरकार कर रही है. अभी तक उन्होंने कुछ लिख करके नहीं दिया है. अगर उनकी तरफ से कुछ लिखकर देंगे तो उसे देखेंगे.

पिछले दिनों मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का शुगर लेवल बढ़ गया था. आम आदमी पार्टी के नेताओं ने कहा कि अरविंद केजरीवाल शुगर के मरीज हैं, वर्षों से वह इंसुलिन ले रहे हैं. लेकिन तिहाड़ जेल में उन्हें इंसुलिन नहीं दिया जा रहा है. जानबूझकर ऐसा किया जा रहा है. इससे उनकी जान को भी खतरा है. यह मामला कोर्ट में भी पहुंचा, तब कोर्ट ने मेडिकल बोर्ड का गठन किया और मेडिकल बोर्ड की सलाह पर उन्हें इंसुलिन दी गई थी. उसके बाद तिहाड़ जेल में कैदियों के आपस में झड़प हुई थी. जिस पर संजय सिंह ने कहा कि जेल में अरविंद केजरीवाल हैं और इस तरह की घटना से उनकी जान को खतरा है. ऐसे आरोप प्रत्यारोप के बीच आज केंद्रीय गृह मंत्री ने अपनी बात कही है. तिहाड़ जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा के लिए वहां 24 घंटे सीसीटीवी से निगरानी की जा रही है और पर्याप्त संख्या में सुरक्षाबल के जवान तैनात हैं.

ये भी पढ़ें : जेल में बंद केजरीवाल से आतिशी के बाद अब भगवंत मान की मुलाकात, दूसरी बार मिल रहे

गौरतलब है कि दिल्ली ही नहीं देश की सबसे सुरक्षित जेल तिहाड़, यूं तो किसी ना किसी वजह से सुर्खियों में रहता है. लेकिन पिछले कुछ दिनों में तिहाड़ जेल के सुर्खियों में रहने की वजह वहां मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया, सत्येंद्र जैन समेत शराब घोटाले में गिरफ्तार अन्य लोगों के बंद होने की वजह से है.

तिहाड़ में 32 फीसद कैदी दिल्ली से बाहर के

तिहाड़ जेल में 32 फीसद कैदी दिल्ली से बाहर के हैं. जिनमें 28 फीसद पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, उत्तराखंड, जम्मू कश्मीर आदि राज्यों के हैं. बाकी 4 फीसद कैदी पाकिस्तान, अफगानिस्तान, नाइजीरिया, नेपाल, इटली, यूके, बांग्लादेश मूल के हैं. दिल्ली की तिहाड़ जेल में क्षमता से अधिक हैं कैदी, इस जेल की क्षमता सिर्फ 10 हजार कैदियों की है, जबकि यहां अभी रखे जा रहे हैं करीब 14 हजार कैदी. कोरोना महामारी के समय में यहां पर सोशल डिस्टेंसिंग की गंभीर समस्या उत्पन्न हो गई थी तभी करीब चार हजार कैदियों को पैरोल पर छोड़ना पड़ा था.

ये भी पढ़ें : सुकेश का केजरीवाल पर कविता से तंज, लिखा- '...ईटिग शुगर नो पापा, डाइट चार्ट एक्सपोज्ड हा हा हा'

नई दिल्ली: दिल्ली में कथित शराब घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल तिहाड़ जेल में बंद हैं. बीते दिनों उनके स्वास्थ्य को लेकर जेल प्रशासन और आम आदमी पार्टी नेताओं के बीच आरोप प्रत्यारोप चला. आप सांसद संजय सिंह समेत अन्य ने खुलकर कहा कि जेल में अरविंद केजरीवाल को जान के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है. उनकी सुरक्षा पर भी सवाल उठाए. आज केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इस संबंध में पूछे गए सवाल पर कहा कि जेल प्रशासन दिल्ली सरकार के अधीन है. अब उनकी ही सरकार अरविंद केजरीवाल को जेल में मारने की बात कर रही है. फिर भी अगर कुछ लिखकर देंगे, तो हम देखेंगे.

दरअसल, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह चुनाव प्रचार के लिए गुवाहाटी में हैं. मंगलवार सुबह उन्होंने प्रेस कांफ्रेंस के दौरान पत्रकारों द्वारा पूछे गए सवाल का जवाब दिया. इसी क्रम में जब उनसे जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा को लेकर के सवाल पूछा गया तो उन्होंने स्पष्ट कहा कि तिहाड़ जेल दिल्ली सरकार के अधीन है. अब मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जेल में मारने की बात उनकी ही सरकार कर रही है. अभी तक उन्होंने कुछ लिख करके नहीं दिया है. अगर उनकी तरफ से कुछ लिखकर देंगे तो उसे देखेंगे.

पिछले दिनों मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का शुगर लेवल बढ़ गया था. आम आदमी पार्टी के नेताओं ने कहा कि अरविंद केजरीवाल शुगर के मरीज हैं, वर्षों से वह इंसुलिन ले रहे हैं. लेकिन तिहाड़ जेल में उन्हें इंसुलिन नहीं दिया जा रहा है. जानबूझकर ऐसा किया जा रहा है. इससे उनकी जान को भी खतरा है. यह मामला कोर्ट में भी पहुंचा, तब कोर्ट ने मेडिकल बोर्ड का गठन किया और मेडिकल बोर्ड की सलाह पर उन्हें इंसुलिन दी गई थी. उसके बाद तिहाड़ जेल में कैदियों के आपस में झड़प हुई थी. जिस पर संजय सिंह ने कहा कि जेल में अरविंद केजरीवाल हैं और इस तरह की घटना से उनकी जान को खतरा है. ऐसे आरोप प्रत्यारोप के बीच आज केंद्रीय गृह मंत्री ने अपनी बात कही है. तिहाड़ जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा के लिए वहां 24 घंटे सीसीटीवी से निगरानी की जा रही है और पर्याप्त संख्या में सुरक्षाबल के जवान तैनात हैं.

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गौरतलब है कि दिल्ली ही नहीं देश की सबसे सुरक्षित जेल तिहाड़, यूं तो किसी ना किसी वजह से सुर्खियों में रहता है. लेकिन पिछले कुछ दिनों में तिहाड़ जेल के सुर्खियों में रहने की वजह वहां मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया, सत्येंद्र जैन समेत शराब घोटाले में गिरफ्तार अन्य लोगों के बंद होने की वजह से है.

तिहाड़ में 32 फीसद कैदी दिल्ली से बाहर के

तिहाड़ जेल में 32 फीसद कैदी दिल्ली से बाहर के हैं. जिनमें 28 फीसद पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, उत्तराखंड, जम्मू कश्मीर आदि राज्यों के हैं. बाकी 4 फीसद कैदी पाकिस्तान, अफगानिस्तान, नाइजीरिया, नेपाल, इटली, यूके, बांग्लादेश मूल के हैं. दिल्ली की तिहाड़ जेल में क्षमता से अधिक हैं कैदी, इस जेल की क्षमता सिर्फ 10 हजार कैदियों की है, जबकि यहां अभी रखे जा रहे हैं करीब 14 हजार कैदी. कोरोना महामारी के समय में यहां पर सोशल डिस्टेंसिंग की गंभीर समस्या उत्पन्न हो गई थी तभी करीब चार हजार कैदियों को पैरोल पर छोड़ना पड़ा था.

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