कोल्हापुर : चाहे आप सरकारी कर्मचारी हों या निजी कर्मचारी, व्यवसाय करते हों या खेती करते हों, आपको केवल जन्म देने वाले बुजुर्ग माता-पिता का ही ख्याल रखना चाहिए. कोल्हापुर जिले के दरिया गांव की पंचायत ने फतवा जारी किया है कि माता-पिता की देखभाल नहीं करने वाले बच्चों को ग्राम पंचायत की कोई भी सुविधा नहीं मिलेगी.
वर्तमान समय में बदलती जीवनशैली के कारण विभाजित परिवार प्रथा बढ़ती जा रही है. खासकर, बच्चों में अपने बुजुर्ग माता-पिता की देखभाल करने की मानसिकता नहीं होती है, जिसके कारण घर में झगड़े के कारण माता-पिता को अलग रखने या वृद्धाश्रम में भेजने के मामले बढ़ रहे हैं.
माता-पिता के लिए यह दुखद है कि जिन बच्चों को उन्होंने पालकर बड़ा किया बुढ़ापे में उन्हें अलग कर देते हैं, लेकिन अब कोल्हापुर जिले के करवीर तालुका में दरिया की ग्राम पंचायत ने एक निर्णय लिया है. अपने माता-पिता की देखभाल नहीं करने वाले बच्चों को ग्राम पंचायत द्वारा दी जाने वाली सभी सुविधाएं बंद कर दी जाएंगी.
यह फैसला हाल ही में गांव की हुई ग्राम सभा में लिया गया, यानी इस फैसले के लिए गांव के शासक और विरोधी एकजुट हो गए हैं और फैसले को प्रभावी ढंग से लागू भी किया जाएगा. दरिया, वडगांव की छायादेवी मुलिक ने कहा कि ग्राम पंचायत की ओर से जलापूर्ति बंद करने के साथ ही आवश्यक दस्तावेज अब ग्राम पंचायत कार्यालय से नहीं दिए जाएंगे.
पूर्व सरपंच साहू चव्हाण ने हाल ही में आयोजित ग्राम सभा में यह प्रस्ताव रखा.. प्रस्ताव के विधायी दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए सत्तारूढ़ समूह ने भी प्रस्ताव को तुरंत मंजूरी देने का फैसला किया. पूर्व सरपंच साहू चव्हाण ने कहा कि प्रयास भी किया जाएगा.
दरिया की वडगांव ग्राम पंचायत द्वारा लिया गया यह फैसला गांव के कई परिवारों के लिए राहत भरा होगा. इस फैसले से कई बुजुर्ग माता-पिता का संकट खत्म हो जाएगा. सत्ता पक्ष और विपक्ष को एकत्रित कर विधायी दृष्टिकोण से लिया गया यह निर्णय निश्चित रूप से अनुकरणीय है. ग्राम पंचायत की ओर से कहा गया कि गांव के मसलों को आपस में सुलझाने का भी निर्णय लिया गया है.