पटनाः पीएम मोदी के नेतृत्व में लगातार तीसरी बार NDA ने सरकार बनाकर इतिहास रच दिया है. राष्ट्रपति भवन में आयोजित शपथ समारोह में पीएम मोदी सहित कई मंत्रियों ने पद और गोपनीयता की शपथ ली. इस मौके पर बिहार से 8 सांसदों ने केंद्रीय मंत्री के रूप में शपथ ली. बेगूसराय से लगातार दूसरी बार जीत की पताका फहराने वाले गिरिराज सिंह ने भी कैबिनेट मंत्री के रूप में पद और गोपनीयता की शपथ ली. केंद्रीय मंत्रिमंडल में गिरिराज सिंह की ये तीसरी पारी है.
कैलाशपति मिश्रा की प्रेरणा से सियासत की शुरुआतः कट्टर हिंदूवादी नेता की छवि रखनेवाले गिरिराज सिंह का जन्म 8 सितंबर को लखीसराय जिले के बड़हिया में हुआ था. हालांकि उनकी प्रारंभिक शिक्षा बेगूसराय में हुई और मगध यूनिवर्सिटी से उन्होंने ग्रैजुएशन की पढ़ाई की. बीजेपी नेता कैलाशपति मिश्र की प्रेरणा से सियासत में आए गिरिराज सिंह ने 1986 में भाजयुमो से जुड़कर अपने सियासी सफर की शुरुआत की.
नीतीश कैबिनेट में संभाले कई विभागः गिरिराज सिंह को 1990 में भाजयुमो का प्रदेश महासचिव बनाया गया. 2002 में वे पहली बार बिहार विधानपरिषद् के लिए चुने गये और 2014 तक बिहार विधानपरिषद् के सदस्य रहे. इस दौरान उन्हें पहली बार 2008 में बिहार सरकार में मंत्री बनने का अवसर मिला और वे नीतीश कैबिनेट में सहकारिता मंत्री बने. नीतीश सरकार के दूसरे टर्म में 2010 में उन्हें पशु एवं मत्स्य संसाधन मंत्री बनाया गया. 2013 में NDA से नीतीश के अलग होने के बाद उन्हें मंत्री पद से हाथ धोना पड़ा.
2014 में पहली बार बने सांसदः गिरिराज सिंह ने 2014 में केंद्रीय राजनीति की शुरुआत की और तब लोकसभा चुनाव में उन्होंने नवादा लोकसभा सीट से जीत कर संसद में पदार्पण किया. गिरिराज सिंह ने 2019 में भी बेगूसराय लोकसभा सीट से जीत दर्ज की और 2024 के लोकसभा चुनाव में भी अपनी जीत का सिलसिला कायम रखते हुए बड़ी कामयाबी हासिल की.
केंद्रीय कैबिनेट में तीसरी पारीः गिरिराज सिंह की पीएम मोदी के नेतृत्व वाली केंद्रीय कैबिनेट में ये लगातार तीसरी पारी है. 2014 का लोकसभा चुनाव जीतने के बाद जब 2017 में केंद्रीय मंत्रिमंडल का विस्तार हुआ तो गिरिराज सिंह को राज्यमंत्री ( स्वतंत्र प्रभार) बनाया गया. 2019 में प्रमोशन देते हुए उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया गया और मोदी 3.0 में भी उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाया गया है.
बेबाकी से रखते हैं अपनी रायः गिरिराज सिंह की छवि कट्टर हिंदूवादी नेता की है. पाकिस्तान का मसला हो या फिर कश्मीर का, मुसलमानों की बढ़ती जनसंख्या या फिर धर्म के नाम पर आरक्षण जैसे मुद्दों पर खुलकर बोलते हैं. अपने इसी बेबाक अंदाज के कारण गिरिराज सिंह को पीएम मोदी की खास पसंद माना जाता है.